चेन्नई: डीएमके सरकार और द्रविड़ विचारधारा पर हमले के लिए राज्यपाल आरएन रवि पर निशाना साधते हुए मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने पूछा कि क्या राजभवन प्रतिगामी 'सनातन' युग की वापसी के लिए काम कर रहा है.
मुख्यमंत्री ने अपनी सरकार के कामकाज की राजभवन की आलोचना को तथ्यों के साथ खारिज भी किया. स्टालिन ने शहर में एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि 'राज्यपाल राजभवन में बैठकर अपने को तानाशाह समझ शासन चलाने की इच्छा कर रहे हैं. यह ब्रिटिश युग के दौरान था कि राज्यपाल के पास शक्तियां थीं, जो निर्वाचित प्रतिनिधियों के समान थीं. उन्होंने कहा कि 'राज्यपाल, जो सरकार का हिस्सा हैं उनका एक विपक्षी नेता की तरह बोलना उनकी मंशा के बारे में संदेह पैदा करता है. क्या यह राज्य में शांति भंग करने के लिए था.'
स्टालिन की ये सभा पिछले दो वर्षों में सरकार की उपलब्धियों पर प्रचार करने के लिए 1222 कार्यक्रमों का हिस्सा थी. उन्होंने कहा कि 'राज्यपाल ने कहा है कि द्रविड़ विचारधारा समाप्त हो चुकी है. मैं उन्हें बताना चाहता हूं कि यह द्रविड़ विचारधारा ही थी जिसने सनातन पंथ, वर्णाश्रम और मनु धर्म को विलुप्त कर दिया. द्रविड़ विचारधारा में आर्य विचारधारा से लड़ने की क्षमता है. विदेशी आक्रमण हो या आर्य आक्रमण, इसे रोकने का हथियार है. यही वजह है कि राज्यपाल बौखलाए हुए हैं.'
उन्होंने कहा कि 'द्रविड़ विचारधारा और द्रविड़ियन मॉडल विनाशकारी नहीं बल्कि रचनात्मक और समावेशी है, इसलिए उन्हें घबराने की जरूरत नहीं है.' मुख्यमंत्री ने स्पष्ट किया, 'एक अंग्रेजी दैनिक को दिए इंटरव्यू में उन्होंने माना था कि मैं उनके प्रति बहुत विनम्र रहा हूं और इसके लिए मैं उन्हें धन्यवाद देता हूं. यह तमिलों की संस्कृति है कि कड़ी आलोचना के बावजूद मैत्रीपूर्ण रहें. हालांकि, मैं व्यक्तिगत संबंधों के लिए विचारधारा को कभी नहीं छोड़ूंगा. मुथुवेल करुणानिधि स्टालिन इसमें बहुत दृढ़ रहेंगे.'
राज्यपाल के आरोपों को किया खारिज : फिर, एक-एक करके सरकार के खिलाफ राज्यपाल के आरोपों का जवाब देते हुए, स्टालिन ने कहा कि 'रवि कुछ लोगों के दास के रूप में काम कर रहे हैं, वह झूठ बोल रहे हैं.' कानून व्यवस्था की आलोचना के चिंताजनक होने पर उन्होंने कहा, 'राज्यपाल रवि, मैं पूछ रहा हूं कि क्या राज्य भाजपा शासित मणिपुर की तरह जल रहा है? क्या हाल ही में कर्नाटक जैसा दंगा हुआ है, वह क्या बात कर रहे हैं?'
इसके बाद मुख्यमंत्री ने राजभवन के इस आरोप का खंडन किया कि अंतरराष्ट्रीय नेटवर्क के साथ पाकिस्तानी हथियारों की तस्करी के रैकेट से तमिलनाडु का संबंध है. उन्होंने कहा कि 'यह 2021 से पहले सामने आया था. उसके बाद ही डीएमके ने सत्ता संभाली और उसके बाद से इस बारे में कोई जानकारी नहीं है.'
