साहिबगंज: राजमहल व्यवहार न्यायालय (Rajmahal Court ) के अपर जिला व सत्र न्यायाधीश प्रथम संजय कुमार दुबे की अदालत ने सोमवार को दोपहर छह वर्षिय बच्ची के साथ दुष्कर्म कर हत्या करने के मामले में आरोपी को फांसी की सजा (Rape murder accused sentenced to death) सुनाई है. इस मौके पर कोर्ट परिसर में सुरक्षा बल की तैनाती करी गई थी.
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5 मार्च 2015 को राजमहल थाना क्षेत्र के निवासी ने पुलिस के समक्ष बयान देकर यह आरोप लगाया था कि उसकी नाबालिग लड़की को पड़ोसी प्रतिदिन घर से बुलाकर कर खेलने के लिए ले जाता था और खेलकूद करने के बाद घर पहुंचा देता था. चार मार्च की शाम करीब पांच बजे प्रतिदिन की भांति पड़ोसी उसकी नाबालिग लड़की को कंधा पर बैठा कर ले गया. देर शाम तक जब उसकी पुत्री वापस नहीं आयी तब वह अपनी पत्नी को लेकर खोजबीन करने लगा. खोजबीन के क्रम में गांव के लोगों ने बताया कि आप की बेटी को पड़ोसी कंधा पर बैठा कर शाम में तालाब की ओर जा रहा था. तब वह अपने सगा सम्बन्धी व ग्रामीणें के साथ अपनी पुत्री को खोजते हुए तालाब पहुंचे तो देखा कि खेत में उसकी पुत्री मृत अवस्था में पड़ी हुई है.
पुत्री की गर्दन पर खरोंच व काला दाग का निशान था. इस घटना को लेकर राजमहल पुलिस ने आरोपी के विरुद्ध दुष्कर्म और हत्या का मामला दर्ज किया था. कोर्ट में विचारण के दौरान दुष्कर्म और हत्या के साथ इस मामले को विशेष मामलों में प्रतिवेदित करते हुए मामले में पोक्सो एक्ट जोड़ा गया. विचारण के दौरान अभियोजन पक्ष की ओर से डॉक्टर एवं अनुसंधानकर्ता सहित कुल 12 गवाहों का परीक्षण कर आरोपी के विरुद्ध आरोप सिद्ध करने में सफल रहा. आरोप सिद्ध होने पर आरोपी को फांसी की सजा सुनाई गई. राजमहल थाना कांड संख्या 81/15 के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई थी.
साहिबगंज जिला में पहली बार ऐसा देखा गया है कि निचली अदालत ने फांसी की सजा सुनाई है. लगातार सात साल से अधिक दिनों से इस केस की सुनवाई और तारीख चल रही थी. आखिरकार वो दिन आ गया कि आरोप सिद्ध होने पर न्यायालय ने आरोपी को मृत्युदंड की सजा सुनाई.