नई दिल्ली: परिवहन उद्योग के संगठनों ऑल इंडिया ट्रांसपोर्टर्स एसोसिएशन (एआईटीडब्ल्यूए) और ऑल इंडिया मोटर ट्रांसपोर्ट कांग्रेस (एआईएमटीसी) ने सरकार की कड़ी आलोचना करते हुए कहा है कि मौजूदा नीतियों से परिवहन उद्योग को नुकसान हो रहा है और कारोबारी माहौल अव्यवहारिक बनता जा रहा है.
दोनों संगठनों ने कहा है की जीएसटी की ऊंची दर, डीजल पर दो रुपये का उपकर, अनुमानित कर और बीमा के प्रीमियम में बढ़ोत्तरी से परिवहन सेवा प्रदाता बहुत अधिक प्रभावित हुए हैं. दोनों संगठनों ने कहा कि उनके सदस्यों ने नये ट्रक खरीदने बंद कर दिए हैं क्योंकि मौजूदा कारोबारी माहौल लाभकारी नहीं रह गया है. उन्होंने कहा है कि ट्रकों का परिचालन करने वाले कई कारोबारी ऋण भुगतान में चूक कर रहे हैं.
ये भी पढ़ें-कोच्चि अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर विमानों का परिचालन शुरू
एआईटीडब्ल्यूए के राष्ट्रीय अध्यक्ष महेंद्र आर्य ने कहा, "यह हमारे सदस्यों का सामूहिक निर्णय है क्योंकि वर्तमान परिस्थितियां परिवहन उद्योग के लिए अनुकूल नहीं हैं. वाहन से जुड़ा कारोबार अब लाभकारी नहीं रह गया है."
उन्होंने कहा कि दिल्ली, मुंबई, कोलकाता, बेंगलुरु सहित विभिन्न शहरों के प्रमुख परिवहन संघों ने अगस्त से कोई नया ट्रक नहीं खरीदने का निर्णय किया है.
आर्य ने कहा कि 28 प्रतिशत की जीएसटी के चलते शुरुआती खर्च बढ़ गया है. साथ ही छोटे ट्रांसपोर्टरों को सीधे तौर पर इसका बोझ उठाना पड़ रहा है क्योंकि उन्हें इस पर क्रेडिट नहीं मिलता है.
एआईएमटीसी के उपाध्यक्ष और कोर कमिटी के चेयरमैन बाल मलकित सिंह ने भी कुछ इसी तरह की राय जाहिर की. उन्होंने कहा, "कोई भी नया वाहन नहीं खरीद रहा है. पिछले छह महीने से तो कई लोग नहीं खरीद रहे."
मंदी की मार: ट्रांसपोर्टरों के संगठन ने कहा, कारोबारी नहीं खरीद रहे नये ट्रक - All India Motor Transport Congress
संगठनों ने कहा है की जीएसटी की ऊंची दर, डीजल पर दो रुपये का उपकर, अनुमानित कर और बीमा के प्रीमियम में बढ़ोत्तरी से परिवहन सेवा प्रदाता बहुत अधिक प्रभावित हुए हैं. दोनों संगठनों ने कहा कि उनके सदस्यों ने नये ट्रक खरीदने बंद कर दिए हैं क्योंकि मौजूदा कारोबारी माहौल लाभकारी नहीं रह गया है.
नई दिल्ली: परिवहन उद्योग के संगठनों ऑल इंडिया ट्रांसपोर्टर्स एसोसिएशन (एआईटीडब्ल्यूए) और ऑल इंडिया मोटर ट्रांसपोर्ट कांग्रेस (एआईएमटीसी) ने सरकार की कड़ी आलोचना करते हुए कहा है कि मौजूदा नीतियों से परिवहन उद्योग को नुकसान हो रहा है और कारोबारी माहौल अव्यवहारिक बनता जा रहा है.
दोनों संगठनों ने कहा है की जीएसटी की ऊंची दर, डीजल पर दो रुपये का उपकर, अनुमानित कर और बीमा के प्रीमियम में बढ़ोत्तरी से परिवहन सेवा प्रदाता बहुत अधिक प्रभावित हुए हैं. दोनों संगठनों ने कहा कि उनके सदस्यों ने नये ट्रक खरीदने बंद कर दिए हैं क्योंकि मौजूदा कारोबारी माहौल लाभकारी नहीं रह गया है. उन्होंने कहा है कि ट्रकों का परिचालन करने वाले कई कारोबारी ऋण भुगतान में चूक कर रहे हैं.
