नई दिल्ली : भाजपा ने तेलंगाना के बाद अब बिहार में संगठन मजबूत करने की योजना बनाई है और उस पर काम शुरू कर दिया है. बिहार में पार्टी ने 'मिशन 243' का लक्ष्य रखते हुए बड़े और चर्चित चेहरो का बिहार के सभी विधानसभा क्षेत्रों के लिए प्रवास कार्यक्रम तैयार किया है. दरअसल, भाजपा के अंदर चर्चा है कि पार्टी नेता जनता से दूर होते जा रहे हैं और बिहार में दूसरे दलों के नेताओं का असर ज्यादा दिखने लगा है. इस बात से परेशान पार्टी ने बिहार में 28 और 29 जुलाई को 48 घंटे के लिए पार्टी के नेताओं को जनता के साथ प्रवास करने की योजना बनाई है.
हाल के महीनों में जदयू के नेताओं के साथ भाजपा नेताओं की गाहे-बगाहे चलने वाली तू-तू मैं-मैं थोड़ी बढ़ गई है. बदजुबानी की वजह से दोनों ही पार्टियों के बीच विश्वास लगातार कम होता जा रहा है और यही वजह है कि भाजपा उन निर्वाचन क्षेत्रों में भी अपनी पैठ बनाने की कोशिश कर रही है, जो सीटें उसके पास नही हैं. चाहे वब जदयू के पास हो या फिर विपक्षी दलों के पास. पार्टी का लक्ष्य है मिशन बिहार और पार्टी इस बात की तैयारी कर रही है कि जरूरत पड़ी तो चुनावी मैदान में वो बगैर जदयू के, अकेले ही उतर सके.
इस प्रवास कार्यक्रम के तहत भाजपा के तमाम बड़े नेता और अलग-अलग मोर्चों के सदस्य और अध्यक्ष बिहार के सभी विधानसभा क्षेत्रों में जाकर 48 घंटे यानी लगातार दो दिन का प्रवास करेंगे और वहां की जनता और स्थानीय नेताओं से सीधा संवाद करेंगे. इस फार्मूले के तहत पार्टी सूत्रों की माने तो भाजपा ने पहले अंदरूनी सर्वे करवाया है और जिन इलाकों में मतदाताओं की बहुलता है, उसे ध्यान में रखा जा रहा है.
मसलन, ओबीसी बहुल क्षेत्रों में ओबीसी के नेता, अनुसूचित जाति-जनजाति बहुल क्षेत्रों में अनुसूचित जाति के नेता, अल्पसंख्यक बहुल इलाके में पार्टी के अल्पसंख्यक मोर्चा के नेताओं और महिला और युवा मोर्चा के नेताओं का भी प्रवास कार्यक्रम लगाया गया है. इस प्रवास कार्यक्रम के तुरंत बाद यानी 30 और 31 जुलाई को पार्टी के सभी मोर्चों की बैठक पटना में होगी जिसका उद्घाटन पार्टी अध्यक्ष जे.पी. नड्डा करेंगे.
प्रवास कार्यक्रम के अंतर्गत सभी नेता जनता से सरकार की उपलब्धियां साझा करेंगे. वे लोगों को बताएंगे महिलाओं, युवाओं, किसानों और पिछड़ी जातियों और अल्पसंख्यकों के लिए सरकार ने क्या-क्या योजनाएं बनाई हैं और इससे कितने लोग लाभान्वित हुए हैं. पार्टी के नेता उन लोगों से भी मिलेंगे, जिन्हें इन योजनाओं का फायदा मिला है. पार्टी के नेता कुछ ऐसे इलाकों में भी प्रवास करेंगे, जो जदयू मतदाता बहुल इलाका है. इस बात से अंदरखाने गठबंधन के नेताओं में सुगबुगाहट भी है. इस मुद्दे पर पार्टी के एक बिहार से संबंधित वरिष्ठ नेता ने बताया कि बहुत जल्द पता चल जाएगा कि कौन-सा नेता किस इलाके में प्रवास करेगा.