नई दिल्ली: इफको ने रबी फसल से पहले किसानों को राहत देते हुए डाय-अमोनियम फॉस्फेट (डीएपी) समेत अन्य जटिल उर्वरकों के खुदरा मूल्य में शुक्रवार को 50 रुपये प्रति बोरी तक की कमी की. वैश्विक स्तर पर कच्ची सामग्रियों तथा तैयार उर्वरकों के दाम में आ रही कमी के मद्देनजर यह कदम उठाया गया है.
इफको के प्रबंध निदेशक यू.एस.अवस्थी ने पीटीआई भाषा से कहा, "कच्चे माल तथा तैयार उर्वरकों के दाम में वैश्विक स्तर पर आ रही कमी को देखते हुए हमने डीएपी तथा सभी जटिल उर्वरकों का खुदरा मूल्य कम किया है."
उन्होंने कहा कि इफको ने डीएपी के 50 किलोग्राम के बोरी का अधिकतम खुदरा मूल्य 50 रुपये घटाकर 1,200 (रिपीट 1,200) रुपये कर दिया है. पहले इसकी कीमत 1,250 रुपये थी. इसी तरह, एनपीके-1 के बोरी का दाम 1,200 रुपये से घटाकर 1,175 रुपये जबकि एनपीके-2 के बोरी का दाम 1,210 रुपये से घटाकर 1,185 रुपये प्रति बोरी कर दिया गया है.
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एनपी कॉम्पलैक्स का दाम भी 25 रुपये घटाकर 975 रुपये किया गया है. अवस्थी ने कहा कि संशोधित कीमतों में माल एवं सेवा कर (जीएसटी) शामिल है. नयी कीमतें 11 अक्टूबर से प्रभावी होंगी.
नीम कोटेड यूरिया के 45 किलोग्राम के बोरी की कीमत 266.50 रुपये ही रहेगी. इफको ने इससे पहले डीएपी और जटिल उर्वरकों का भाव इस साल जुलाई में कम किया था.
अवस्थी ने यहां भारतीय अंतरराष्ट्रीय सहकारी मेला में इस निर्णय की घोषणा करते हुए कहा कि इससे कृषि की लागत में कमी आएगी. यह कटौती 2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के लक्ष्य को पाने में भी मददगार होगी.
वित्त वर्ष 2018-19 में इफको का टर्नओवर 27,852 करोड़ रुपये रहा था. इफको का देश में फॉस्फेट उर्वरकों के उत्पादन में करीब 36 प्रतिशत और नाइट्रोजन उर्वरकों के उत्पादन में 21 प्रतिशत हिस्सेदारी है.