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मानसून सत्र : संसद में ओलंपिक पदक विजेताओं को दी गई बधाई

संसद का मानसून सत्र अंतिम सप्ताह में प्रवेश कर गया है. सरकार ने वित्त मंत्रालय से संबंधित चार विधेयकों को राज्यसभा में पारित करने के लिए सूचीबद्ध किया है ताकि उन्हें संसद की मंजूरी मिल सके. वहीं, विपक्ष भी सदन में सरकार को घेरने की रणनीति बनाने में जुटा है.

मानसून सत्र
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Published : Aug 9, 2021, 7:44 AM IST

Updated : Aug 9, 2021, 11:37 AM IST

नई दिल्ली : संसद के मानसून सत्र की कार्यवाही शुरू हो गई है. दोनों सदनों में ओलंपिक पदक विजेताओं को बधाई दी गई. राज्यसभा के सभापति एम. वेंकैया नायडू ने कहा कि टोक्यो ओलंपिक हमारे देश के लिए सबसे अच्छा साबित हुआ. भारत ने न केवल अब तक सबसे अधिक पदक जीते, बल्कि हमारे कई एथलीट ने शानदार प्रदर्शन किया है और पदक जीतने के करीब पहुंचे.

ओलंपिक पदक विजेताओं को बधाई दिए जाने के बाद विपक्षी सांसदों ने हंगामा शुरू कर दिया. आज सरकार ने वित्त मंत्रालय से संबंधित चार विधेयकों को राज्यसभा में पारित करने के लिए सूचीबद्ध किया है. वहीं, विपक्षी दल पेगासस समेत अन्य मुद्दों पर सरकार को घेरने के लिए तैयार है.

संसद की कार्यवाही शुरू होने से पहले आज सुबह लोकसभा और राज्यसभा के विपक्षी नेताओं की संयुक्त बैठक हुई. सरकार को घेरने की रणनीतिक पर चर्चा के लिए यह बैठक राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे के कक्ष में हुई. जिसमें राहुल गांधी के साथ 15 पार्टियों के नेताओं ने भाग लिया.

बैठक के बाद खड़गे ने कहा, संसद में 127वां संविधान संशोधन विधेयक 2021 सरकार लाने जा रही है. हम सभी विपक्षी पार्टियों के नेता और संसद सदस्य इस बिल का समर्थन करेंगे. उन्होंने कहा कि बाकी के मुद्दे अपनी जगह हैं लेकिन ये मुद्दा पिछड़े वर्ग के लोगों और देश के हित में है. हम सबका फर्ज है कि गरीबों और पिछड़ों के हित में जो कानून आता है हम उसका समर्थन करें.

वहीं, कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने कहा, सभी नियमों का उल्लंघन करते हुए इस सरकार ने जोर और जबर से ऐसे कानून पारित करवाने की कोशिश की है और करवाए हैं जिनका भारत के भविष्य पर बहुत दूरगामी परिणाम पड़ेगा. सरकार का यही रवैया रहा तो लोगों के पास सड़क पर निकलकर विरोध करने के सिवा कोई चारी नहीं रहेगा.

बता दें कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण आज राज्यसभा में ट्रिब्यूनल रिफॉर्म्स बिल- 2021, सामान्य बीमा व्यवसाय (राष्ट्रीयकरण) संशोधन विधेयक- 2021 पेश करेंगे. ये दोनों बिल लोकसभा से पास हो चुके हैं. विनियोग (नंबर 4) विधेयक, 2021 और विनियोग (नंबर 3) विधेयक, 2021, जो पिछले सप्ताह से ऊपरी सदन में लंबित है, उसको भी स्थानांतरित किया जाएगा.

संसद का मानसून सत्र 19 जुलाई से शुरू हुआ है, जो 13 अगस्त तक चलेगा. मानसून सत्र में विपक्ष के विरोधों के बीच सरकार ने 3 घंटे 25 मिनट में सदन के माध्यम से आठ विधेयकों को पारित किया है. तीसरे सप्ताह में काम पिछले सप्ताह की तुलना में 24.20 प्रतिशत बढ़ा, जबकि सदन में 21.36 घंटे बर्बाद हुए.

विपक्षी सदस्यों ने कृषि कानूनों, पेगासस जासूसी विवाद और ईंधन वृद्धि से संबंधित मुद्दों को उठाने की कोशिश की, लेकिन अध्यक्ष द्वारा अनुमति नहीं दी गई. कांग्रेस नेता दीपेंद्र हुड्डा ने आरोप लगाया कि जैसा कि आप सदन में किसानों का नाम लेते हैं, माइक बंद कर दिया जाता है.

यह भी पढ़ें- 9 अगस्त को किसान करेंगे महापंचायत, इस रणनीति के तहत आंदोलन को दी जाएगी धार

राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने रविवार को ट्वीट किया, ऐसा लगता है कि पीएम नरेंद्र मोदी ने अपना आपा खो दिया है. वह संसद में सवालों के जवाब देने के लिए उत्सुक क्यों नहीं हैं?

दूसरी ओर, सरकार का दावा है कि विपक्ष एक गैर-मुद्दा उठा रहा है.

विपक्ष चाहता है कि सरकार जासूसी विवाद, कृषि कानून और ईंधन की कीमतों में बढ़ोतरी पर नियम 267 के तहत चर्चा की अनुमति दे. हालांकि सरकार का कहना है कि जासूसी विवाद पर मंत्री के बयान के बाद ही स्पष्टीकरण मांगा जा सकता है जबकि कृषि कानूनों पर स्पष्टीकरण मांगा जा सकता है.