रवि के इस आरोप पर कि शिकायत दर्ज होने के बावजूद जब वह धर्मपुरम अधीनम (प्राचीन शैव मठ) गए थे, तब उनके काफिले पर हमले का कोई मामला दर्ज नहीं किया गया था.
स्टालिन ने कहा कि यह 'शुद्ध झूठ' है कि हमला हुआ. उन्होंने कहा कि वीडियो फुटेज में स्पष्ट रूप से दिखाया गया है कि पुलिस सुरक्षा के साथ उनके काफिले के गुजरने के बाद ही प्रदर्शनकारियों ने काले झंडे फहराए और 70 लोगों को गिरफ्तार किया गया और मामले दर्ज किए गए.
एक पुजारी की नाबालिग बेटियों को टू फिंगर टेस्ट से गुजरने के लिए मजबूर किए जाने के राज्यपाल के आरोप को भी सीएम ने खारिज किया. साथ ही इस मामले में सरकार की ओर से उनके पत्र का जवाब नहीं देने को भी झूठ करार दिया.
राज्यपाल ने दावा किया था कि बाल विवाह मामले और कौमार्य परीक्षण का उद्देश्य दीक्षितार समुदाय को परेशान करना और प्रतिशोध लेना था, क्योंकि उन्होंने राज्य द्वारा मंदिर पर कब्जा करने का विरोध किया था.
स्टालिन ने कहा कि केवल प्रथम दृष्टया बाल विवाह के साक्ष्य के आधार पर मामले दर्ज किए गए और पीड़ितों का कभी भी टू फिंगर टेस्ट नहीं कराया गया. क्या राज्यपाल सनातन युग की वापसी की वकालत करते हैं जब आठ साल की छोटी उम्र की लड़कियों की शादी कर दी जाती थी. 11 लोगों को गिरफ्तार किया गया. इसमें उन्होंने क्या दोष पाया है? क्या वह बाल विवाह का समर्थन कर रहे हैं? क्या वह इसकी निगरानी के लिए तमिलनाडु आए हैं?'
मुख्यमंत्री ने मदुरै में डीएमके संरक्षक एम करुणानिधि के नाम पर स्थित अति-आधुनिक पुस्तकालय में तमिल और अंग्रेजी के अलावा अन्य पुस्तकों की अनुपस्थिति पर अफसोस जताने के लिए रवि के तर्क पर सवाल उठाया. उन्होंने कहा कि 'क्या गुजरात के पुस्तकालयों में संविधान में सूचीबद्ध सभी भाषाओं की पुस्तकें हैं.'
रवि ने इसे भाषाई रंगभेद करार दिया था. इसके अलावा, राज्यपाल के इस आरोप पर कि डीएमके सरकार ने राज्य में स्कूली छात्रों को नाश्ता उपलब्ध कराने से एनजीओ 'अक्षय पात्र' को रोक दिया था. उन्होंने कहा कि 'वह एक निजी संस्था का बिगुल क्यों बन रहे हैं? लोगों को स्वाभाविक रूप से संदेह है कि क्या वह कुछ लोगों के इशारे पर काम कर रहे हैं.'
उन्होंने कहा, 'हम नहीं झुकेंगे. अगर राज्यपाल या किसी अन्य माध्यम से हमें धमकाने का प्रयास किया जाता है तो हम डरने वाले नहीं हैं.' चुनावी बिगुल फूंकते हुए DMK अध्यक्ष ने कैडर से आगामी लोकसभा चुनावों के लिए तैयार रहने का आग्रह किया. उन्होंने कहा, 'संसदीय चुनाव आने वाले हैं उसके लिए तैयार रहें. हम देश भर के राजनीतिक दलों के बीच एकता बनाएंगे और दिल्ली में एक आदर्श सरकार बनाएंगे.'
पढ़ें- PTR audio issue: पीटीआर ऑडियो मामले में स्टालिन बोले- यह 'ओछी राजनीति' है