ये भी पढ़ें-कोच्चि अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर विमानों का परिचालन शुरू
एआईटीडब्ल्यूए के राष्ट्रीय अध्यक्ष महेंद्र आर्य ने कहा, "यह हमारे सदस्यों का सामूहिक निर्णय है क्योंकि वर्तमान परिस्थितियां परिवहन उद्योग के लिए अनुकूल नहीं हैं. वाहन से जुड़ा कारोबार अब लाभकारी नहीं रह गया है."
उन्होंने कहा कि दिल्ली, मुंबई, कोलकाता, बेंगलुरु सहित विभिन्न शहरों के प्रमुख परिवहन संघों ने अगस्त से कोई नया ट्रक नहीं खरीदने का निर्णय किया है.
आर्य ने कहा कि 28 प्रतिशत की जीएसटी के चलते शुरुआती खर्च बढ़ गया है. साथ ही छोटे ट्रांसपोर्टरों को सीधे तौर पर इसका बोझ उठाना पड़ रहा है क्योंकि उन्हें इस पर क्रेडिट नहीं मिलता है.
एआईएमटीसी के उपाध्यक्ष और कोर कमिटी के चेयरमैन बाल मलकित सिंह ने भी कुछ इसी तरह की राय जाहिर की. उन्होंने कहा, "कोई भी नया वाहन नहीं खरीद रहा है. पिछले छह महीने से तो कई लोग नहीं खरीद रहे."
मंदी की मार: ट्रांसपोर्टरों के संगठन ने कहा, कारोबारी नहीं खरीद रहे नये ट्रक
नई दिल्ली: परिवहन उद्योग के संगठनों ऑल इंडिया ट्रांसपोर्टर्स एसोसिएशन (एआईटीडब्ल्यूए) और ऑल इंडिया मोटर ट्रांसपोर्ट कांग्रेस (एआईएमटीसी) ने सरकार की कड़ी आलोचना करते हुए कहा है कि मौजूदा नीतियों से परिवहन उद्योग को नुकसान हो रहा है और कारोबारी माहौल अव्यवहारिक बनता जा रहा है.
दोनों संगठनों ने कहा है की जीएसटी की ऊंची दर, डीजल पर दो रुपये का उपकर, अनुमानित कर और बीमा के प्रीमियम में बढ़ोत्तरी से परिवहन सेवा प्रदाता बहुत अधिक प्रभावित हुए हैं. दोनों संगठनों ने कहा कि उनके सदस्यों ने नये ट्रक खरीदने बंद कर दिए हैं क्योंकि मौजूदा कारोबारी माहौल लाभकारी नहीं रह गया है. उन्होंने कहा है कि ट्रकों का परिचालन करने वाले कई कारोबारी ऋण भुगतान में चूक कर रहे हैं.
ये भी पढ़ें-
एआईटीडब्ल्यूए के राष्ट्रीय अध्यक्ष महेंद्र आर्य ने कहा, "यह हमारे सदस्यों का सामूहिक निर्णय है क्योंकि वर्तमान परिस्थितियां परिवहन उद्योग के लिए अनुकूल नहीं हैं. वाहन से जुड़ा कारोबार अब लाभकारी नहीं रह गया है."
उन्होंने कहा कि दिल्ली, मुंबई, कोलकाता, बेंगलुरु सहित विभिन्न शहरों के प्रमुख परिवहन संघों ने अगस्त से कोई नया ट्रक नहीं खरीदने का निर्णय किया है.
आर्य ने कहा कि 28 प्रतिशत की जीएसटी के चलते शुरुआती खर्च बढ़ गया है. साथ ही छोटे ट्रांसपोर्टरों को सीधे तौर पर इसका बोझ उठाना पड़ रहा है क्योंकि उन्हें इस पर क्रेडिट नहीं मिलता है.
एआईएमटीसी के उपाध्यक्ष और कोर कमिटी के चेयरमैन बाल मलकित सिंह ने भी कुछ इसी तरह की राय जाहिर की. उन्होंने कहा, "कोई भी नया वाहन नहीं खरीद रहा है. पिछले छह महीने से तो कई लोग नहीं खरीद रहे."
Conclusion: