नई दिल्ली: रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने गुरुवार को अपने चीनी समकक्ष ली शांगफू के साथ बातचीत की और ऐसा माना जा रहा है कि उन्होंने पूर्वी लद्दाख में जारी सीमा विवाद पर चर्चा की है. शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के रक्षा मंत्रियों की बैठक में हिस्सा लेने के लिए शांगफू के दिल्ली पहुंचने के बाद यह वार्ता हुई. भारत एससीओ के रक्षा मंत्रियों की बैठक की मेज़बानी कर रहा है.
तीन साल पहले पूर्वी लद्दाख में सीमा विवाद उत्पन्न होने के बाद यह चीन के रक्षा मंत्री की पहली भारत यात्रा है. सिंह और शांगफू के बीच मुलाकात को लेकर अब तक कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है. राजनाथ सिंह ने चीन के रक्षा मंत्री ली शांगफू से कहा कि भारत-चीन संबंधों का विकास सीमा पर अमन-चैन की स्थिति पर आधारित है और वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर सभी मुद्दों का समाधान मौजूदा द्विपक्षीय समझौतों के अनुरूप निकाला जाना चाहिए.
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#WATCH | Defence Minister Rajnath Singh held a bilateral meeting with his Chinese counterpart
— ANI (@ANI) April 27, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
Singh will chair the SCO Defence Ministers Meeting in New Delhi tomorrow. pic.twitter.com/iJ2LHXA5Qn
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— ANI (@ANI) April 27, 2023
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रक्षा मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि दोनों मंत्रियों ने भारत-चीन सीमा क्षेत्रों के घटनाक्रम और द्विपक्षीय संबंधों के बारे में खुलकर बातचीत की. मंत्रालय ने कहा कि रक्षा मंत्री सिंह ने स्पष्ट संदेश दिया कि भारत और चीन के बीच संबंधों का विकास सीमाओं पर अमन-चैन की स्थिति पर आधारित है. मंत्रालय ने कहा कि उन्होंने कहा कि एलएसी पर सभी मुद्दों का समाधान मौजूदा द्विपक्षीय समझौतों और प्रतिबद्धताओं के अनुरूप करने की जरूरत है.
मंत्रालय के अनुसार सिंह ने इस बात को दोहराया कि मौजूदा समझौतों के उल्लंघन से द्विपक्षीय संबंधों की संपूर्ण बुनियाद को नुकसान पहुंचा है. दोनों रक्षा मंत्रियों के बीच वार्ता से कुछ दिन पहले भारत और चीन की सेनाओं ने सीमा विवाद को खत्म करने के उद्देश्य से 18वें दौर की सैन्य वार्ता की थी. गत 23 अप्रैल को हुई कोर कमांडर स्तर की वार्ता में दोनों पक्ष संपर्क बनाये रखने और पूर्वी लद्दाख में शेष मुद्दों पर जल्द से जल्द पारस्परिक रूप से स्वीकार्य समाधान निकालने पर सहमत हुए थे.
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#WATCH | Defence Minister Rajnath Singh held a bilateral meeting with his Tajikistan counterpart
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हालांकि, विवाद खत्म करने के लिए आगे बढ़ने का कोई स्पष्ट संकेत नहीं मिला था. भारत का कहना है कि जब तक सीमावर्ती क्षेत्रों में शांति नहीं होगी तब तक चीन के साथ उसके संबंध सामान्य नहीं हो सकते. गोवा में एससीओ सदस्य देशों के विदेश मंत्रियों के एक सम्मेलन में भाग लेने के लिए चीनी विदेश मंत्री छिन कांग भी अगले सप्ताह भारत आने वाले हैं. बैठक चार और पांच मई को होनी है.
सिंह ने गुरुवार को कजाकिस्तान, ईरान और ताजिकिस्तान के अपने समकक्षों के साथ भी अलग-अलग द्विपक्षीय वार्ता की. पाकिस्तान को छोड़कर चीन, रूस और एससीओ के अन्य सदस्य देशों के रक्षा मंत्री दिल्ली में हो रही बैठक में भाग ले रहे हैं. अधिकारियों ने कहा कि पाकिस्तानी रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ऑनलाइन माध्यम से बैठक में हिस्सा लेंगे.
(पीटीआई-भाषा)