हैदराबाद : तमिलनाडु विधानसभा चुनाव के लिए छह अप्रैल को एक ही चरण में मतदान होना है. सभी 234 सीटों पर मतदान होगा. मंगलवार को तमिलनाडु की जनता प्रत्याशियों की किस्मत ईवीएम में कैद करेगी.
जयललिता और करुणानिधि के बाद कौन ?
एआईएडीएमके और डीएमके यही दो राजनीतिक दल बीते करीब 5 दशक से तमिलनाडु की सियासत के दो छोर हैं. इसी तरह जयललिता और करुणानिधि राज्य की सिसायत के वो सूरज है जिनकी रोशनी में एआईएडीएमके और डीएमके अपना-अपना भविष्य देखते रहे लेकिन ये पहली बार है जब राज्य में चुनाव इन दोनों दिग्गजों के बिना होंगे. 5 दिसंबर 2016 को जे. जयललिता और 7 अगस्त 2018 को एमके करुणानिधि का निधन हो गया था.
ऐसे में इस बार का चुनाव कई मायनों में अलग और दिलचस्प हो सकता है. दरअसल एआईएडीएमके के सामने जयललिता के बिना अपनी मजबूती साबित करने की चुनौती है तो डीएमके के लिए भी करुणानिधि के निधन के बाद सत्ता में वापसी करना चुनौती है. एआईएडीएमके के साथ गठबंधन में उतरी बीजेपी तमिलनाडु में अपना भविष्य तलाश रही है तो डीएमके ने फिर से कांग्रेस के साथ हाथ मिलाया है. बीजेपी सिर्फ 20 और कांग्रेस सिर्फ 25 सीटों पर चुनाव लड़ रही है. ऐसे में साफ है कि सियासी लड़ाई सिर्फ क्षत्रपों के बीच है. खासकर एआईएडीएमके और डीएमके के बीच.
कमल हासन की मक्कल निधि मैय्यम (एमएनएम) पार्टी भी पहली बार चुनाव मैदान में हैं और कमल हासन खुद भी चुनाव लड़ रहे हैं.
पिछले चुनाव में क्या हुआ था ?
साल 2016 में हुए तमिलनाडु विधानसभा चुनाव में जयललिता की अगुआई में एआईएडीएमके ने सबसे ज्यादा 136 सीटें जीतकर लगातार दूसरी बार सत्ता हासिल की. डीएमके और कांग्रेस गठबंधन को 98 सीटों पर जीत मिली. इस तरह से जयललिता लगातार दूसरी और कुल छठी बार तमिलनाडु की मुख्यमंत्री बनकर इतिहास रच दिया. 5 दिसंबर 2016 को जयललिता का निधन हो गया था, वहीं डीएमके सुप्रीमो और पूर्व मुख्यमंत्री करुणानिधि का भी 7 अगस्त 2018 को निधन हो गया था.
आंकड़ों की जुबानी, इस चुनाव की कहानी
तमिलनाडु की सभी 234 सीटों पर मंगलवार 6 अप्रैल को मतदान होगा. तमिलनाडु में 3998 उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं. इनमें से 225 उम्मीदवार राष्ट्रीय दलों के हैं, जबकि 508 उम्मीदवार क्षेत्रीय दलों के हैं. इन चुनाव में सबसे ज्यादा 2077 उम्मीदवार आजाद प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ रहे हैं. जबकि 1188 उम्मीदवार ऐसे दलों से हैं जो पंजीकृत गैर-मान्यता प्राप्त दलों से संबंध रखते हैं.
तमिलनाडु विधानसभा चुनाव में 380 महिला उम्मीदवार भी ताल ठोक रही हैं.
चुनाव आयोग के मुताबिक़ तमिलनाडु में 6.26 करोड़ वोटर्स हैं. खास बात ये है कि राज्य में महिला वोटरों की तादाद पुरुष मतदाताओं से ज़्यादा है. तमिलनाडु में 3,18,28,727 महिला वोटर और 3,08,38,473 पुरुष वोटर हैं. इसके अलावा 7,246 थर्ड जेंडर वोटर हैं.
कितने दागी उम्मीदवार ?
एडीआर ने कुल 3998 उम्मीदवारों में से 3559 उम्मीदवारों का विश्लेषण किया है. जिसके मुताबिक 466 उम्मीदवारों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं जबकि 207 के खिलाफ गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं.
पार्टी वार ऐसे दागी उम्मीदवारों की बात करें तो सबसे ज्यादा 136 दागी उम्मीदवार डीएमके पार्टी के चुनाव मैदान में हैं. वहीं एआईएडीएमके पार्टी के 46, डीएमडीके पार्टी के 18, बीजेपी और कांग्रेस के 15-15 उम्मीदवार दागी हैं. इसके अलावा पीएमके पार्टी के 10, सीपीआई(एम) के 3, सीपीआई के 2 और एनसीपी के एक उम्मीवार पर आपराधिक मामले दर्ज हैं.
