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उत्तर प्रदेश : बॉलीवुड के सहयोग से नेत्रहीन हथिनी को मिली 'नई जिंदगी' - वाइल्डलाइफ एसओएस मथुरा

बॉलीवुड की कई हस्तियों ने नेत्रहीन हथिनी नीना को मुक्त कराने को लेकर सोशल मीडिया का सहारा लिया था. आखिर में ये प्रयास रंग लाया. इस सहयोग से नीना को अब 'नई जिंदगी' मिली है.

नेत्रहीन हथिनी
नेत्रहीन हथिनी
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Published : Jul 14, 2021, 1:43 AM IST

मथुरा : 'नीना' हथिनी दोनों आंखों से नेत्रहीन है. इसके अलावा गंभीर गठिया, लंगड़ापन एवं अपक्षयी जोड़ों के रोग से पीड़ित है. उसके बिगड़ते स्वास्थ्य और गंभीर स्थिति में उसे तत्काल इलाज की जरूरत थी. लेकिन इसके बावजूद उसका मालिक उससे बेरहमी से भीख मंगाता था. शादी विवाह में ले जाया करता था. लेकिन आज बॉलीवुड कलाकारों के सहयोग से नेत्रहीन हथिनी को नई जिंदगी मिली है.

दरअसल, जनपद मथुरा के आगरा-दिल्ली राजमार्ग पर चुरमुरा गांव में हाथी संरक्षण केंद्र है. यहां नेत्रहीन हाथियों का इलाज किया जाता है. एसओएस संस्था और वन विभाग की संयुक्त पहल के द्वारा नेत्रहीन हथिनी नीना को जंजीरों से मुक्त कराकर एलीफेंट केयर सेंटर में इलाज के लिए लाया गया है. कुशल डॉक्टरों की टीम द्वारा नेत्रहीन हथिनी का इलाज कराया जा रहा है. इस संरक्षण संस्था में वर्तमान में सात नेत्रहीन हाथी हैं.

वाइल्डलाइफ एसओएस और वन विभाग की टीम नीना को तत्काल उपचार और देखभाल के लिए मथुरा के फरह स्थित हाथी अस्पताल लेकर आई. वह यहां तीन सप्ताह पहले लाई गई थी. उसका उपचार चल रहा है. नेत्रहीन हाथियों को दुर्व्यवहार से बचाने के लिए वाइल्डलाइफ एसओएस द्वारा बनाई गई याचिका पर 60,000 से अधिक लोगों ने हस्ताक्षर किए थे.

दरअसल, 60 वर्षीय हथिनी 'नीना' का इस्तेमाल जीवन भर सड़कों पर भीख मांगने के साथ-साथ शादियों और जुलूस के लिए भी किया जाता रहा. अंधी, कमजोर, बुजुर्ग और गंभीर रोगों से पीड़ित होने के बावजूद उसका व्यावसायिक उपयोग के लिए शोषण जारी था.

रोगों से पीड़ित होने के बावजूद नीना का मालिक या महावत अंधी हथिनी को शादी समारोह में शामिल करने के लिए आज तक मजबूर करता आ रहा था. वृद्ध 'नीना' को काम पर ले जाने के लिए उसे कई तरह से प्रताड़ित करता था. बीमार 'नीना' को कभी भी उचित चिकित्सा उपचार नहीं मिला. लेकिन अब मथुरा स्थित वाइल्डलाइफ एसओएस के हाथी अस्पताल में, नेत्रहीन हथिनी 'नीना' को अनुभवी पशु चिकित्सकों और देखभाल कर्मचारियों की टीम मिली. डॉक्टरों ने नीना की आंखों का अल्ट्रासाउंड किया. उसकी हड्डियों का आंकलन करने के लिए एक्स-रे किया. हथिनी के दर्द और पीड़ा को कम करने के लिए हाइड्रोथेरेपी, लेजर थेरेपी के साथ-साथ पोषित आहार भी शामिल किए गए हैं.

पढ़ें - लद्दाख में दलाई लामा का बर्थडे मानने का चीन ने किया विरोध : भारतीय सेना

एसओएस संस्था के सह संस्थापक कार्तिक सत्यनारायण ने फोन पर जानकारी देते हुए बताया- 'मैं उन सभी मशहूर बॉलीवुड हस्तियों का आभारी हूं, जिन्होंने नेत्रहीन हथिनी नीना की दुर्दशा देख एक संकल्प लिया था, इसे मुक्त कराने का. संस्था और वन विभाग के सहयोग से नेत्रहीन हथिनी इलाज के लिए मथुरा पहुंच गई है. हृदय से धन्यवाद देता हूं. एक अपील भी करना चाहूंगा- मशहूर हस्तियां ऐसे वनजीव के शोषण की रोकथाम के लिए अलग-अलग सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के माध्यम से लोगों को जागरूक भी करें ताकि हमें और मदद मिल सके.

