नई दिल्ली: उच्चतम न्यायालय ने महाराष्ट्र विधानसभा के अध्यक्ष राहुल नार्वेकर को शिवसेना के प्रतिद्वंद्वी गुटों की ओर से दाखिल याचिकाओं पर निर्णय लेने के लिए 10 और दिन का समय दिया है. इन याचिकाओं में शिवसेना के दोनों गुटों ने एक-दूसरे के विधायकों को अयोग्य ठहराने का अनुरोध किया गया है.
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#WATCH | On SC extends till January 10 time for Maharashtra Assembly Speaker Rahul Narwekar to pronounce verdict on disqualification petitions against MLAs including Chief Minister Eknath Shinde, Congress leader and MLA of Maharashtra Prithviraj Chavan says, "It is good that the… pic.twitter.com/ptJiSYlczj
— ANI (@ANI) December 15, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
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— ANI (@ANI) December 15, 2023#WATCH | On SC extends till January 10 time for Maharashtra Assembly Speaker Rahul Narwekar to pronounce verdict on disqualification petitions against MLAs including Chief Minister Eknath Shinde, Congress leader and MLA of Maharashtra Prithviraj Chavan says, "It is good that the… pic.twitter.com/ptJiSYlczj
— ANI (@ANI) December 15, 2023
उच्चतम न्यायालय ने पहले विधानसभा अध्यक्ष से अयोग्यता याचिकाओं पर 31 दिसंबर तक फैसला करने को कहा था. न्यायालय ने अब इस अवधि को बढ़ाकर 10 जनवरी तक कर दिया है.
प्रधान न्यायाधीश डी. वाई. चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली एक पीठ ने कहा, 'अध्यक्ष ने संकेत दिया है कि कार्यवाही 20 दिसंबर को बंद कर दी जाएगी और अध्यक्ष ने समय बढ़ाने का अनुरोध किया था. पहले निर्धारित समय सीमा को ध्यान में रखते हुए, हम अध्यक्ष को निर्णय सुनाने के लिए 10 जनवरी, 2023 तक का समय देते हैं.'
उच्चतम न्यायालय शिवसेना के उद्धव ठाकरे गुट और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के शरद पवार गुट द्वारा दाखिल दो याचिकाओं पर सुनवाई कर रहा था. इन याचिकाओं में कुछ विधायकों के खिलाफ अयोग्यता की कार्यवाही पर शीघ्र निर्णय लेने के लिए विधानसभा अध्यक्ष को निर्देश देने का अनुरोध किया गया है.
उच्चतम न्यायालय ने 18 सितंबर को महाराष्ट्र विधानसभा अध्यक्ष को निर्देश दिया था कि वह मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उनके समर्थक शिवसेना विधायकों के खिलाफ दायर अयोग्यता याचिकाओं पर फैसले के लिए समय-सीमा बताएं. शिवसेना के शिंदे के नेतृत्व वाले गुट ने जून, 2022 में महाराष्ट्र में नई सरकार बनाने के लिए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) से हाथ मिला लिया था.
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