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UP: पुलिस हिरासत में बलवंत की मौत पर खुलासा, शरीर पर गंभीर चोटों के 31 निशान मिले

यूपी के जनपद कानपुर देहात में रनियां थाने में संदिग्ध हालात में बलवंत की मौत के मामले में पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आने के बाद नया मोड़ आ गया है (Balwant death in police custody ). पोस्टमॉर्टम में मारे गए बलवंत की बॉडी पर गहरे चोटों के 31 निशान मिले हैं (31 serious injuries found on the body). जबकि पुलिस ने दावा किया था सीने में दर्द के कारण उसकी मौत हुई है.

मृतक बलवंत की फाइल फोटो.
मृतक बलवंत की फाइल फोटो.
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Published : Dec 21, 2022, 5:08 PM IST

जानकारी देते मृतक बलवंत के चाचा और एडीजी कानपुर.

कानपुर देहात : 12 दिसंबर को यूपी के जनपद कानपुर देहात में रनियां थाने में संदिग्ध हालात में बलवंत की मौत हो गई थी. इस मौत के बाद बलवंत के परिजनों ने पुलिस पर बर्बरता से पीटने का आरोप लगाया था. मंगलवार को जारी बलवंत की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में पूरे शरीर में 31 गंभीर चोटों के निशान मिले हैं (31 serious injuries found on the body). जबकि कुल चोटों की संख्या 40 से भी ज्यादा है. बाकी आठ से दस छोटी-छोटी चोटे हैं, जिन्हें पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट मे मेंशन नहीं किया गया है. हालांकि उसमें मौत की वजह की पुष्टि नहीं हुई है. उसके बिसरा को सुरक्षित रखा गया है. बलवंत सिंह के चाचा अंगत सिंह का कहना है कि आज तक उन्हें पुलिस विभाग की तरफ से पोस्टमार्टम रिपोर्ट उपलब्ध नहीं कराई है. पुलिस पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के बारे में बयान नहीं दे रही है. ADG भानु भाष्कर का कहना है कि SIT इस केस में साक्ष्य एकत्रित कर रही है. साक्ष्यों के आधार पर आरोपी पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्यवाही की जा रही है.

मृतक बलवंत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट.
मृतक बलवंत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट.

हालांकि पोस्टमॉर्टम करने वाले डॉक्टरों के मुताबिक, उसके हाथ, पैर, पीठ, गदेली और पैर के तलवों पर चोट के निशान मिले हैं. इस पिटाई के बाद जगह-जगह से उसकी शरीर की नसें फट गई और शरीर में कई जगह ब्लड क्लॉट हो गया. इस वजह से वह कोमा में चला गया, बाद में मल्टी आर्गन फेल्योर की वजह से उसकी मौत हाे गई. पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के मुताबिक, बलवंत के जांघ और छाती पर भी गंभीर चोट के निशान मिले हैं. साथ ही कलाई की मसल्स बुरी तरह से डैमेज पाई गई हैं. पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में बलवंत के सिर में भी चोट के निशान मिले हैं. सिर की कोई हड्‌डी नहीं टूटी है और न ही ब्लीडिंग के निशान हैं. बाएं हाथ की हथेली पर भी गंभीर रूप से चोट के निशान हैं. साथ ही, हथेली से लेकर कुहनी तक पर चोट ही चोट हैं. हालांकि पूरे शरीर में कहीं भी फ्रैक्चर नहीं पाया गया है. डॉक्टरों के अनुमान के मुताबिक, हर चोट पर बीस से ज्यादा बार लाठियां बरसाई गई थीं.

मृतक बलवंत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट.
मृतक बलवंत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट.

बता दें कि 12 दिसंबर को पुलिस कस्टडी में मारे गए बलवंत के परिजनों के विरोध के बाद पुलिस ने दावा किया था कि उसके सीने में दर्द की शिकायत थी, जिसके बाद उसे हॉस्पिटल ले जाया गया था. मगर पोस्टमार्टम रिपोर्ट में मिले चोट के निशान पुलिस के दावों को नकार रहे हैं. बलवंत हत्याकांड में अब तक पांच आरोपियों की गिरफ्तारी पुलिस कर चुकी है, जिसमें मुख्य आरोपी तत्कालीन शिवली थाना प्रभारी राजेश सिंह, एसओजी प्रभारी प्रशांत गौतम, मुख्य आरक्षी एसओजी, सोनू यादव, मुख्य आरक्षी एसओजी दुर्वेश कुमार, मुख्य आरक्षी एसओजी अनूप कुमार को गिरफ्तार किया जा चुका है.अभी इस मामले में चार आरोपियों की तलाश जारी है. मैथा चौकी इंचार्ज ज्ञान प्रकाश, एसआई शिवली, संपत सिंह, हेड कॉन्स्टेबल विनोद कुमार और एसओजी आरक्षी जय कुमार अभी फरार हैं.

