नई दिल्ली : चार राज्यों और एक केंद्र शासित प्रदेश में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं. स्वास्थ्य विशेषज्ञ और आईसीएमआर सलाहकार डॉ. सुनीला गर्ग ने कहा कि राज्यों में होने वाले चुनावों के मद्देनजर यदि कोविड प्रोटोकॉल का पालन नहीं किया गया, तो कोरोना के मामले बढ़ सकते हैं.
डॉक्टर गर्ग ने कहा कि जब हम कोविड के दवा की बात करते हैं, तो इसके लिए सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करना अनिवार्य है.
उन्होंने आगे कहा कि कोविड टीका लेने के बाद कई लोग ढिलाई बरत रहे हैं. टीका लेने के बाद भी सोशल डिस्टेंसिंग और कोविड प्रोटोकॉल का पालन जरूरी है.
केंद्रीय स्वास्थ्य टीम ने हाल ही में महाराष्ट्र का दौरा किया. टीम ने कहा कि कोविड के दौरान सामाजिक दूरी का पालन न करना, बड़े पैमाने पर लोगों के एकजुट होने के कारण कोरोना के मामलों में बढ़ोतरी देखने को मिली.
गर्ग ने आगे कहा कि लोग दैनिक आदत में कोविड अनुरूप व्यवहार का पालन नहीं कर रहे हैं. उच्च स्तरीय केंद्रीय टीम ने अपनी रिपोर्ट में कोविड प्रोटोकॉल में ढिलाई के कारण मामलों में वृद्धि की बात कही.
बिहार विधानसभा चुनाव के समय भी केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने कोविड-19 दिशानिर्देश जारी किए. हालांकि, ऐसी रिपोर्टें थीं कि लोगों ने कोविड-19 प्रोटोकॉल को बनाए रखा.
चुनाव आयोग ने इस बार चुनाव ड्यूटी के सभी अधिकारियों को टीका लगाया जाने का सुझाव दिया है.
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सामाजिक दूरियों के मानदंडों को बनाए रखने के संबंध में आयोग के आगामी चुनावों तक और अधिक दिशानिर्देश जारी करने की संभावना है.
डॉ. गर्ग ने कहा कि मतदान केंद्रों के लिए दिशानिर्देश, जैसे कोविड प्रोटोकॉल को कैसे बनाए रखा जाए, कैसे सोशल डिस्टेंसिंग को बनाए रखें. वास्तव में यह देखना ज्यादा महत्वपूर्ण है कि इस प्रोटोकॉल का पालन कैसे किया जाता है.
डॉ. गर्ग ने सुझाव देते हुए कहा कि जहां भी कोरोना के मामले बढ़ रहे हैं, वहां कंटेनमेंट जोन बनाए जाने चाहिए. प्रशासन को कोविड प्रोटोकॉल का कड़ाई से पालन के लिए इंतजाम करने की जरूरत है. ढिलाई से कोरोना के मामलों में बढ़ोतरी देखने को मिलेगी.
चुनाव में सभी उम्मीदवारों के टीकाकरण के सवाल पर, डॉ. गर्ग ने कहा कि मतदान अधिकारियों को टीकाकरण सुनिश्चित करना आवश्यक है. वह मतदान के दौरान बढ़ी संख्या में लोगों का सामना करेंगे.