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सरकार द्वारा पीड़ित परिवारों के लिए की गई घोषणाएं 'ऊंट के मुंह में जीरा' -बसपा

मुरादनगर श्मशान घाट हादसे के पीड़ित परिवारों से मिलने बसपा का डेलिगेशन पहुंचे. जिसमें बसपा सरकार के पूर्व मंत्री और वर्तमान में एमएलसी, विधायक और गाजियाबाद जिलाध्यक्ष सहित तमाम नेता शामिल हैं.

BSP leaders arrived to meet the  muradnagar victim families
बसपा का डेलिगेशन
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Published : Jan 8, 2021, 8:02 PM IST

नई दिल्ली/गाजियाबाद: मुरादनगर श्मशान घाट हादसे के पीड़ित परिवारों से मिलने पहुंचे बसपा डेलिगेशन का कहना है कि सरकार की करनी और कथनी में फर्क है. उनको नहीं लगता कि सरकार द्वारा की गई घोषणाए पीड़ित परिवारों को मिल पाएंगी.

बसपा का डेलिगेशन

पीड़ित परिवारों से मिलने पहुंचा बसपा डेलीगेशन

मुरादनगर श्मशान घाट हादसे के पीड़ित परिवारों से मिलने आने वाले राजनीतिक पार्टियों के डेलीगेशन का दौर जारी है. ऐसे में आज पीड़ित परिवारों से मिलने बसपा का डेलीगेशन पहुंचा है. जिसमें बसपा सरकार के पूर्व मंत्री और वर्तमान में एमएलसी, विधायक और गाजियाबाद जिलाध्यक्ष सहित तमाम नेता शामिल हैं. इस हादसे को लेकर ईटीवी भारत ने बसपा नेताओं से खास बातचीत की.



हादसे में प्रशासन नहीं हैं जागरुक


ईटीवी भारत से बातचीत में बसपा सरकार में राज्य मंत्री रहे दयाराम सेन ने बताया कि इस हादसे को लेकर प्रशासन जागरूक नहीं है. क्योंकि ऐसी घटनाएं पहले भी होती रही हैं. अगर ऐसे हादसा किसी बड़े व्यक्ति के साथ हुआ होता तो उसकी घोषणा 50 लाख रुपए या करोड़ों से होती है. लेकिन यहां कमजोर वर्ग के लोगों के साथ हुए हादसे में उनका आकलन सिर्फ 10 लाख रुपए किया गया है. इसीलिए बीएसपी मांग करती है कि यह घोषणा पर्याप्त नहीं है.


कमजोर वर्ग समझकर कम दिया मुआवजा

बसपा डेलिगेशन में पहुंचे नेता का कहना है कि इस मामले में जो एसआईटी की टीम गठित की गई है. उसकी जांच निष्पक्ष तरीके से कराई जाए. इसके साथ ही सरकार द्वारा की जा रही घोषणाओं से वह संतुष्ट नहीं है. क्योंकि यह सरकार जुमलेबाज सरकार है. जोकि अपनी की गई घोषणाओं पर अमल नहीं करती है.

पढ़े: मुरादनगर श्मशान घाट हादसा, जांच के लिए पहुंचेगी SIT टीम

जुमलेबाज सरकार ने की घोषणा

बसपा नेता का कहना है कि वह राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती के निर्देशानुसार पीड़ित परिवारों से मिलने पहुंचे हैं और सरकार ने जो घोषणा की है. वह ऊंट के मुंह में जीरा है. इसके साथ ही वह मांग करते हैं कि पीड़ित परिवारों की सुरक्षा भी की जाए.

नई दिल्ली/गाजियाबाद: मुरादनगर श्मशान घाट हादसे के पीड़ित परिवारों से मिलने पहुंचे बसपा डेलिगेशन का कहना है कि सरकार की करनी और कथनी में फर्क है. उनको नहीं लगता कि सरकार द्वारा की गई घोषणाए पीड़ित परिवारों को मिल पाएंगी.

बसपा का डेलिगेशन

पीड़ित परिवारों से मिलने पहुंचा बसपा डेलीगेशन

मुरादनगर श्मशान घाट हादसे के पीड़ित परिवारों से मिलने आने वाले राजनीतिक पार्टियों के डेलीगेशन का दौर जारी है. ऐसे में आज पीड़ित परिवारों से मिलने बसपा का डेलीगेशन पहुंचा है. जिसमें बसपा सरकार के पूर्व मंत्री और वर्तमान में एमएलसी, विधायक और गाजियाबाद जिलाध्यक्ष सहित तमाम नेता शामिल हैं. इस हादसे को लेकर ईटीवी भारत ने बसपा नेताओं से खास बातचीत की.



हादसे में प्रशासन नहीं हैं जागरुक


ईटीवी भारत से बातचीत में बसपा सरकार में राज्य मंत्री रहे दयाराम सेन ने बताया कि इस हादसे को लेकर प्रशासन जागरूक नहीं है. क्योंकि ऐसी घटनाएं पहले भी होती रही हैं. अगर ऐसे हादसा किसी बड़े व्यक्ति के साथ हुआ होता तो उसकी घोषणा 50 लाख रुपए या करोड़ों से होती है. लेकिन यहां कमजोर वर्ग के लोगों के साथ हुए हादसे में उनका आकलन सिर्फ 10 लाख रुपए किया गया है. इसीलिए बीएसपी मांग करती है कि यह घोषणा पर्याप्त नहीं है.


कमजोर वर्ग समझकर कम दिया मुआवजा

बसपा डेलिगेशन में पहुंचे नेता का कहना है कि इस मामले में जो एसआईटी की टीम गठित की गई है. उसकी जांच निष्पक्ष तरीके से कराई जाए. इसके साथ ही सरकार द्वारा की जा रही घोषणाओं से वह संतुष्ट नहीं है. क्योंकि यह सरकार जुमलेबाज सरकार है. जोकि अपनी की गई घोषणाओं पर अमल नहीं करती है.

पढ़े: मुरादनगर श्मशान घाट हादसा, जांच के लिए पहुंचेगी SIT टीम

जुमलेबाज सरकार ने की घोषणा

बसपा नेता का कहना है कि वह राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती के निर्देशानुसार पीड़ित परिवारों से मिलने पहुंचे हैं और सरकार ने जो घोषणा की है. वह ऊंट के मुंह में जीरा है. इसके साथ ही वह मांग करते हैं कि पीड़ित परिवारों की सुरक्षा भी की जाए.

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