मृतक बलवंत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट.
मृतक बलवंत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट.
जनपद कानपुर देहात के शिवली थाने के सरैया गांव में 6 दिसंबर को चंद्रभान सिंह नाम के कारोबारी से लूट हुई थी. बाइक सवार बदमाशों ने उनसे ढाई लाख रुपये का सामान लूट लिया था. इस केस की जांच कर रही पुलिस ने 12 दिसंबर को 5 अलग-अलग लोगों को हिरासत में लिया था. लूट के आरोपियों में चंद्रभान का भतीजा बलवंत भी था. चंद्रभान का आरोप है कि लूट का फर्जी खुलासा करने के लिए पुलिस ने बलवंत को उठाया था. उनका आरोप है कि बलवंत को रनियां थाने में आरोपी पुलिस वालों ने इतना पीटा कि उसकी मौत हो गई. घरवालों को मौत की खबर सुबह दी गई. इस बीच पूरी रात पुलिस वाले उन्हें एक थाने से दूसरे थाने तक दौड़ाते रहे.
बलवंत की कलाई और पैरों में पिटाई के निशान से ब्लड क्लॉटिंग हो गई थी.
बलवंत की कलाई और पैरों में पिटाई के निशान से ब्लड क्लॉटिंग हो गई थी.

व्यापारी बलवंत सिंह की मौत के मामले में ADG भानु भाष्कर ने कहा है कि SIT साक्ष्य एकत्रित कर रही है. साक्ष्यों के आधार पर आरोपी पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्यवाही की जा रही है. पुलिस महकमा बहुत बड़ा है और पुलिस अच्छे काम भी करती है. बलवंत की मौत की घटना बहुत ही दुखद है, जिसकी वह निंदा करते हैं. एडीजी ने कहा कि पूरे मामले की जांच कनौज के एसपी कर रहे हैं. बहुत जल्द सभी आरोपी पुलिसकर्मी सलाखों के पीछे होंगे. मृतक के चाचा अंगत सिंह का कहना है कि आज तक उन्हें पुलिस विभाग की तरफ से पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट उपलब्ध नहीं कराई गई है, ताकि वह जान सके कि कितनी चोटे आई हैं. इस विषय को लेकर वह अधिकारियों से कई बार लिख चुके हैं.

रनिया थाने में बलवंत की मौत का मुद्दा तूल पकड़ चुका है. पिछले दिनों समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी इस मौत पर सवाल उठाया था. वह बलवंत के परिजनों से मिले भी थे. फिलहाल इस मुद्दे पर बीजेपी की सरकार बैकफुट पर है.

पढ़ें : हाईकोर्ट ने नितेश सिंह मर्डर केस की जांच सीबीसीआईडी को सौंपने का दिया आदेश

जानकारी देते मृतक बलवंत के चाचा और एडीजी कानपुर.

कानपुर देहात : 12 दिसंबर को यूपी के जनपद कानपुर देहात में रनियां थाने में संदिग्ध हालात में बलवंत की मौत हो गई थी. इस मौत के बाद बलवंत के परिजनों ने पुलिस पर बर्बरता से पीटने का आरोप लगाया था. मंगलवार को जारी बलवंत की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में पूरे शरीर में 31 गंभीर चोटों के निशान मिले हैं (31 serious injuries found on the body). जबकि कुल चोटों की संख्या 40 से भी ज्यादा है. बाकी आठ से दस छोटी-छोटी चोटे हैं, जिन्हें पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट मे मेंशन नहीं किया गया है. हालांकि उसमें मौत की वजह की पुष्टि नहीं हुई है. उसके बिसरा को सुरक्षित रखा गया है. बलवंत सिंह के चाचा अंगत सिंह का कहना है कि आज तक उन्हें पुलिस विभाग की तरफ से पोस्टमार्टम रिपोर्ट उपलब्ध नहीं कराई है. पुलिस पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के बारे में बयान नहीं दे रही है. ADG भानु भाष्कर का कहना है कि SIT इस केस में साक्ष्य एकत्रित कर रही है. साक्ष्यों के आधार पर आरोपी पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्यवाही की जा रही है.

मृतक बलवंत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट.
मृतक बलवंत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट.

