श्रीनगर : कश्मीर घाटी में हाल ही में हुई बर्फबारी के बाद भीषण शीतलहर के कारण स्थानीय लोगों का जीवन अस्त-व्यस्त हो गया है. पिछले आठ सालों की तुलना में श्रीनगर शहर में मंगलवार रात का तापमान माइनस 7.8 दर्ज किया गया था.
शहर की सबसे लोकप्रिय झील डल भी जम गई. हालांकि, जमी हुई झील घाटी की सुंदरता में चार चांद लगा रही है. कड़कड़ती हुई सर्दी और बर्फबारी स्थानीय लोगों की मुश्किले बढ़ाती जा रही है. प्रसिद्ध डल झील की जमी हुई परतों को तोड़ते हुए शिकारा चालक (नाविक) मोहम्मद शफी खान ने अपने शिकारा (नाव) को घाट की ओर खींचने के लिए संघर्ष किया. उन्होंने कहा कि बर्फबारी और लॉकडाउन के कारण पहले से ही पर्यटन प्रभावित है.
कोरोना लॉकडाउन और बर्फबारी ने यहां के पर्यटन को काफी प्रभावित किया है. मुश्किल से ही यहां पर्यटक आ रहे हैं. नाविक खान ने कहा कि पिछले एक साल के दौरान मेरी कमाई लगभग कुछ नहीं रही है.
पढ़ें- जम्मू-कश्मीर : सीआरपीएफ दल पर आतंकी हमला, सुरक्षाबलों का सर्च ऑपरेशन
डल झील में जमी बर्फ के बारे में कहते है कि झील दशकों के बाद इस हद तक जमी है. पिछली बार 1986 में एक जीप डल झील के ऊपर से गुजर गया था. फिर 1991 में झील जम गई थी. स्थानीय और पर्यटक झील के ऊपर चले गए. वह आगे कहते है कि लोगों के लिए भले ही डल झील आकर्षण का केंद्र है, लेकिन यहां के बाशिंदों के लिए बड़ी समस्या है.
उन्होंने प्रशासन से अनुरोध करते हुए कहा कि इन दिनों में हमारी सुरक्षा के लिए कोई कदम उठाए. कई नावें बर्फ से क्षतिग्रस्त हो गई हैं.