मथुरा : 'नीना' हथिनी दोनों आंखों से नेत्रहीन है. इसके अलावा गंभीर गठिया, लंगड़ापन एवं अपक्षयी जोड़ों के रोग से पीड़ित है. उसके बिगड़ते स्वास्थ्य और गंभीर स्थिति में उसे तत्काल इलाज की जरूरत थी. लेकिन इसके बावजूद उसका मालिक उससे बेरहमी से भीख मंगाता था. शादी विवाह में ले जाया करता था. लेकिन आज बॉलीवुड कलाकारों के सहयोग से नेत्रहीन हथिनी को नई जिंदगी मिली है.

दरअसल, जनपद मथुरा के आगरा-दिल्ली राजमार्ग पर चुरमुरा गांव में हाथी संरक्षण केंद्र है. यहां नेत्रहीन हाथियों का इलाज किया जाता है. एसओएस संस्था और वन विभाग की संयुक्त पहल के द्वारा नेत्रहीन हथिनी नीना को जंजीरों से मुक्त कराकर एलीफेंट केयर सेंटर में इलाज के लिए लाया गया है. कुशल डॉक्टरों की टीम द्वारा नेत्रहीन हथिनी का इलाज कराया जा रहा है. इस संरक्षण संस्था में वर्तमान में सात नेत्रहीन हाथी हैं.

वाइल्डलाइफ एसओएस और वन विभाग की टीम नीना को तत्काल उपचार और देखभाल के लिए मथुरा के फरह स्थित हाथी अस्पताल लेकर आई. वह यहां तीन सप्ताह पहले लाई गई थी. उसका उपचार चल रहा है. नेत्रहीन हाथियों को दुर्व्यवहार से बचाने के लिए वाइल्डलाइफ एसओएस द्वारा बनाई गई याचिका पर 60,000 से अधिक लोगों ने हस्ताक्षर किए थे.

दरअसल, 60 वर्षीय हथिनी 'नीना' का इस्तेमाल जीवन भर सड़कों पर भीख मांगने के साथ-साथ शादियों और जुलूस के लिए भी किया जाता रहा. अंधी, कमजोर, बुजुर्ग और गंभीर रोगों से पीड़ित होने के बावजूद उसका व्यावसायिक उपयोग के लिए शोषण जारी था.

रोगों से पीड़ित होने के बावजूद नीना का मालिक या महावत अंधी हथिनी को शादी समारोह में शामिल करने के लिए आज तक मजबूर करता आ रहा था. वृद्ध 'नीना' को काम पर ले जाने के लिए उसे कई तरह से प्रताड़ित करता था. बीमार 'नीना' को कभी भी उचित चिकित्सा उपचार नहीं मिला. लेकिन अब मथुरा स्थित वाइल्डलाइफ एसओएस के हाथी अस्पताल में, नेत्रहीन हथिनी 'नीना' को अनुभवी पशु चिकित्सकों और देखभाल कर्मचारियों की टीम मिली. डॉक्टरों ने नीना की आंखों का अल्ट्रासाउंड किया. उसकी हड्डियों का आंकलन करने के लिए एक्स-रे किया. हथिनी के दर्द और पीड़ा को कम करने के लिए हाइड्रोथेरेपी, लेजर थेरेपी के साथ-साथ पोषित आहार भी शामिल किए गए हैं.

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एसओएस संस्था के सह संस्थापक कार्तिक सत्यनारायण ने फोन पर जानकारी देते हुए बताया- 'मैं उन सभी मशहूर बॉलीवुड हस्तियों का आभारी हूं, जिन्होंने नेत्रहीन हथिनी नीना की दुर्दशा देख एक संकल्प लिया था, इसे मुक्त कराने का. संस्था और वन विभाग के सहयोग से नेत्रहीन हथिनी इलाज के लिए मथुरा पहुंच गई है. हृदय से धन्यवाद देता हूं. एक अपील भी करना चाहूंगा- मशहूर हस्तियां ऐसे वनजीव के शोषण की रोकथाम के लिए अलग-अलग सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के माध्यम से लोगों को जागरूक भी करें ताकि हमें और मदद मिल सके.

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