हालांकि पोस्टमॉर्टम करने वाले डॉक्टरों के मुताबिक, उसके हाथ, पैर, पीठ, गदेली और पैर के तलवों पर चोट के निशान मिले हैं. इस पिटाई के बाद जगह-जगह से उसकी शरीर की नसें फट गई और शरीर में कई जगह ब्लड क्लॉट हो गया. इस वजह से वह कोमा में चला गया, बाद में मल्टी आर्गन फेल्योर की वजह से उसकी मौत हाे गई. पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के मुताबिक, बलवंत के जांघ और छाती पर भी गंभीर चोट के निशान मिले हैं. साथ ही कलाई की मसल्स बुरी तरह से डैमेज पाई गई हैं. पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में बलवंत के सिर में भी चोट के निशान मिले हैं. सिर की कोई हड्‌डी नहीं टूटी है और न ही ब्लीडिंग के निशान हैं. बाएं हाथ की हथेली पर भी गंभीर रूप से चोट के निशान हैं. साथ ही, हथेली से लेकर कुहनी तक पर चोट ही चोट हैं. हालांकि पूरे शरीर में कहीं भी फ्रैक्चर नहीं पाया गया है. डॉक्टरों के अनुमान के मुताबिक, हर चोट पर बीस से ज्यादा बार लाठियां बरसाई गई थीं.

मृतक बलवंत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट.
मृतक बलवंत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट.

बता दें कि 12 दिसंबर को पुलिस कस्टडी में मारे गए बलवंत के परिजनों के विरोध के बाद पुलिस ने दावा किया था कि उसके सीने में दर्द की शिकायत थी, जिसके बाद उसे हॉस्पिटल ले जाया गया था. मगर पोस्टमार्टम रिपोर्ट में मिले चोट के निशान पुलिस के दावों को नकार रहे हैं. बलवंत हत्याकांड में अब तक पांच आरोपियों की गिरफ्तारी पुलिस कर चुकी है, जिसमें मुख्य आरोपी तत्कालीन शिवली थाना प्रभारी राजेश सिंह, एसओजी प्रभारी प्रशांत गौतम, मुख्य आरक्षी एसओजी, सोनू यादव, मुख्य आरक्षी एसओजी दुर्वेश कुमार, मुख्य आरक्षी एसओजी अनूप कुमार को गिरफ्तार किया जा चुका है.अभी इस मामले में चार आरोपियों की तलाश जारी है. मैथा चौकी इंचार्ज ज्ञान प्रकाश, एसआई शिवली, संपत सिंह, हेड कॉन्स्टेबल विनोद कुमार और एसओजी आरक्षी जय कुमार अभी फरार हैं.

मृतक बलवंत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट.
मृतक बलवंत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट.
जनपद कानपुर देहात के शिवली थाने के सरैया गांव में 6 दिसंबर को चंद्रभान सिंह नाम के कारोबारी से लूट हुई थी. बाइक सवार बदमाशों ने उनसे ढाई लाख रुपये का सामान लूट लिया था. इस केस की जांच कर रही पुलिस ने 12 दिसंबर को 5 अलग-अलग लोगों को हिरासत में लिया था. लूट के आरोपियों में चंद्रभान का भतीजा बलवंत भी था. चंद्रभान का आरोप है कि लूट का फर्जी खुलासा करने के लिए पुलिस ने बलवंत को उठाया था. उनका आरोप है कि बलवंत को रनियां थाने में आरोपी पुलिस वालों ने इतना पीटा कि उसकी मौत हो गई. घरवालों को मौत की खबर सुबह दी गई. इस बीच पूरी रात पुलिस वाले उन्हें एक थाने से दूसरे थाने तक दौड़ाते रहे.
बलवंत की कलाई और पैरों में पिटाई के निशान से ब्लड क्लॉटिंग हो गई थी.
बलवंत की कलाई और पैरों में पिटाई के निशान से ब्लड क्लॉटिंग हो गई थी.

व्यापारी बलवंत सिंह की मौत के मामले में ADG भानु भाष्कर ने कहा है कि SIT साक्ष्य एकत्रित कर रही है. साक्ष्यों के आधार पर आरोपी पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्यवाही की जा रही है. पुलिस महकमा बहुत बड़ा है और पुलिस अच्छे काम भी करती है. बलवंत की मौत की घटना बहुत ही दुखद है, जिसकी वह निंदा करते हैं. एडीजी ने कहा कि पूरे मामले की जांच कनौज के एसपी कर रहे हैं. बहुत जल्द सभी आरोपी पुलिसकर्मी सलाखों के पीछे होंगे. मृतक के चाचा अंगत सिंह का कहना है कि आज तक उन्हें पुलिस विभाग की तरफ से पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट उपलब्ध नहीं कराई गई है, ताकि वह जान सके कि कितनी चोटे आई हैं. इस विषय को लेकर वह अधिकारियों से कई बार लिख चुके हैं.

रनिया थाने में बलवंत की मौत का मुद्दा तूल पकड़ चुका है. पिछले दिनों समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी इस मौत पर सवाल उठाया था. वह बलवंत के परिजनों से मिले भी थे. फिलहाल इस मुद्दे पर बीजेपी की सरकार बैकफुट पर है.

पढ़ें : हाईकोर्ट ने नितेश सिंह मर्डर केस की जांच सीबीसीआईडी को सौंपने का दिया आदेश

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