नई दिल्ली: दूरसंचार कंपनी भारती एयरटेल ने आरोप लगाया है कि रिलायंस जियो द्वारा अपने ग्राहकों से नेटवर्क से प्रतिद्वंद्वी फोन कंपनियों के नेटवर्क पर वॉयस कॉल के लिए छह पैसे प्रति मिनट का शुल्क लगाने का फैसला इंटरकनेक्ट शुल्क (आईयूसी) को नीचे लाने को दबाव बनाने का प्रयास है.
एयरटेल ने इसके साथ ही कहा कि आईयूसी की मौजूदा जारी समीक्षा इस बारे में भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) द्वारा पूर्व में जताई गई मंशा के अनुरूप है.
इससे पहले रिलायंस जियो ने बुधवार को घोषणा की कि वह उपभोक्ताओं से किसी अन्य कंपनी के नेटवर्क पर कॉल करने पर छह पैसे प्रति मिनट की दर से शुल्क लेगी. कंपनी इसकी भरपाई के लिये उपभोक्ताओं को बराबर मूल्य का मुफ्त डेटा देगी.
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जियो ने ट्राई पर आईयूसी के मुद्दे अपने रुख को पलटने का आरोप लगाते हुए यह शुल्क लगाने की घोषणा की है. जियो की इस घोषणा के बाद सुनील मित्तल की अगुवाई वाली भारती एयरटेल का यह बयान आया है.
जियो का नाम लिए बिना एयरटेल ने बयान में कहा, "हमारे एक प्रतिद्वंद्वी ने वॉयस कॉल पर छह पैसे प्रति मिनट का शुल्क लगाने का फैसला किया है. उन्होंने यह समझाने का प्रयास किया है कि ट्राई ने इस मुद्दे को फिर खोल दिया है."
एयरटेल ने कहा कि यह समीक्षा वास्तव में इस बारे में ट्राई के 2017 के रुख के अनुरूप है. उस समय ट्राई ने कहा था कि नई प्रौद्योगिकी और शुल्क के तरीके के आधार पर इस मुद्दे की फिर समीक्षा की जाएगी.