मुंबई : महाराष्ट्र सरकार (Maharashtra Government) ने सोमवार को बंबई उच्च न्यायालय (Bombay High Court) को बताया कि उसने नवंबर 2020 में प्रदेश के राज्यपाल को 12 लोगों के नाम विधान परिषद के सदस्यों के तौर पर मनोनीत किये जाने के लिए सौंपे थे, लेकिन उन्होंने इस पर अभी तक कोई फैसला नहीं किया है.
राज्य सरकार ने अपने हलफनामे में कहा कि मुख्यमंत्री ने मंत्रिपरिषद की सहायता और सलाह के बाद नवंबर 2020 में राज्यपाल को 12 लोगों की सूची सौंपी थी. साथ ही उन्हें जल्द से जल्द विधान परिषद् सदस्य (Member of Legislative council-MLC) मनोनीत करने की सिफारिश की थी. विधानसभा के उच्च सदन में ये मनोनयन राज्यपाल के कोटे के तहत किये जाने हैं.
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नासिक निवासी रतन लथ की एक जनहित याचिका के जवाब में हलफनामा जमा किया गया. लथ ने कहा कि राज्यपाल ने इन लोगों को अभी तक विधान परिषद् में मनोनीत नहीं करके अपनी संवैधानिक वचनबद्धता (constitutional commitment) को पूरा नहीं किया है.
लथ के वकील आस्पी चिनॉय ने सोमवार को मुख्य न्यायाधीश जस्टिस दीपांकर दत्ता (Justice Dipankar Dutta) और न्यायमूर्ति जी एस कुलकर्णी (Justice GS Kulkarni) की खंडपीठ को बताया कि सरकार के राज्यपाल को सूची सौंपे हुए आठ महीने गुजर गये.
(पीटीआई-भाषा)