डीएमके पार्टी के ही सबसे ज्यादा 50 उम्मीदवार ऐसे हैं जिनके खिलाफ गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं. जबकि एआईएडीएमके पार्टी 18, डीएमडीके और बीजेपी के 8-8, कांग्रेस के 6 और पीएमके पार्टी के 5 उम्मीदवारों के खिलाफ गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं.
91 निर्दलीय उम्मीदवारों के खिलाफ आपराधिक और 47 निर्दलीय उम्मीदवारों के खिलाफ गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं.
करोड़पति उम्मीदवार
एडीआर की रिपोर्ट के मुताबिक तमिलनाडु विधानसभा चुनाव में कुल 652 करोड़पति उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं. जो कुल उम्मीदवारों का करीब 18 फीसदी है. इनमें से 240 उम्मीदवारों की संपत्ति 5 करोड़ या उससे अधिक है. 211 उम्मीदवारों की संपत्ति 2 करोड़ से 5 करोड़ के बीच, 483 उम्मीदवारों की संपत्ति 50 लाख से 2 करोड़ के बीच, 837 उम्मीदवारों की संपत्ति 10 लाख से 50 लाख के बीच और 1788 उम्मीदवारों की संपत्ति 10 लाख से कम है.
पार्टी वार करोड़पति उम्मीदवारों की बात करें तो सबसे ज्यादा 164 करोड़पति एआईएडीएमके पार्टी के उम्मीदवार हैं. जबकि दूसरे नंबर पर डीएमके है जिसने 155 करोड़पतियों को टिकट दिया है. इसके अलावा डीएमडीके ने 19 और सीपीआई का एक उम्मीदवार इस सूची में शामिल है. राष्ट्रीय दलों पर नजर डालें तो कांग्रेस के 19 और बीजेपी के 15 उम्मीदवार करोड़पति हैं.
सबसे संपत्ति वाले प्रत्याशी एआईएडीएमके पार्टी के ई.सुबैया हैं जिनके पास 246 करोड़ से अधिक की संपत्ति है, जबकि सत्तूर से एएमपीके पार्टी के उम्मीदवार की संपत्ति 300 रुपये है.
कितने पढ़े लिखे हैं उम्मीदवार
एडीआर की रिपोर्ट के मुताबिक तमिलनाडु विधानसभा चुनाव में ताल ठोक रहे 3998 उम्मीदवारों में से 1731 प्रत्याशी 5वीं से 12वीं तक पढ़े हैं जबकि 1443 उम्मीदवारों की शैक्षणिक योग्यता ग्रेजुएट या उससे अधिक है. 193 डिप्लोमा होल्डर भी इस बार चुनाव मैदान में हैं जबकि 106 उम्मीदवार अशिक्षित और 61 प्रत्याशी सिर्फ साक्षर हैं. 25 उम्मीदवारों की तरफ से शैक्षणिक योग्यता का ब्यौरा नहीं दिया गया है.
जिन उम्मीदवारों ने अपनी शैक्षणिक योग्यता की जानकारी चुनाव आयोग को दी उनमें से 646 प्रत्याशी 10वीं पास हैं जबकि 390 उम्मीदवार 12वीं पास है. इसके अलावा 416 ग्रेजुएट, 510 ग्रेजुएट प्रोफेशनल, 486 पोस्ट ग्रेजुएट, 193 डिप्लोमा होल्डर और 31 डॉक्टरेट चुनाव लड़ रहे हैं.
तमिलनाडु चुनाव में युवा और बुजुर्ग उम्मीदवार
तमिलनाडु चुनाव में इस बार 41 फीसदी उम्मीदवार युवा हैं. इस बार 1451 उम्मीदवारों की उम्र 25 से 40 साल के बीच है. जबकि 1756 प्रत्याशियों की उम्र 41 से 60 साल के बीच है. 348 प्रत्याशियों की उम्र 61 से 80 साल के बीच है और 3 उम्मीदवार ऐसे भी हैं जिनकी उम्र 80 साल से ज्यादा है.
आयु वर्ग के हिसाब से एक उम्मीदवार की उम्र 24 साल है जबकि 358 उम्मीदवारों की उम्र 25 से 30 साल के बीच है. जबकि तीन उम्मीदवारों की उम्र 81 से 90 साल के बीच है.
कई चेहरों की साख दांव पर
तमिलनाडु विधानसभा चुनाव में एआईएडीएमके जीत की हैट्रिक लगाकर सत्ता पर काबिज होना चाहती है तो विपक्ष की तरफ से सत्ता बदलने का दावा हो रहा है. किसके दावों में कितना दम है ये तो 2 मई को नतीजों के बाद ही पता चलेगा लेकिन तमिलनाडु चुनाव में इस बार कई चेहरों की साख दांव पर है फिर चाहे वो मुख्यमंत्री पलानीसामी हों या उनके मंत्री, एआईडीएमके के बड़े चेहरे हों या डीएमके के दिग्गज या फिर पहली बार चुनाव मैदान में ताल ठोक रहे मशहूर अभिनेता कमल हासन. जनता किसके साथ है ये 6 अप्रैल को तमिलनाडु की जनता तय कर देगी और इन सभी दिग्गजों की किस्मत को ईवीएम में कैद कर देगी.