कोटद्वार: रूस-यूक्रेन जंग का 2 मार्च को सांतवां दिन है. रूस के हमले से यूक्रेन में लगातार हालात बिगड़ते जा रहे हैं. इसी कारण यूक्रेन में फंसे भारतीय छात्रों के परिजन भी काफी चिंतित है. वहीं कुछ जगहों से इस तरह की खबरें भी सामने आ रही है कि यूक्रेनियन भारतीय छात्रों को ट्रेनों में अंदर घुसने नहीं दे रहे हैं. इसी से जुड़ा एक वीडियो कोटद्वार के रहने वाले अनुराग पंवार ने शेयर किया है. अनुराग पंवार के साथ कई भारतीय छात्र भी मौजूद हैं.
अनुराग पंवार उत्तराखंड के पौड़ी जिले के कोटद्वार के रहने वाले हैं. अनुराग पंवार ने जो वीडियो शेयर किया है, उसके जरिए उन्होंने बताया कि वे अपने दोस्तों के साथ अभी भी यूक्रेन के खारकीव रेलवे स्टेशन पर मौजूद हैं. अनुराग और उसके दोस्त 15 से 20 किलोमीटर की पैदल दूरी तय करने के बाद ही खारकीव रेलवे स्टेशन पहुंचे थे, लेकिन यहां कई घंटों के इंतजार के बाद भी उन्हें ट्रेन में नहीं चढ़ने दिया गया.
वहीं, भारतीय दूतवास ने कहा है कि तीन घंटों के अंदर सभी भारतीय खारकीव शहर छोड़ दें. ऐसे में वे कैसे खारकीव छोड़ सकते हैं, क्योंकि उन्हें वहां से निकलने का कोई रास्ता नहीं मिल रहा है. अनुराग पंवार की मानें तो वो और उनके साथ ट्रेन में चढ़ने के लिए लाइन में लगकर अपनी बारी की इंतजार कर रहे थे, लेकिन जैसे ही वहां ट्रेन पहुंची तो उस पर यूक्रेन के स्थानीय लोगों ने कब्जा कर दिया. यूक्रेन के नागरिक भारतीय छात्रों को ट्रेन में नहीं चढ़ने दे रहे हैं.
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अनुराग पंवार और उनके दोस्तों ने वीडियो जारी कर बताया कि खारकीव रेलवे स्टेशन पर तीन ट्रेन आई, लेकिन किसी भी यूक्रेनियन ने भारतीयों को ट्रेन में नहीं चढ़ने दिया. ऐसे में खारकीव रेलवे स्टेशन मौजूद भारतीय छात्र काफी परेशान हैं, उन्हें वहां से निकलने का कोई रास्ता नजर नहीं आ रहा है. दूतावास ने भारतीय नागरिकों को जल्द से जल्द पेसोचिन, बाबाये और बेजलीयुदोव्का पहुंचने के लिए कहा है. इसी वजह से कई छात्र गुस्से में हैं, उन्होंने भारत से सरकार से एयर लिफ्ट करने की मांग की है, ताकि वे सुरक्षित अपने घर पहुंच सकें.
यूक्रेन में फंसे छात्रों को परिजनों से मिला प्रशासन: हरिद्वार जिले के कई छात्र भी यूक्रेन में फंसे हुए हैं. हरिद्वार के लक्सर निवासी देवानिक, देवांश, आशुतोष और परमेश्वर भी यूक्रेन में फंसे हुए हैं. चारों छात्रों के परिजनों से जिला प्रशासन के अधिकारियों ने घर जाकर मुलाकात की और उनसे पूरी जानकारी ली.
बता दें कि उत्तराखंड के 247 छात्र यूक्रेन में फंसे हुए हैं, जिसमें से 37 छात्र ही अपने घर लौटने में कामयाब हो पाए हैं. भारत सरकार ने यूक्रेन में फंसे छात्रों को निकालने के लिए ऑपरेशन गंगा शुरू किया है. चार केंद्रीय मंत्रियों को भी यूक्रेन के पड़ोसी राज्यों में भेजा गया है. ताकी छात्रों को जल्द से जल्द यूक्रेन से निकाला जा सके.