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गठबंधन सरकार को भी विकास के लिए काम करना चाहिए : आनंद महिंद्रा - गठबंधन सरकार

कई लोगों को इन चुनावों के बाद खंडित नतीजे आने की उम्मीद है, लेकिन भारतीय कारोबारी जगत के लोगों को उम्मीद है कि सुधार जारी रहेंगे और सरकार उपभोग बढ़ाने के लिए अपना व्यय बढ़ाएगी, ताकि पूंजी निर्माण और घरेलू मांग में भी वृद्धि हो.

आनंद महिंद्रा।
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Published : Apr 29, 2019, 11:58 PM IST

मुंबई : महिंद्रा समूह के चेयरमैन आनंद महिंद्रा ने सोमवार को कहा कि लोकसभा चुनावों के बाद केंद्र की सत्ता में चाहे जो भी आए, भले ही वह गठबंधन सरकार ही क्यों न हो, उसे विकास के लिए काम करना चाहिए. महिंद्रा ने यह बातें मुंबई दक्षिण संसदीय क्षेत्र के मालाबार हिल में एक बूथ पर अपना वोट देने के बाद कहीं.

आम चुनावों के चौथे चरण में कॉर्पोरेट जगत के जिन दिग्गजों में मतदान किया, उनमें भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के गर्वनर शक्तिकांत दास, रिलायंस कम्युनिकेशंस के चेयरमैन अनिल अंबानी, गोदरेज समूह के चेयरमैन आदि गोदरेज, टाटा संस के चेयरमैन एन. चंद्रशेखरन, एचडीएफसी के चेयरमैन दीपक पारेख और इसके मुख्य कार्यकारी अधिकारी केकी मिस्त्री, जेएसडब्ल्यू समूह के चेयरमैन और प्रबंध निदेशक सज्जन जिंदल, बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अशीष चौहान और जेट एयरवेज के संस्थापक नरेश गोयल शामिल हैं.

कई लोगों को इन चुनावों के बाद खंडित नतीजे आने की उम्मीद है, लेकिन भारतीय कारोबारी जगत के लोगों को उम्मीद है कि सुधार जारी रहेंगे और सरकार उपभोग बढ़ाने के लिए अपना व्यय बढ़ाएगी, ताकि पूंजी निर्माण और घरेलू मांग में भी वृद्धि हो.

लोकसभा चुनावों के पहले तीन चरणों में 302 संसदीय क्षेत्रों के लिए मतदान संपन्न हुआ और चौथे चरण में सोमवार को 72 सीटों के लिए मतदान हुआ जिसमें 961 उम्मीदवारों का भाग्य दांव पर है.

भारतीय अर्थव्यवस्था में फिलहाल वृद्धि दर की गति धीमी है और उद्योग जगत को नई सरकार का बेसब्री से इंतजार है, जो जून में सत्ता संभालेगी और उम्मीद है कि सुधारों पर मजबूत निर्णय लेगी.
ये भी पढ़ें : चीन ने बेल्ट एंड रोड परियोजना से बीसीआईएम को हटाया

मुंबई : महिंद्रा समूह के चेयरमैन आनंद महिंद्रा ने सोमवार को कहा कि लोकसभा चुनावों के बाद केंद्र की सत्ता में चाहे जो भी आए, भले ही वह गठबंधन सरकार ही क्यों न हो, उसे विकास के लिए काम करना चाहिए. महिंद्रा ने यह बातें मुंबई दक्षिण संसदीय क्षेत्र के मालाबार हिल में एक बूथ पर अपना वोट देने के बाद कहीं.

आम चुनावों के चौथे चरण में कॉर्पोरेट जगत के जिन दिग्गजों में मतदान किया, उनमें भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के गर्वनर शक्तिकांत दास, रिलायंस कम्युनिकेशंस के चेयरमैन अनिल अंबानी, गोदरेज समूह के चेयरमैन आदि गोदरेज, टाटा संस के चेयरमैन एन. चंद्रशेखरन, एचडीएफसी के चेयरमैन दीपक पारेख और इसके मुख्य कार्यकारी अधिकारी केकी मिस्त्री, जेएसडब्ल्यू समूह के चेयरमैन और प्रबंध निदेशक सज्जन जिंदल, बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अशीष चौहान और जेट एयरवेज के संस्थापक नरेश गोयल शामिल हैं.

कई लोगों को इन चुनावों के बाद खंडित नतीजे आने की उम्मीद है, लेकिन भारतीय कारोबारी जगत के लोगों को उम्मीद है कि सुधार जारी रहेंगे और सरकार उपभोग बढ़ाने के लिए अपना व्यय बढ़ाएगी, ताकि पूंजी निर्माण और घरेलू मांग में भी वृद्धि हो.

लोकसभा चुनावों के पहले तीन चरणों में 302 संसदीय क्षेत्रों के लिए मतदान संपन्न हुआ और चौथे चरण में सोमवार को 72 सीटों के लिए मतदान हुआ जिसमें 961 उम्मीदवारों का भाग्य दांव पर है.

भारतीय अर्थव्यवस्था में फिलहाल वृद्धि दर की गति धीमी है और उद्योग जगत को नई सरकार का बेसब्री से इंतजार है, जो जून में सत्ता संभालेगी और उम्मीद है कि सुधारों पर मजबूत निर्णय लेगी.
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मुंबई : महिंद्रा समूह के चेयरमैन आनंद महिंद्रा ने सोमवार को कहा कि लोकसभा चुनावों के बाद केंद्र की सत्ता में चाहे जो भी आए, भले ही वह गठबंधन सरकार ही क्यों न हो, उसे विकास के लिए काम करना चाहिए. महिंद्रा ने यह बातें मुंबई दक्षिण संसदीय क्षेत्र के मालाबार हिल में एक बूथ पर अपना वोट देने के बाद कहीं.



आम चुनावों के चौथे चरण में कॉर्पोरेट जगत के जिन दिग्गजों में मतदान किया, उनमें भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के गर्वनर शक्तिकांत दास, रिलायंस कम्युनिकेशंस के चेयरमैन अनिल अंबानी, गोदरेज समूह के चेयरमैन आदि गोदरेज, टाटा संस के चेयरमैन एन. चंद्रशेखरन, एचडीएफसी के चेयरमैन दीपक पारेख और इसके मुख्य कार्यकारी अधिकारी केकी मिस्त्री, जेएसडब्ल्यू समूह के चेयरमैन और प्रबंध निदेशक सज्जन जिंदल, बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अशीष चौहान और जेट एयरवेज के संस्थापक नरेश गोयल शामिल हैं.



कई लोगों को इन चुनावों के बाद खंडित नतीजे आने की उम्मीद है, लेकिन भारतीय कारोबारी जगत के लोगों को उम्मीद है कि सुधार जारी रहेंगे और सरकार उपभोग बढ़ाने के लिए अपना व्यय बढ़ाएगी, ताकि पूंजी निर्माण और घरेलू मांग में भी वृद्धि हो.



लोकसभा चुनावों के पहले तीन चरणों में 302 संसदीय क्षेत्रों के लिए मतदान संपन्न हुआ और चौथे चरण में सोमवार को 72 सीटों के लिए मतदान हुआ जिसमें 961 उम्मीदवारों का भाग्य दांव पर है.



भारतीय अर्थव्यवस्था में फिलहाल वृद्धि दर की गति धीमी है और उद्योग जगत को नई सरकार का बेसब्री से इंतजार है, जो जून में सत्ता संभालेगी और उम्मीद है कि सुधारों पर मजबूत निर्णय लेगी.

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