पुलवामा: दक्षिण कश्मीर के पुलवामा जिले में रविवार को कश्मीरी पंडित संजय शर्मा की आतंकवादियों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी. पुलिस के मुताबिक, टीआरएफ के आतंकवादियों ने पंडित को गोली मारी, जिसके बाद उनकी मौत हो गई. राजनीतिक दलों के नेताओं ने परिवार के प्रति संवेदना व्यक्त करने के लिए पुलवामा के अचन इलाके में जाकर प्रशासन से मुआवजे की मांग की.
इस बारे में बात करते हुए परिजनों ने कहा कि हम यहां सुरक्षित नहीं हैं. पीड़िता के भाई पंडित भूषण लाल ने कहा कि जब यहां सरकार थी तब हम यहां सुरक्षित नहीं थे और अब हम एलजी प्रशासन में भी सुरक्षित नहीं हैं. उन्होंने कहा कि हम 90 के दशक से यहां रह रहे हैं और तभी से कश्मीरी पंडितों को ही निशाना बनाया जाता रहा है.
उन्होंने कहा कि जब यहां सरकार होती थी तब भी पंडितों को निशाना बनाया गया और आज राज्यपाल के शासन में भी यह सिलसिला जारी है. बता दें कि पुलिस ने दावा किया है कि एनकाउंटर में मारा गया आतंकी कश्मीरी पंडित संजय शर्मा की हत्या में शामिल था. गौरतलब है कि मंगलवार को अवंतीपोरा के पदगामपुरा इलाके में हुई मुठभेड़ में दो आतंकवादी मारे गए और सेना का एक जवान शहीद हो गया. इस पर उनके भाई ने कहा कि सरकार दावा तो कर रही है लेकिन हमें इसकी जानकारी नहीं है.
वहीं मृतक कश्मीरी पंडित की विधवा सोनाती ने कहा, 'वह मेरे बच्चों का इकलौता सहारा थे और अब हम सब बेबस हैं. अब मेरे बच्चों का सहारा कौन होगा.' उन्होंने कहा, 'अब हमें यहां रहने से बहुत डर लग रहा है और हम यहां से जाना चाहते हैं. मेरे छोटे-छोटे बच्चे हैं, जिन्हें पालना मेरे लिए चुनौतीपूर्ण है. मैं चाहती हूं कि कोई मेरे बच्चों के भविष्य की देखभाल के लिए आगे आए. उन्होंने प्रशासन से मांग की है कि उनके बच्चों को मुआवजा दिया जाए और उन्हें नौकरी दी जाए, ताकि वे अपने बच्चों को सही तरीके से प्रशिक्षित कर सकें.