ETV Bharat / bharat

इंदिरा कैंटीन में मुफ्त भोजन के लिए आईडी प्रूफ जरूरी नहीं : बीबीएमपी

बृहत बेंगलुरु महानगर पालिका (बीबीएमपी) लॉकडाउन के दौरान बेंगलुरु के इंदिरा कैंटीन में गरीब, प्रवासियों और मजदूरों को मुफ्त में भोजन के पैकेट उपलब्ध करा रहा है. जरूरतमंद को नाश्ते, दोपहर और रात के खाने के लिए अधिकतम तीन पैकेट दिए जा रहे हैं. बीबीएमपी ने कहा है कि इंदिरा कैंटीन में मुफ्त भोजन के लिए आईडी प्रूफ दिखाना जरूरी नहीं है.

ब्रुहट बेंगलुरु महानगर पालिक
ब्रुहट बेंगलुरु महानगर पालिक
author img

By

Published : May 13, 2021, 11:51 AM IST

बेंगलुरु : कोरोना वायरस की दूसरी लहर के कारण देश के तमाम राज्यों व शहरों में लॉकडाउन लगाया गया है. जिससे गरीबों, दिहाड़ी मजदूरों और प्रवासियों के सामने आजीविका का संकट पैदा हो गया है. ऐसे में राज्य सरकारें और अन्य संगठन इन लोगों की मदद को आगे रहे हैं.

इसी क्रम में बृहत बेंगलुरु महानगर पालिका (बीबीएमपी) ने लॉकडाउन के बीच बेंगलुरु के इंदिरा कैंटीन में गरीब, प्रवासियों और मजदूरों को मुफ्त में भोजन के पैकेट उपलब्ध कराने की व्यवस्था शुरू की है.

इंदिरा कैंटीन से कोई भी जरूरतमंद व्यक्ति भोजन के पैकेट ले सकता है. नाश्ते, दोपहर और रात के खाने के लिए अधिकतम तीन पैकेट दिए जा रहे हैं.

पहले बीबीएमपी ने लोगों को भोजन प्राप्त करने के लिए कोई भी पहचान पत्र (जैसे राशन कार्ड, मतदाता पहचान पत्र, आधार, ड्राइविंग लाइसेंस या श्रम विभाग द्वारा जारी पहचान पत्र) दिखाने का निर्देश दिया था, लेकिन लोगों की समस्याओं को समझते हुए बीबीएमपी ने कहा कि लोगों को मुफ्त भोजन पाने के लिए अब आईडी कार्ड दिखाने की आवश्यकता नहीं होगी.

पढ़ें- आज से दिल्ली के अस्पतालों में खाने के पैकेट और जरूरी सामान बांटेंगे किसान

तमिलनाडु की अम्मा कैंटीन की तर्ज पर कर्नाटक सरकार ने 15 अगस्त, 2017 को इंदिरा कैंटीन शुरू की थी.

बेंगलुरु : कोरोना वायरस की दूसरी लहर के कारण देश के तमाम राज्यों व शहरों में लॉकडाउन लगाया गया है. जिससे गरीबों, दिहाड़ी मजदूरों और प्रवासियों के सामने आजीविका का संकट पैदा हो गया है. ऐसे में राज्य सरकारें और अन्य संगठन इन लोगों की मदद को आगे रहे हैं.

इसी क्रम में बृहत बेंगलुरु महानगर पालिका (बीबीएमपी) ने लॉकडाउन के बीच बेंगलुरु के इंदिरा कैंटीन में गरीब, प्रवासियों और मजदूरों को मुफ्त में भोजन के पैकेट उपलब्ध कराने की व्यवस्था शुरू की है.

इंदिरा कैंटीन से कोई भी जरूरतमंद व्यक्ति भोजन के पैकेट ले सकता है. नाश्ते, दोपहर और रात के खाने के लिए अधिकतम तीन पैकेट दिए जा रहे हैं.

पहले बीबीएमपी ने लोगों को भोजन प्राप्त करने के लिए कोई भी पहचान पत्र (जैसे राशन कार्ड, मतदाता पहचान पत्र, आधार, ड्राइविंग लाइसेंस या श्रम विभाग द्वारा जारी पहचान पत्र) दिखाने का निर्देश दिया था, लेकिन लोगों की समस्याओं को समझते हुए बीबीएमपी ने कहा कि लोगों को मुफ्त भोजन पाने के लिए अब आईडी कार्ड दिखाने की आवश्यकता नहीं होगी.

पढ़ें- आज से दिल्ली के अस्पतालों में खाने के पैकेट और जरूरी सामान बांटेंगे किसान

तमिलनाडु की अम्मा कैंटीन की तर्ज पर कर्नाटक सरकार ने 15 अगस्त, 2017 को इंदिरा कैंटीन शुरू की थी.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.