बेंगलुरु : कर्नाटक के पर्यटन मंत्री सीपी योगेश्वर ने अपनी दिल्ली यात्रा पर बृहस्पतिवार को सफाई देते हुए कहा कि वह राष्ट्रीय नेतृत्व से अपने राजनीतिक भविष्य पर चर्चा करने गए थे और इसका राज्य में नेतृत्व परिवर्तन से कोई लेना-देना नहीं हैं.
बता दें कि योगेश्वर के दिल्ली दौरे से मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा को बदलने के कयास तेज हो गए हैं. हालांकि, येदियुरप्पा के नेतृत्व का समर्थन करने के सवाल का जवाब योगेश्वर ने टाल दिया और कहा कि वह समय आने पर पार्टी के मंच पर अपनी राय रखेंगे.
उन्होंने कहा, मैं दिल्ली आता-जाता रहता हूं, हर बात मीडिया के सामने नहीं कह सकता. आने वाले दिनों में जब हालात उभरेंगे, तब मैं बोलूंगा...मुझे नहीं पता कि कहां से यह चर्चा (नेतृत्व परिवर्तन की) शुरू हुई और क्यों...?
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जब योगेश्वर से पूछा गया कि क्या नेतृत्व परिवर्तन होगा तो उन्होंने कहा, वह ऐसी राय या भावना नहीं रखते.
राज्य के पर्यटन मंत्री ने दोहराया कि उनकी कोशिश पार्टी के नियमों के तहत अपनी चिंताओं से केंद्रीय नेतृत्व को अवगत कराना है, न कि आरोप लगाना या किसी को जिम्मेदार ठहराना.
योगेश्वर ने कहा, मुख्यमंत्री को बदलना मेरी मंशा नहीं है. मेरे पास ताकत भी नहीं है. मेरी चिंता है कि क्या मैं मौजूदा परिस्थितियों में वर्ष 2023 का चुनाव जीत पाऊंगा...
नेतृत्व परिवर्तन के हालात बनने पर येदियुरप्पा का समर्थन करने के सवाल पर योगेश्वर ने कहा, जब समय आएगा तब देखा जाएगा, अभी क्यों चर्चा की जाए? जब यह सवाल आएगा तब मैं पार्टी मंच पर अपनी राय साझा करूंगा, मीडिया के सामने नहीं कह सकता.
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खबरों के मुताबिक, भाजपा के केंद्रीय नेतृत्व ने योगेश्वर और हुबली-धारवाड़ विधायक अरविंद बेल्लाड से मिलने से इनकार कर दिया, जो दिल्ली में डेरा डाले थे. बताया जा रहा है कि दोनों नेता येदियुरप्पा के काम करने के तरीके की शिकायत करने और कुछ अन्य विधायकों की भावनाओं से अवगत कराने के लिए केंद्रीय नेतृत्व से मिलने का समय चाहते थे.
खबर यह भी है कि पार्टी नेतृत्व ने इस मुद्दे पर उन्हें दिल्ली आने से भी मना किया है.
(पीटीआई)