मुंबई: देश में राष्ट्रपति पद का चुनाव 18 जुलाई को होना है. शिवसेना सांसद इस राष्ट्रपति चुनाव में एनडीए उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू के समर्थन की मांग कर रहे हैं. वह ठाकरे पर दबाव बढ़ा रहे हैं. चर्चा है कि शिवसेना के 19 में से 14 सांसद लोकसभा में एक स्वतंत्र समूह की मांग कर रहे हैं. विधायकों के बगावत के बाद अगर सांसद बगावत करते हैं तो पार्टी प्रमुख उद्धव ठाकरे की मुसीबत बढ़ जाएगी.
यही वजह है कि उद्धव ठाकरे के नेतृत्व में मातोश्री पर सभी सांसदों की अहम बैठक हुई. सूत्रों का कहना है कि शिवसेना में नुकसान को रोकने के लिए उद्धव ठाकरे राष्ट्रपति चुनाव में एनडीए का समर्थन कर सकते हैं. शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे ने मातोश्री पर सांसदों की बैठक बुलाई. बैठक यह तय करने के लिए थी कि राष्ट्रपति चुनाव में किसे समर्थन देना है. विधायकों के अलावा कुछ सांसदों के भी बीजेपी के संपर्क में होने की खबर है. सवाल यह है कि क्या सांसद वास्तव में बगावत करेंगे क्योंकि कुछ सांसद बैठक से अनुपस्थित थे. सांसदों की आज की बैठक ने राजनीतिक गलियारों का भी ध्यान खींचा है.
उद्धव ने लिखा पत्र : वहीं, उद्धव ने अपने विधायकों को एक भावुक पत्र लिखा है. इसमें कहा गया है कि 'आप शिवसेना के प्रति वफादार रहें. आप बिना किसी धमकी और प्रलोभन के शिवसेना के प्रति वफादार रहें. मैं प्रार्थना करता हूं कि मां जगदंबा आपको स्वस्थ जीवन दें.' इसमें कहा गया है कि 'शिवसेना एक विचार है. बालासाहेब ठाकरे हमारे लिए सबकुछ हैं. बालासाहेब ने हमें वफादारी और पहचान का महत्व सिखाया. शिवसेना विधायक के रूप में, आपने बालासाहेब की विचारधारा के प्रति अपनी निष्ठा दिखाई है.'
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