कोलकाता : भाजपा नेता शुभेंदु अधिकारी ने अपनी विधानसभा सीट नंदीग्राम से चुनाव लड़ने की पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी द्वारा दी गई चुनौती सोमवार को स्वीकार कर ली. शुभेंदु ने कहा कि वह चुनाव में उन्हें हराएंगे वरना राजनीति छोड़ देंगे. हालांकि, पूर्व तृणमूल नेता ने कहा कि उम्मीदवारों पर आखिरी निर्णय भाजपा नेतृत्व विस्तृत चर्चा के बाद लेगा. न कि जैसे सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस में मनमाने तरीके से होता है.
बनर्जी ने सोमवार को दिन में नंदीग्राम से विधानसभा चुनाव लड़ने का एलान करके सभी को चौंका दिया था. इस सीट से राजनीतिक दिग्गज अधिकारी जीते थे. अधिकारी ने कहा कि यदि मुझे मेरी पार्टी नंदीग्राम से चुनाव मैदान में उतारती है तो मैं उनको कम से कम 50000 वोटों के अंतर से हराऊंगा. अन्यथा मैं राजनीति छोड़ दूंगा. उन्होंने कहा कि लेकिन तृणमूल कांग्रेस जहां बनर्जी और उनके भतीजे 'तानाशाही' तरीके से चलाते हैं, वहीं भाजपा में उम्मीदवार चर्चा के बाद तय किए जाते हैं और मेरी उम्मीदवारी पर फैसला पार्टी को करना है.
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तीन किलोमीटर के रोडशो के बाद उन्होंने भाजपा कार्यकर्ताओं से कहा कि मैं नहीं जानता हूं कि मुझे कहां से टिकट दिया जाएगा. उन्होंने कहा कि बनर्जी बस चुनाव से पहले ही नंदीग्राम को याद करती हैं, क्योंकि उन पर नंदीग्राम गोलीबारी में लिप्त रहे एक आईपीएस अधिकारी को चार बार सेवा विस्तार देने का आरोप लग चुका है. भाजपा नेता ने आरोप लगाया कि बनर्जी नंदीग्राम के लोगों की भावनाओं के साथ खेल रही हैं, लेकिन इस बार यह काम नहीं करेगा और उनकी पार्टी लोकतांत्रिक ढंग से बंगाल की खाड़ी में फेंक दी जाएगी. उन्होंने दावा किया कि बनर्जी की सभा में ज्यादातर लोग बाहर से लाए गए थे.