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लड़कियों की शादी की उम्र को लेकर सपा सांसदों ने दिए बयान, BJP ने साधा निशाना

लड़कियों की शादी की कानूनी उम्र 21 साल (age of marriage of girls) करने के फैसले पर समाजवादी पार्टी के सांसद शफीकुर्रहमान वर्क और डॉक्टर एसटी हसन ने बयान दिया है. इसे लेकर भाजपा हमलावर है. भाजपा का कहना है कि समाजवादी पार्टी की विचारधारा हमेशा से महिला-विरोधी रही है.

MP Shafiqur Rahman   (Photo: ETV Bharat)
सांसद शफीकुर्रहमान वर्क (फोटो-ईटीवी भारत)
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Published : Dec 18, 2021, 1:37 AM IST

लखनऊ : लड़कियों की शादी की कानूनी उम्र 21 साल करने के फैसले पर समाजवादी पार्टी के सांसद शफीकुर्रहमान वर्क (MP Shafiqur Rahman ) और डॉक्टर एसटी हसन के बयान को लेकर सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी ने शुक्रवार को दोनों सांसदों पर निशाना साधते हुए आरोप लगाया कि समाजवादी पार्टी की विचारधारा हमेशा से महिला-विरोधी रही है. उधर, समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव ने अपनी पार्टी के सांसदों के बयान से किनारा कर लिया है.

सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने शुक्रवार को पार्टी सांसदों के विवादास्पद टिप्पणी से खुद को दूर करते हुए रायबरेली में कहा कि उनकी पार्टी प्रगतिशील है और संबंधित विचार व्यक्तिगत हैं. वर्क के बयान पर टिप्पणी करने के लिए पूछे जाने पर अखिलेश ने कहा, 'समाजवादी पार्टी और उसका दृष्टिकोण हमेशा प्रगतिशील रहा है. यह उनकी व्यक्तिगत सोच हो सकती है न कि पार्टी लाइन.'

विर्क का बयान...आवारगी का मौका मिलेगा

केंद्र सरकार ने लड़कियों की शादी की कानूनी उम्र 21 वर्ष करने का फैसला किया है. केंद्रीय कैबिनेट ने बुधवार को पुरुषों और महिलाओं की शादी की कानूनी उम्र एक समान करने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी. लड़कियों की शादी की उम्र 18 वर्ष से 21 वर्ष किये जाने के फैसले पर एक चैनल द्वारा पूछे गये सवाल के जवाब में संभल के सपा सांसद शफीकुर्रहमान वर्क ने कहा, 'यह सही कदम नहीं है, लड़कियों की उम्र बढ़ाये जाने से हालात बिगड़ेंगे और इससे ज्यादा आवारगी का मौका मिलेगा.'

एसटी हसन ने प्रजनन दर का दिया तर्क

मुरादाबाद के सपा सांसद डॉक्टर एसटी हसन ने कहा, 'महिलाओं में प्रजनन क्षमता 16-17 से लेकर 30 साल तक रहती है और 16-17 साल की उम्र में प्रजनन दर अच्छी रहती है और आप जब 21 साल कर रहे हैं तो इससे आपकी औलाद उस उम्र में होगी जब आप बुढ़ापे में होंगे.'

भाजपा ने साधा निशाना
शुक्रवार को भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह ने ट्वीट किया, 'मोदी सरकार द्वारा महिला सशक्तीकरण की दिशा में उठाए जा रहे प्रभावी कदमों से तालिबानी मानसिकता के लोग बहुत परेशान हैं. समाजवादी पार्टी की विचारधारा हमेशा से महिला विरोधी रही है, सपा सांसदों के बयान बेहद शर्मनाक हैं.'

