नई दिल्ली : पठानकोट हमले का मास्टरमाइंड और भारत का मोस्ट वांटेड जैश-ए-मोहम्मद आतंकवादी शाहिद लतीफ (Most Wanted Shahid Latif Killed) पाकिस्तान के सियालकोट में अज्ञात हमलावरों द्वारा मारा गया. सूत्रों ने ये जानकारी दी. बताया जा रहा है कि एनआईए की मोस्ट वांटेड लिस्ट में भी लतीफ शामिल था. गौरतलब है कि दो जनवरी 2016 को छह बंदूकधारियों के एक दल ने भारतीय सेना की वर्दी में पंजाब सीमा पर रावी नदी से होते भारत में घुसपैठ की थी. यहां कुछ गाड़ियों को अपने कब्जे में लेने के बाद ये दल पठानकोट वायु सेना की तरफ बढ़ा.
इसके बाद एक दीवार को पार करते हुए ये घुसपैठिये आवासीय परिसर की तरफ बढ़े और यहीं पहली गोलबारी शुरू हुई. इस अटैक में चार हमलावर मारे गए थे और भारतीय सुरक्षा बल के तीन जवान शहीद हुए थे. पूरे दिन गोलियों की बौछार होती है, जिससे हमलावरों के मौजूदगी का इशारा मिलता रहा. इसके एक दिन बाद आईईडी ब्लास्ट में और चार भारतीय सैनिक शहीद हुए. शहीद हुए जवानों में से एक राष्ट्रमंडल खेलों के निशानेबाजी में विजेता डोगरा रेजिमेंट के सूबेदार फतेह सिंह शामिल थे. सुरक्षाबलों को यह आश्वस्त होने में तीन दिन का समय लगा कि अब स्थिति उनके काबू में है.
हमले के बाद राष्ट्र राजधानी दिल्ली को हाई अलर्ट पर रखा गया. दिल्ली पुलिस को खबर मिली कि कश्मीर का प्रतिबंधित आतंकवादी समूह जैश-ए-मोहम्मद के दो आतंकी शहर में प्रवेश कर गए हैं. पूरे शहर भर में सुरक्षा कड़ी कर दी गई थी, और अतिरिक्त सुरक्षा कर्मियों को 26 जनवरी को आयोजित होने वाले गणतंत्र दिवस परेड के देख-रेख में लगाया गया था. लतीफ को भारत सरकार ने 2010 में 24 अन्य आतंकवादियों के साथ रिहा किया था. 1999 में आईसी 814 इंडियन एयरलाइंस विमान अपहरण के सिलसिले में इसके संस्थापक मौलाना मसूद अजहर के साथ रिहाई की मांग करने वाले जैश आतंकवादियों की सूची में लतीफ का नाम भी था.
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