नई दिल्ली : सुप्रीम कोर्ट के लिए यह साल काफी बदलाव वाला रहेगा. इस साल शीर्ष अदालत में भारत के मुख्य न्यायाधीश एनवी रमना सहित सुप्रीम कोर्ट के आठ न्यायाधीशों की सेवानिवृत्ति अगस्त में होगी. वर्तमान में शीर्ष अदालत में स्वीकृत पदों की संख्या 34 में से 33 भरे हैं. पिछले साल 9 जजों की नियुक्ति हुई थी लेकिन एक पद खाली है.
इस साल सीजेआई एनवी रमना (CJI NV Ramana) के अलावा जस्टिस आर सुभाष रेड्डी ( R Subhash Reddy), जस्टिस विनीत सरन (Justice Vineet Saran), जस्टिस एएम खानविलकर (Justice AM Khanwilkar), जस्टिस इंदिरा बनर्जी (Justice Indira Bannerjee), जस्टिस हेमंत गुप्ता (Justice Hemant Gupta) और जस्टिस यूयू ललित (Justice UU Lalit) सेवानिवृत्त होंगे.
सीजेआई एनवी रमना की सेवानिवृत्ति के बाद जस्टिस यूयू ललित सीजेआई होंगे लेकिन केवल लगभग 3 महीने के लिए और फिर वह सेवानिवृत्त हो जाएंगे. नवंबर में जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ उनकी जगह लेंगे.
69,885 मामले लंबित
गौरतलब है कि लंबित मामले पहले से ही एक बड़ी चिंता का कारण हैं. अक्सर न्यायपालिका द्वारा इसे मुद्दे को उठाया जाता है. केस पेंडिंग रहने का एक प्रमुख कारण न्यायाधीशों की कम संख्या और न्यायाधीशों पर मामलों का अधिक भार है. 6 दिसंबर, 2021 तक उच्चतम न्यायालय में 69,885 मामले लंबित थे.
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