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उत्तराखंड : कैंचीधाम में नीम करोली बाबा मंदिर अनिश्चितकाल के लिए बंद

कोरोना संक्रमण की वजह से कैंचीधाम में स्थित प्रसिद्ध नीम करोली बाबा मंदिर (Neem Karoli Baba temple) को अनिश्चितकाल के बंद कर दिया गया है. 15 जून को होने वाले मेले में होने वाली भीड़ के मद्देनजर यह निर्णय लिया गया.

नीम करोली बाबा मंदिर
नीम करोली बाबा मंदिर
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Published : Jun 8, 2021, 4:48 AM IST

नैनीताल : कोविड- 19 महामारी के चलते यहां निकट कैंचीधाम में स्थित प्रसिद्ध नीम करोली बाबा मंदिर (Neem Karoli Baba temple) के दरवाजे अनिश्चितकाल के लिए बंद कर दिए गए हैं.

मंदिर समिति और जिला प्रशासन ने कोरोना के खतरे के मद्देनजर यहां 15 जून को होने वाले मेले में जुटने वाली भीड़ से बचने के लिए मंदिर को बंद करने का संयुक्त रूप से निर्णय किया. यह मंदिर नैनीताल से अल्मोड़ा के रास्ते में पड़ता है. पिछले साल भी कोविड के कारण मंदिर के द्वार बंद किए गए थे.

मंदिर के प्रबंधक विनोद जोशी ने बताया कि मेले से पहले मंदिर में रोजाना आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ रही थी और ऐसे में कोविड का खतरा भी बढ़ रहा था. जोशी ने कहा कि मंदिर के द्वार श्रद्धालुओं के लिए अनिश्चितकाल के लिए बंद कर दिए गए हैं और इस समय में सबसे बड़ी सेवा घर पर रहना ही है.

पढ़ें - राम मंदिर निर्माण के दूसरे चरण का कार्य दिसंबर में शुरू होगा : ट्रस्ट

उपजिलाधिकारी विनोद कुमार ने कहा कि कोरोना संक्रमण के प्रसार की रोकथाम के लिए यह निर्णय आवश्यक है. मंदिर में होने वाला मेला श्रद्धालुओं के लिए एक विशेष स्थान रखता है.

बाबा नीम करोली महाराज ने यहां 1964 में एक हनुमान मंदिर बनाया था और तब से यहां हर साल मंदिर के आसपास मेला लगाया जाता है. देश और विदेश से हजारों श्रद्धालु इस मेले में हिस्सा लेने आते हैं और 15 जून को उनकी संख्या एक लाख से भी ज्यादा होती है.

मंदिर समिति के प्रदीप साह भैयू ने बताया कि मेले की तैयारियां दो महीने पहले से शुरू हो जाती हैं.

(पीटीआई-भाषा)

नैनीताल : कोविड- 19 महामारी के चलते यहां निकट कैंचीधाम में स्थित प्रसिद्ध नीम करोली बाबा मंदिर (Neem Karoli Baba temple) के दरवाजे अनिश्चितकाल के लिए बंद कर दिए गए हैं.

मंदिर समिति और जिला प्रशासन ने कोरोना के खतरे के मद्देनजर यहां 15 जून को होने वाले मेले में जुटने वाली भीड़ से बचने के लिए मंदिर को बंद करने का संयुक्त रूप से निर्णय किया. यह मंदिर नैनीताल से अल्मोड़ा के रास्ते में पड़ता है. पिछले साल भी कोविड के कारण मंदिर के द्वार बंद किए गए थे.

मंदिर के प्रबंधक विनोद जोशी ने बताया कि मेले से पहले मंदिर में रोजाना आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ रही थी और ऐसे में कोविड का खतरा भी बढ़ रहा था. जोशी ने कहा कि मंदिर के द्वार श्रद्धालुओं के लिए अनिश्चितकाल के लिए बंद कर दिए गए हैं और इस समय में सबसे बड़ी सेवा घर पर रहना ही है.

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उपजिलाधिकारी विनोद कुमार ने कहा कि कोरोना संक्रमण के प्रसार की रोकथाम के लिए यह निर्णय आवश्यक है. मंदिर में होने वाला मेला श्रद्धालुओं के लिए एक विशेष स्थान रखता है.

बाबा नीम करोली महाराज ने यहां 1964 में एक हनुमान मंदिर बनाया था और तब से यहां हर साल मंदिर के आसपास मेला लगाया जाता है. देश और विदेश से हजारों श्रद्धालु इस मेले में हिस्सा लेने आते हैं और 15 जून को उनकी संख्या एक लाख से भी ज्यादा होती है.

मंदिर समिति के प्रदीप साह भैयू ने बताया कि मेले की तैयारियां दो महीने पहले से शुरू हो जाती हैं.

(पीटीआई-भाषा)

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