नई दिल्ली: आवासीय ऋण देने वाली कंपनी एचडीएफसी लिमिटेड ने अपनी मानक उधारी दर में शनिवार को 0.30 फीसदी की बढ़ोतरी करने की घोषणा की जिससे उसके मौजूदा एवं नए दोनों ग्राहकों के लिए कर्ज महंगा हो जाएगा. एचडीएफसी ने यह कदम बुधवार को भारतीय रिजर्व बैंक की तरफ से रेपो दर में की गई 0.40 फीसदी की वृद्धि के बाद उठाया है. इसके पहले आईसीआईसीआई बैंक, बैंक ऑफ बड़ौदा और बैंक ऑफ इंडिया समेत कई अन्य ऋणदाता संस्थान भी दरों में बढ़ोतरी कर चुके हैं.
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आवासीय वित्त कंपनी ने एक बयान में कहा कि एचडीएफसी ने आवासीय ऋण पर अपनी खुदरा मुख्य उधारी दर (आरपीएलआर) में 30 आधार अंकों की वृद्धि कर दी है. यह बढ़ोतरी नौ मई से प्रभावी होगी. नए कर्जदारों के लिए संशोधित दरें उनकी साख एवं ऋण राशि के आधार पर सात फीसदी से लेकर 7.45 फीसदी के बीच हैं. इसका मौजूदा दायरा 6.70 प्रतिशत से लेकर 7.15 प्रतिशत है. अगर एचडीएफसी के मौजूदा ग्राहकों की बात करें तो उनके लिए ब्याज दरों में 0.30 फीसदी की बढ़ोतरी होगी.
एचडीएफसी ने मई की शुरुआत में भी अपनी बेंचमार्क उधारी दर में 0.05 फीसदी की वृद्धि की थी जिससे मौजूदा कर्जदारों के लिए कर्जों की मासिक किस्त (ईएमआई) महंगी हो गई थी. एचडीएफसी मौजूदा ग्राहकों को दिए गए कर्जों की नई कीमत तय करने के लिए तीन महीने के चक्र का पालन करता है. लिहाजा ऋणों के शुरुआती वितरण की तारीख के आधार पर बढ़ी हुई उधारी दर के आधार पर संशोधित किया जाएगा.