हैदराबाद : भारतीय जनता पार्टी की कर्नाटक इकाई के बेहद सक्रिय राजनेता अनंत कुमार को उनकी साफगोई के लिए याद किया जाता है. वे राजनीतिक के साथ सामाजिक कार्यकर्ता और एक सफल उद्योगपति भी थे. देश की 14वीं लोकसभा में वे बेंगलुरु से चुने गए थे.
पहली बार उन्होंने 1996 से लोकसभा में बेंगलुरू दक्षिण निर्वाचन क्षेत्र का प्रतिनिधित्व किया था. 2014 में मोदी सरकार बनने के बाद अनंत कुमार को दो प्रमुख मंत्रालयों का प्रभार दिया गया. मई 2014 में वे रसायन और उर्वरक मंत्री के रूप में कार्यरत रहे 2016 में नरेंद्र मोदी सरकार में उन्हें संसदीय मामलों के मंत्री के रूप में अतिरिक्त प्रभार दिया गया. उन्होंने अन्नपुरोना, आटा-पाथा इत्यादि सामाजिक और सांस्कृतिक गतिविधियों में भाग लिया. साथ ही प्रसिद्ध समाचार पत्रों और पत्रिकाओं में राष्ट्रीय मुद्दों पर प्रकाशित लेख लिखे.
अनंत कुमार राजनीति के साथ ही शैक्षणिक मुद्दों पर भी मुखर रहे. हिंदी भाषा सहित कन्नड़, तेलुगु और अंग्रेजी भाषाओं पर भी उनकी समान पकड़ रही. वे बेहद कुशल वक्ता के रुप में भी याद किए जाते हैं. उन्हें कविता, लेखन और यात्राओं का विशेष शौक रहा भ्रमण करना उनका पसंदीदा शगल रहा.
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वे क्रिकेट, बैडमिंटन, टेबल टेनिस, शतरंज जैसे खेलों में भी रुचि रखते थे. 12 नवम्बर 2018 को केंद्रीय मंत्री अनंत कुमार बेंगलुरु में अंतिम सांस ली. वे कैंसर की बीमारी से पीड़ित थे और अंतिम दिनों में वेंटीलेटर पर थे.