जालंधर : पंजाब के जालंधर जिले में 39 घंटे से अधिक समय से 60-70 फुट गहरे गड्ढे में फंसे 55 वर्षीय शख्स की मौत हो गई. अधिकारियों ने सोमवार को यह जानकारी दी. सुरेश नामक यह शख्स हरियाणा के जिंद का रहने वाला है. उसका भाई सत्यवान भी घटनास्थल पर मौजूद है. सत्यवान के मुताबिक, सुरेश यहां केयरटेकर था. शनिवार को एक अन्य कर्मचारी पवन के साथ दिल्ली-कटरा एक्सप्रेसवे के लिए जारी निर्माण कार्य के तहत खोदे गए गड्ढे में बोरिंग मशीन के एक हिस्से को निकालने के लिए घुसा था, जो नीचे फंस गया था. अधिकारियों ने बताया कि जब दूसरा मजदूर बाहर आया तो सुरेश के ऊपर मिट्टी गिर गई और वह फंस गया. एक्सप्रेसवे परियोजना के तहत एक खंभा लगाने के लिए यह गड्ढा खोदा गया था.
गौरतलब है कि शनिवार शाम को एनडीआरएफ की टीम ने बचाव अभियान शुरू किया, जो सोमवार तक जारी रहा, लेकिन सुरेश को जिंदा बाहर निकालने में एनडीआरएफ टीम नाकाम हो गई. बचावकर्मियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा था, क्योंकि सुरेश तक पहुंचने के लिए जैसे-जैसे वे गहरी खुदाई कर रहे हैं, नरम मिट्टी धंसती जा रही थी. अधिकारियों ने कहा कि खुदाई स्थल के पास एक तालाब भी चुनौती पेश कर रहा था.
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जालंधर के अतिरिक्त उपायुक्त (शहरी विकास) जसबीर सिंह ने सोमवार को कहा कि बचाव अभियान जारी था. हरियाणा के जींद के रहने वाले सुरेश को बचाने के लिए जिला प्रशासन और राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) ने काफी कोशिश की. मिट्टी की खुदाई करने वाली मशीनों की मदद ली गई. अधिकारियों ने बताया कि घटनास्थल पर एक चिकित्सा टीम और एक एम्बुलेंस भी तैनात था, लेकिन उसे बाहर निकालने में देर हो गई और उसने दम तोड़ दिया.
दूसरी तरफ, भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के एक अधिकारी ने रविवार को कहा कि काम में अनुभव रखने वाले दोनों श्रमिकों को ऑक्सीजन सिलेंडर और सुरक्षात्मक गियर के साथ गड्ढे में भेजा गया था. उन्होंने कहा था कि सभी सुरक्षा प्रोटोकॉल का पालन किया गया था. इसके बावजूद, इस तरह की घटना घटी कैसे, इस पर सवालिया निशान लगा है.
(अतिरिक्त इनपुट-एजेंसी)