पढ़ें- देश में मुसलमानों के साथ हो रहा जुर्म-नाइंसाफी, कहां तक बर्दाश्त करेंगे : सपा सांसद

उत्तर प्रदेश सरकार की राज्‍य मंत्री (स्‍वतंत्र प्रभार) स्वाति सिंह ने कहा, 'सपा का चेहरा एक बार फ‍िर सबके सामने आ गया है. प्रधानमंत्री जी देश की बेटियों को सशक्त, आत्मनिर्भर बनाने की बात कर रहे हैं, लेकिन सपा सांसद कह रहे हैं कि बेटियों की शादी की उम्र बढ़ेगी तो उनमें आवारगी बढ़ेगी, यह सपा की मानसिकता है.'

(पीटीआई-भाषा)

लखनऊ : लड़कियों की शादी की कानूनी उम्र 21 साल करने के फैसले पर समाजवादी पार्टी के सांसद शफीकुर्रहमान वर्क (MP Shafiqur Rahman ) और डॉक्टर एसटी हसन के बयान को लेकर सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी ने शुक्रवार को दोनों सांसदों पर निशाना साधते हुए आरोप लगाया कि समाजवादी पार्टी की विचारधारा हमेशा से महिला-विरोधी रही है. उधर, समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव ने अपनी पार्टी के सांसदों के बयान से किनारा कर लिया है.

सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने शुक्रवार को पार्टी सांसदों के विवादास्पद टिप्पणी से खुद को दूर करते हुए रायबरेली में कहा कि उनकी पार्टी प्रगतिशील है और संबंधित विचार व्यक्तिगत हैं. वर्क के बयान पर टिप्पणी करने के लिए पूछे जाने पर अखिलेश ने कहा, 'समाजवादी पार्टी और उसका दृष्टिकोण हमेशा प्रगतिशील रहा है. यह उनकी व्यक्तिगत सोच हो सकती है न कि पार्टी लाइन.'

विर्क का बयान...आवारगी का मौका मिलेगा

केंद्र सरकार ने लड़कियों की शादी की कानूनी उम्र 21 वर्ष करने का फैसला किया है. केंद्रीय कैबिनेट ने बुधवार को पुरुषों और महिलाओं की शादी की कानूनी उम्र एक समान करने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी. लड़कियों की शादी की उम्र 18 वर्ष से 21 वर्ष किये जाने के फैसले पर एक चैनल द्वारा पूछे गये सवाल के जवाब में संभल के सपा सांसद शफीकुर्रहमान वर्क ने कहा, 'यह सही कदम नहीं है, लड़कियों की उम्र बढ़ाये जाने से हालात बिगड़ेंगे और इससे ज्यादा आवारगी का मौका मिलेगा.'

एसटी हसन ने प्रजनन दर का दिया तर्क

मुरादाबाद के सपा सांसद डॉक्टर एसटी हसन ने कहा, 'महिलाओं में प्रजनन क्षमता 16-17 से लेकर 30 साल तक रहती है और 16-17 साल की उम्र में प्रजनन दर अच्छी रहती है और आप जब 21 साल कर रहे हैं तो इससे आपकी औलाद उस उम्र में होगी जब आप बुढ़ापे में होंगे.'

भाजपा ने साधा निशाना
शुक्रवार को भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह ने ट्वीट किया, 'मोदी सरकार द्वारा महिला सशक्तीकरण की दिशा में उठाए जा रहे प्रभावी कदमों से तालिबानी मानसिकता के लोग बहुत परेशान हैं. समाजवादी पार्टी की विचारधारा हमेशा से महिला विरोधी रही है, सपा सांसदों के बयान बेहद शर्मनाक हैं.'

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उत्तर प्रदेश सरकार की राज्‍य मंत्री (स्‍वतंत्र प्रभार) स्वाति सिंह ने कहा, 'सपा का चेहरा एक बार फ‍िर सबके सामने आ गया है. प्रधानमंत्री जी देश की बेटियों को सशक्त, आत्मनिर्भर बनाने की बात कर रहे हैं, लेकिन सपा सांसद कह रहे हैं कि बेटियों की शादी की उम्र बढ़ेगी तो उनमें आवारगी बढ़ेगी, यह सपा की मानसिकता है.'

(पीटीआई-भाषा)

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