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छत्तीसगढ़ : मरवाही में 8 साल की बच्ची को हाथियों ने कुचला, ग्रामीणों में आक्रोश

छत्तीसगढ़ के मरवाही में वन मंडल ( Marwahi Forest Division) की लापरवाही का खामियाजा ग्रामीणों को भुगतना पड़ रहा है.ताजा मामले में जंगल में महुआ बीनने गई बच्ची को हाथियों ने कुचल दिया है. घटना को लेकर ग्रामीणों में आक्रोश है.

Elephants crushed 8 year old girl in Marwahi
मरवाही में 8 साल की बच्ची को हाथियों ने कुचला
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Published : Mar 20, 2022, 3:33 PM IST

पेंड्रा : छत्तीसगढ़ के मरवाही वन मंडल ( Marwahi Forest Division) में हाथियों का खौफ जारी है. इस बार हाथी के हमले से 8 साल की बच्ची की जान चली गई. बताया जा रहा है कि बच्ची अपने परिवार के साथ जंगल में महुआ बीनने के लिए गई थी. तभी हाथी ने बच्ची पर हमला कर दिया. ग्रामीणों के मुताबिक वो जिस जगह पर महुआ बीनने जाते हैं वहां पर हाथियों के होने की जानकारी उन्हें नहीं दी गई थी, जिससे ग्रामीणों में वन विभाग को लेकर नाराजगी है. बता दें कि मरवाही में अक्सर भालू और तेंदुआ के हमले की खबरें आती हैं. लेकिन पिछले कुछ महीनों में हाथियों ने मरवाही वन मंडल में अपना डेरा जमा रखा है. ऐसे में जब ग्रामीण जंगल में जाते हैं तो उन पर अक्सर हमला हो जाता है.

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क्या था मामला ?
मामला मरवाही वन मंडल परिक्षेत्र ( Marwahi Forest Division) का है. जहां पर रूमगा गांव के भरियान मोहल्ले में रहने वाले बैगा धनुवार परिवार के लोग महुआ बीनने जंगल गए थे. इसी दौरान हाथियों के झुंड ने परिवार पर हमला कर दिया. परिवार के सभी लोग जान बचाकर भागे लेकिन 8 साल की बच्ची नहीं भाग पाई. जिसके बाद हाथियों ने बच्ची को कुचल (Elephants crush girl) दिया, जिससे बच्ची की मौके पर ही मौत हो गई. ग्रामीणों ने आरोप लगाया है कि दो हाथी लगातार मरवाही वन मंडल में विचरण कर रहे थे. लेकिन वन विभाग ने अभी तक हाथियों को लेकर कोई भी मुनादी नहीं कराई. जबकि महुआ के सीजन में ग्रामीण जंगल में महुआ बीनने जाते हैं.बावजूद इसके हाथियों को लेकर वन विभाग किसी भी तरह की सावधानी नहीं बरत रहा है. यदि वक्त रहते वन विभाग ने मुनादी कराई होती तो शायद इतनी बड़ी घटना नहीं होती.

पेंड्रा : छत्तीसगढ़ के मरवाही वन मंडल ( Marwahi Forest Division) में हाथियों का खौफ जारी है. इस बार हाथी के हमले से 8 साल की बच्ची की जान चली गई. बताया जा रहा है कि बच्ची अपने परिवार के साथ जंगल में महुआ बीनने के लिए गई थी. तभी हाथी ने बच्ची पर हमला कर दिया. ग्रामीणों के मुताबिक वो जिस जगह पर महुआ बीनने जाते हैं वहां पर हाथियों के होने की जानकारी उन्हें नहीं दी गई थी, जिससे ग्रामीणों में वन विभाग को लेकर नाराजगी है. बता दें कि मरवाही में अक्सर भालू और तेंदुआ के हमले की खबरें आती हैं. लेकिन पिछले कुछ महीनों में हाथियों ने मरवाही वन मंडल में अपना डेरा जमा रखा है. ऐसे में जब ग्रामीण जंगल में जाते हैं तो उन पर अक्सर हमला हो जाता है.

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क्या था मामला ?
मामला मरवाही वन मंडल परिक्षेत्र ( Marwahi Forest Division) का है. जहां पर रूमगा गांव के भरियान मोहल्ले में रहने वाले बैगा धनुवार परिवार के लोग महुआ बीनने जंगल गए थे. इसी दौरान हाथियों के झुंड ने परिवार पर हमला कर दिया. परिवार के सभी लोग जान बचाकर भागे लेकिन 8 साल की बच्ची नहीं भाग पाई. जिसके बाद हाथियों ने बच्ची को कुचल (Elephants crush girl) दिया, जिससे बच्ची की मौके पर ही मौत हो गई. ग्रामीणों ने आरोप लगाया है कि दो हाथी लगातार मरवाही वन मंडल में विचरण कर रहे थे. लेकिन वन विभाग ने अभी तक हाथियों को लेकर कोई भी मुनादी नहीं कराई. जबकि महुआ के सीजन में ग्रामीण जंगल में महुआ बीनने जाते हैं.बावजूद इसके हाथियों को लेकर वन विभाग किसी भी तरह की सावधानी नहीं बरत रहा है. यदि वक्त रहते वन विभाग ने मुनादी कराई होती तो शायद इतनी बड़ी घटना नहीं होती.

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