नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली में लॉकडाउन के चलते जहां सब अपने परिवार संग अपने-अपने घरों में हैं. वहीं कुछ ऐसे लोग भी हैं जो परिवार से दूर अलग हैं. हम बात कर रहे हैं उन बुजुर्गों की जो वृद्धआश्रम में रहते हैं. ईटीवी भारत की टीम ने ऐसे ही बुजुर्गों से बातचीत की और उनसे जाना कि लॉकडाउन में वह अपना दिन कैसे व्यतीत कर रहे हैं.
ऐसे समय में जब लॉकडाउन के बावजूद लोग उसका पालन नहीं कर रहे इन बुजुर्ग जनों से हम सभी कुछ न कुछ सीख सकते हैं. हर रोज कई ऐसी खबरें आ रही हैं कि लोग लॉकडाउन का पालन नहीं कर रहे. कई लोग तो यूंही सैर पर निकल जा रहे हैं. मनाही के बावजूद धार्मिक आयोजन हो रहे हैं, सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ रहीं हैं. यह हम सभी के लिए प्रेणा का स्त्रोत बन सकते हैं.
लॉकडाउन का कर रहे पालन
अमूमन यहां के बुजुर्ग सुबह और शाम की सैर के लिए निकला करते थे. लेकिन लॉकडाउन के चलते अब यह लोग वृद्धआश्रम से बाहर नहीं निकलते और अपने कमरों में ही रहते हैं और यह सभी बुजुर्ग अपने दिन को अलग-अलग तरह से व्यतीत कर रहे है.
इसमें कोई गाना सुनकर नाचता हैं. तो कोई लिखने में मसरूफ हैं. तो कोई अखबार और दिनभर की खबरों को सुनता है. वही कई ऐसे बुजुर्ग हैं जो धार्मिक किताबों को पढ़कर अपना दिन व्यतीत कर रहे हैं.
सोशल डिस्टेंसिंग का भी रखते हैं ख्याल
यहां मौजूद सभी बुजुर्ग अपने कमरों में ही रहते हैं. लेकिन खाने-पीने के लिए डाइनिंग टेबल पर भी सोशल डिस्टेंस दिखता है. जहां यह लोग एक निश्चित दूरी बनाकर एक दूसरे के साथ बैठते हैं और कोरोना वायरस व लॉकडाउन के खत्म होने को लेकर आपस में चर्चा करते हैं.
पढ़ें-बंगाल : लॉकडाउन में सैकड़ों लोगों ने इकट्ठा होकर नमाज अदा की