नई दिल्ली: भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीआई) का मानना है कि कांग्रेस नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) को हिंदी बेल्ट की लोकसभा सीट से चुनाव लड़ना चाहिए. सीपीआई के राष्ट्रीय सचिव के नारायण (CPI national secretary K Narayana ) ने सोमवार को ईटीवी भारत से कहा कि 'हां, हमारा मानना है कि कांग्रेस नेता राहुल गांधी को दूसरी सीट से चुनाव लड़ना चाहिए जहां सीधी लड़ाई बीजेपी से हो. दरअसल, वह हिंदी बेल्ट से भी चुनाव लड़ सकते हैं. वामपंथी दल इंडिया ब्लॉक के घटक हैं, और वायनाड में हमारी मजबूत उपस्थिति है (Wayanad Seat). इसलिए राहुल गांधी को वाम दलों के खिलाफ चुनाव लड़ने के बजाय किसी अन्य जगह से चुनाव लड़ना चाहिए.'
पार्टी के सूत्रों ने इस संवाददाता को बताया कि हाल ही में नई दिल्ली में हुई सीपीआई की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में कई नेताओं ने इस सुझाव पर विचार किया है कि राहुल गांधी को दूसरी सीट से चुनाव लड़ना चाहिए और वायनाड में वाम उम्मीदवार के खिलाफ सीधी लड़ाई से बचना चाहिए.उन्होंने कहा कि 'हमारी आंतरिक राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में हमने इस मुद्दे पर चर्चा की. हालांकि, हमने अपने विचार के साथ कांग्रेस से संपर्क नहीं किया है.'
नारायण ने कहा कि वायनाड में कांग्रेस और लेफ्ट उम्मीदवारों के बीच सीधा मुकाबला है. उन्होंने कहा कि 'इसलिए, जब हम अब भारत गठबंधन के घटक हैं, तो राहुल गांधी को किसी अन्य सीट से चुनाव लड़ना चाहिए, चाहे वह दक्षिण भारत में हो या किसी हिंदी पट्टी में.'
सीपीआई की 19 और 20 सितंबर को राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक हुई जहां उन्होंने इंडिया ब्लॉक गठबंधन के साथ गठबंधन बनाने में पार्टी की रणनीति पर चर्चा की. पार्टी का मानना है कि इंडिया ब्लॉक का गठन भारत के धर्मनिरपेक्ष लोकतांत्रिक चरित्र की रक्षा में एक महत्वपूर्ण कदम है; वह भाजपा की केंद्र और राज्य सरकार को बदलने में सक्षम होगी. बैठक में राज्य विशिष्ट सीट बंटवारे पर बेहतर समझ के लिए सभी भारतीय ब्लॉक गठबंधनों से संपर्क करने पर भी विचार किया गया.
इसी बात को दोहराते हुए एक अन्य सीपीआई नेता अतुल अंजान ने कहा कि पार्टी (कांग्रेस) को वायनाड में सीपीआई के साथ सीधी लड़ाई में जाने के बजाय दूसरी सीट से चुनाव लड़ना चाहिए. अंजान ने कहा कि 'उन्हें इस आइडिया पर विचार करना चाहिए क्योंकि कांग्रेस इंडिया गुट की बड़ी सहयोगी है. और राजनीतिक समझ में, जब हमारा प्रतिद्वंद्वी केवल एक ही भाजपा है, तो एक-दूसरे का ध्यान रखना बहुत जरूरी है.'
वायनाड सीट सीपीआई को आवंटित की गई है, जो सत्तारूढ़ भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) के नेतृत्व वाले वाम लोकतांत्रिक मोर्चा (एलडीएफ) की दूसरी सबसे बड़ी सहयोगी है.
राहुल गांधी ने पिछले लोकसभा चुनाव 2019 में सीपीआई के पीपी सुनीर को 4 लाख से अधिक वोटों से हराया था. गौरतलब है कि वायनाड संसदीय क्षेत्र 2008 में चौथे परिसीमन के बाद अस्तित्व में आया था. 2009 और 2014 के आम चुनावों में कांग्रेस उम्मीदवार एमआई शनावास ने सीपीआई के प्रतिद्वंद्वी उम्मीदवार को हराकर वायनाड लोकसभा क्षेत्र से जीत हासिल की थी.