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Odisha Train Accident: दुर्घटना ग्रस्त ट्रेन में सवार NDRF जवान ने दी थी सबसे पहले जानकारी

बालासोर ट्रेन हादसे को लेकर कोरोमंडल एक्सप्रेस में सवार एनडीआरएफ के एक जवान ने सबसे पहले दुर्घटना की जानकारी दी थी. उन्होंने सबसे पहले ट्रेन हादसे के बारे में आपातकालीन सेवाओं को सतर्क किया था. आपको बता दें एनडीआरएफ के जवान वेंकटेश एनके छुट्टी पर थे और पश्चिम बंगाल के हावड़ा से तमिलनाडु की यात्रा कर रहे थे.

Odisha Train Accident
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Published : Jun 4, 2023, 7:08 AM IST

भुवनेश्वर/नयी दिल्ली: कोरोमंडल एक्सप्रेस में सवार एनडीआरएफ के एक जवान शायद पहले ऐसे व्यक्ति थे, जिन्होंने शुरुआती बचाव प्रयासों में शामिल होने से पहले ओडिशा के बालासोर में हुए ट्रेन हादसे के बारे में आपातकालीन सेवाओं को सतर्क किया था. एनडीआरएफ के जवान वेंकटेश एनके छुट्टी पर थे और पश्चिम बंगाल के हावड़ा से तमिलनाडु की यात्रा कर रहे थे. अधिकारियों ने कहा कि वह बाल-बाल बच गए क्योंकि जिस डिब्बे ‘बी-7’ में वह सवार थे, वह पटरी से उतर गया था लेकिन आगे के डिब्बों से नहीं टकराया.

कोलकाता में एनडीआरएफ की दूसरी बटालियन के साथ तैनात 39 वर्षीय जवान ने सबसे पहले बटालियन में अपने वरिष्ठ निरीक्षक को फोन करके दुर्घटना की जानकारी दी. उसके बाद उन्होंने व्हाट्सएप पर घटनास्थल की 'लाइव लोकेशन' एनडीआरएफ नियंत्रण कक्ष को भेजी और इसका इस्तेमाल पहले बचाव दल ने मौके पर पहुंचने के लिए किया.

बालासोर जिले में शुक्रवार की शाम लगभग सात बजे शालीमार-चेन्नई सेंट्रल कोरोमंडल एक्सप्रेस और बेंगलुरु-हावड़ा एक्सप्रेस ट्रेन के पटरी से उतरने और एक मालगाड़ी से टकराने से यह हादसा हुआ, जिसमें कम से कम 288 लोगों की मौत हो गई और 1,100 से अधिक यात्री घायल हो गए.

ये भी पढ़ें-

बालासोर में हुए ट्रेन हादसे के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने दुर्घटना स्थल का दौरा किया. इस दौरान उन्होंने दुर्घटना को बहुत दर्दनाक और विचलित करने वाला हादसा बताया. उन्होंने कहा, सरकार घायलों के इलाज के लिए कोई कसर नहीं छोड़ेगी. ओडिशा रेल दुर्घटना के लिए दोषी पाए जाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी. पीएम मोदी ने ओडिशा के बालासोर जिले के बाहानगा में देश की सबसे भीषण ट्रेन दुर्घटनाओं में से एक के घटनास्थल का निरीक्षण करने और पीड़ितों से अस्पताल में मुलाकात के बाद मीडिया से बात की. उन्होंने कहा, 'रेल हादसे के लिए दोषी पाए जाने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी. किसी को बख्शा नहीं जाएगा.'

(पीटीआई-भाषा)

भुवनेश्वर/नयी दिल्ली: कोरोमंडल एक्सप्रेस में सवार एनडीआरएफ के एक जवान शायद पहले ऐसे व्यक्ति थे, जिन्होंने शुरुआती बचाव प्रयासों में शामिल होने से पहले ओडिशा के बालासोर में हुए ट्रेन हादसे के बारे में आपातकालीन सेवाओं को सतर्क किया था. एनडीआरएफ के जवान वेंकटेश एनके छुट्टी पर थे और पश्चिम बंगाल के हावड़ा से तमिलनाडु की यात्रा कर रहे थे. अधिकारियों ने कहा कि वह बाल-बाल बच गए क्योंकि जिस डिब्बे ‘बी-7’ में वह सवार थे, वह पटरी से उतर गया था लेकिन आगे के डिब्बों से नहीं टकराया.

कोलकाता में एनडीआरएफ की दूसरी बटालियन के साथ तैनात 39 वर्षीय जवान ने सबसे पहले बटालियन में अपने वरिष्ठ निरीक्षक को फोन करके दुर्घटना की जानकारी दी. उसके बाद उन्होंने व्हाट्सएप पर घटनास्थल की 'लाइव लोकेशन' एनडीआरएफ नियंत्रण कक्ष को भेजी और इसका इस्तेमाल पहले बचाव दल ने मौके पर पहुंचने के लिए किया.

बालासोर जिले में शुक्रवार की शाम लगभग सात बजे शालीमार-चेन्नई सेंट्रल कोरोमंडल एक्सप्रेस और बेंगलुरु-हावड़ा एक्सप्रेस ट्रेन के पटरी से उतरने और एक मालगाड़ी से टकराने से यह हादसा हुआ, जिसमें कम से कम 288 लोगों की मौत हो गई और 1,100 से अधिक यात्री घायल हो गए.

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बालासोर में हुए ट्रेन हादसे के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने दुर्घटना स्थल का दौरा किया. इस दौरान उन्होंने दुर्घटना को बहुत दर्दनाक और विचलित करने वाला हादसा बताया. उन्होंने कहा, सरकार घायलों के इलाज के लिए कोई कसर नहीं छोड़ेगी. ओडिशा रेल दुर्घटना के लिए दोषी पाए जाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी. पीएम मोदी ने ओडिशा के बालासोर जिले के बाहानगा में देश की सबसे भीषण ट्रेन दुर्घटनाओं में से एक के घटनास्थल का निरीक्षण करने और पीड़ितों से अस्पताल में मुलाकात के बाद मीडिया से बात की. उन्होंने कहा, 'रेल हादसे के लिए दोषी पाए जाने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी. किसी को बख्शा नहीं जाएगा.'

(पीटीआई-भाषा)

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