सदन में एक छोटी अवधि की चर्चा की अनुमति दी गई है लेकिन विपक्ष पेगासस मुद्दे पर चर्चा करने से पहले इस पर चर्चा करने को तैयार नहीं है.

नई दिल्ली : संसद के मानसून सत्र की कार्यवाही शुरू हो गई है. दोनों सदनों में ओलंपिक पदक विजेताओं को बधाई दी गई. राज्यसभा के सभापति एम. वेंकैया नायडू ने कहा कि टोक्यो ओलंपिक हमारे देश के लिए सबसे अच्छा साबित हुआ. भारत ने न केवल अब तक सबसे अधिक पदक जीते, बल्कि हमारे कई एथलीट ने शानदार प्रदर्शन किया है और पदक जीतने के करीब पहुंचे.

ओलंपिक पदक विजेताओं को बधाई दिए जाने के बाद विपक्षी सांसदों ने हंगामा शुरू कर दिया. आज सरकार ने वित्त मंत्रालय से संबंधित चार विधेयकों को राज्यसभा में पारित करने के लिए सूचीबद्ध किया है. वहीं, विपक्षी दल पेगासस समेत अन्य मुद्दों पर सरकार को घेरने के लिए तैयार है.

संसद की कार्यवाही शुरू होने से पहले आज सुबह लोकसभा और राज्यसभा के विपक्षी नेताओं की संयुक्त बैठक हुई. सरकार को घेरने की रणनीतिक पर चर्चा के लिए यह बैठक राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे के कक्ष में हुई. जिसमें राहुल गांधी के साथ 15 पार्टियों के नेताओं ने भाग लिया.

बैठक के बाद खड़गे ने कहा, संसद में 127वां संविधान संशोधन विधेयक 2021 सरकार लाने जा रही है. हम सभी विपक्षी पार्टियों के नेता और संसद सदस्य इस बिल का समर्थन करेंगे. उन्होंने कहा कि बाकी के मुद्दे अपनी जगह हैं लेकिन ये मुद्दा पिछड़े वर्ग के लोगों और देश के हित में है. हम सबका फर्ज है कि गरीबों और पिछड़ों के हित में जो कानून आता है हम उसका समर्थन करें.

वहीं, कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने कहा, सभी नियमों का उल्लंघन करते हुए इस सरकार ने जोर और जबर से ऐसे कानून पारित करवाने की कोशिश की है और करवाए हैं जिनका भारत के भविष्य पर बहुत दूरगामी परिणाम पड़ेगा. सरकार का यही रवैया रहा तो लोगों के पास सड़क पर निकलकर विरोध करने के सिवा कोई चारी नहीं रहेगा.

बता दें कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण आज राज्यसभा में ट्रिब्यूनल रिफॉर्म्स बिल- 2021, सामान्य बीमा व्यवसाय (राष्ट्रीयकरण) संशोधन विधेयक- 2021 पेश करेंगे. ये दोनों बिल लोकसभा से पास हो चुके हैं. विनियोग (नंबर 4) विधेयक, 2021 और विनियोग (नंबर 3) विधेयक, 2021, जो पिछले सप्ताह से ऊपरी सदन में लंबित है, उसको भी स्थानांतरित किया जाएगा.

संसद का मानसून सत्र 19 जुलाई से शुरू हुआ है, जो 13 अगस्त तक चलेगा. मानसून सत्र में विपक्ष के विरोधों के बीच सरकार ने 3 घंटे 25 मिनट में सदन के माध्यम से आठ विधेयकों को पारित किया है. तीसरे सप्ताह में काम पिछले सप्ताह की तुलना में 24.20 प्रतिशत बढ़ा, जबकि सदन में 21.36 घंटे बर्बाद हुए.

विपक्षी सदस्यों ने कृषि कानूनों, पेगासस जासूसी विवाद और ईंधन वृद्धि से संबंधित मुद्दों को उठाने की कोशिश की, लेकिन अध्यक्ष द्वारा अनुमति नहीं दी गई. कांग्रेस नेता दीपेंद्र हुड्डा ने आरोप लगाया कि जैसा कि आप सदन में किसानों का नाम लेते हैं, माइक बंद कर दिया जाता है.

यह भी पढ़ें- 9 अगस्त को किसान करेंगे महापंचायत, इस रणनीति के तहत आंदोलन को दी जाएगी धार

राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने रविवार को ट्वीट किया, ऐसा लगता है कि पीएम नरेंद्र मोदी ने अपना आपा खो दिया है. वह संसद में सवालों के जवाब देने के लिए उत्सुक क्यों नहीं हैं?

दूसरी ओर, सरकार का दावा है कि विपक्ष एक गैर-मुद्दा उठा रहा है.

विपक्ष चाहता है कि सरकार जासूसी विवाद, कृषि कानून और ईंधन की कीमतों में बढ़ोतरी पर नियम 267 के तहत चर्चा की अनुमति दे. हालांकि सरकार का कहना है कि जासूसी विवाद पर मंत्री के बयान के बाद ही स्पष्टीकरण मांगा जा सकता है जबकि कृषि कानूनों पर स्पष्टीकरण मांगा जा सकता है.

सदन में एक छोटी अवधि की चर्चा की अनुमति दी गई है लेकिन विपक्ष पेगासस मुद्दे पर चर्चा करने से पहले इस पर चर्चा करने को तैयार नहीं है.

Last Updated : Aug 9, 2021, 11:37 AM IST
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