ETV Bharat / bharat

नागरिकता संशोधन कानून को लेकर राज्यसभा में विपक्षी दलों का हंगामा

संसद के बजट सत्र में हंगामे का दौर जारी है. राज्यसभा में कार्यवाही शुरू होते ही आज विपक्षी दलों ने नारेबाजी शुरू कर दी. भाजपा सांसद द्वारा गांधी पर विवादित बयान और सीएए को लेकर विपक्षी नेताओं ने सवाल उठाए. हंगामे के बीच सभा की कार्यवाही बार-बार बाधित हुई.

author img

By

Published : Feb 4, 2020, 1:32 PM IST

Updated : Feb 29, 2020, 3:29 AM IST

ruckus in rajya sabha
राज्यसभा में हंगामा

नई दिल्ली : राज्यसभा में मंगलवार को संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) और राष्ट्रीय नागरिकता पंजी (एनआरसी) पर चर्चा की मांग को लेकर विपक्षी सदस्यों द्वारा किए जा रहे हंगामे के बीच ही शून्यकाल चला.

गौरतलब है कि संसद के बजट सत्र की 31 जनवरी से शुरुआत होने के बाद आज पहली बार उच्च सदन में शून्यकाल चला, वह भी हंगामे के बीच.

उच्च सदन की बैठक शुरू होने पर सभापति एम वेंकैया नायडू ने आवश्यक दस्तावेज सदन के पटल पर रखवाए. इसके बाद उन्होंने सदस्यों से शून्यकाल के तहत मुद्दे उठाने को कहा.

तृणमूल कांग्रेस सदस्य डेरेक ओ ब्रायन ने कहा कि उन्होंने एक महत्वपूर्ण मुद्दे पर चर्चा करने के लिए नियम 267 के तहत नोटिस दिया है. ब्रायन ने कहा कि सीएए को लेकर पूरा देश आंदोलित है और यह एक अत्यंत महत्वपूर्ण मुद्दा है.

राज्यसभा में हंगामा

इसी बीच, कांग्रेस तथा वाम दलों के सदस्य भी अपने स्थान पर खड़े हो कर सीएए तथा एनआरसी पर चर्चा की अनुमति दिए जाने की मांग करने लगे.

सभापति नायडू ने कहा 'मैं कल ही व्यवस्था दे चुका हैं. राष्ट्रपति अभिभ्राषण के धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान सदस्य अपने अपने मुद्दे उठा सकते हैं. अभिभाषण और धन्यवाद प्रस्ताव दोनों ही महत्वपूर्ण हैं और सदस्यों को इस पर चर्चा के दौरान अपने अपने मुद्दे उठाने का पूरा मौका मिलेगा.'

इस बीच, तृणमूल कांग्रेस के सदस्य अपनी मांग के समर्थन में नारे लगाते हुए आसन के समक्ष आ गए. कांग्रेस और वाम दलों के सदस्य अपने स्थानों से ही तृणमूल सदस्यों की मांग का समर्थन करते रहे.

सभापति ने सदस्यों से शांत रहने की अपील करते हुए कहा 'अगर सदस्य नहीं चाहते कि सदन चले तो कार्यवाही स्थगित कर दी जाएगी. लेकिन शून्यकाल के तहत कोरोना वायरस जैसे महत्वपूर्ण एवं गंभीर मुद्दे सूचीबद्ध हैं जो सदस्यों को उठाने हैं. '

संसदीय कार्य मंत्री प्रहलाद जोशी ने कहा 'हम चाहते हैं कि सदन की कार्यवाही चले और राष्ट्रपति अभिभाषण के धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा हो.'

अब तक कांग्रेस सदस्य भी आसन के समक्ष आ गए. कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस के सदस्यों की नारेबाजी के बीच ही सभापति ने शून्यकाल के तहत सूचीबद्ध मुद्दे उठाने के लिए सदस्यों के नाम पुकारे.

जिन सदस्यों नाम नायडू ने पुकारे उनमें से सदन में मौजूद सदस्यों ने अपने अपने मुद्दे उठाए. माकपा के इलामारम करीम ने कहा कि हंगामे में वह अपनी बात नहीं कह सकते और अपने मुद्दे से संबंधित ब्यौरा वह सदन के पटल पर रखते हैं. सभापति ने उन्हें इसकी अनुमति दे दी.

पढ़ें-निर्भया के दोषियों को फांसी : राज्यसभा में भिड़े आप और भाजपा सांसद, देखें वीडियो

सपा के जावेद अली का नाम पुकारे जाने पर उन्होंने कहा कि पहले सदन में व्यवस्था कायम की जाए क्योंकि हंगामे के बीच वह अपनी बात कह नहीं पाएंगे.

इस दौरान कांग्रेस तथा तृणमूल कांग्रेस के सदस्यों का आसन के समक्ष हंगामा जारी रहा. जब विपक्षी सदस्य शून्यकाल के तहत मुद्दा उठाते थे तब नारेबाजी कर रहे सदस्य चुप हो जाते थे. लेकिन सत्ताधारी राजग के सदस्यों द्वारा मुद्दा उठाए जाने पर नारेबाजी पुन: शुरू कर दी जाती थी.

सदस्यों के इस आचरण पर कृषि राज्य मंत्री पुरुषोत्तम रूपाला ने नाराजगी भी जाहिर की.

सभापति ने जब वाईएसआर कांग्रेस पार्टी के विजयसाई रेड्डी का नाम पुकारा तब रेड्डी ने कहा 'कांग्रेस के सदस्य चयनित तरीके से नारेबाजी क्यों कर रहे हैं ? इसीलिए इन्हें जनता ने सबक सिखाया है.'

नारेबाजी कर रहे सदस्यों ने कुछ देर तक तालियां बजा कर भी विरोध जताया. इस पर सभापति नायडू ने आपत्ति जताते हुए कहा 'यह राज्यसभा है. यह उच्च सदन है, बाजार नहीं है.'

गौरतलब है कि सीएए और एनआरसी पर चर्चा की मांग पर अड़े विपक्षी सदस्यों के हंगामे के कारण कल उच्च सदन में शून्यकाल और प्रश्नकाल नहीं हो पाए थे तथा तीन बार के स्थगन के बाद अपराह्न तीन बजे बैठक दिन भर के लिए स्थगित कर दी गई थी.

(एक्सट्रा इनपुट- भाषा)

नई दिल्ली : राज्यसभा में मंगलवार को संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) और राष्ट्रीय नागरिकता पंजी (एनआरसी) पर चर्चा की मांग को लेकर विपक्षी सदस्यों द्वारा किए जा रहे हंगामे के बीच ही शून्यकाल चला.

गौरतलब है कि संसद के बजट सत्र की 31 जनवरी से शुरुआत होने के बाद आज पहली बार उच्च सदन में शून्यकाल चला, वह भी हंगामे के बीच.

उच्च सदन की बैठक शुरू होने पर सभापति एम वेंकैया नायडू ने आवश्यक दस्तावेज सदन के पटल पर रखवाए. इसके बाद उन्होंने सदस्यों से शून्यकाल के तहत मुद्दे उठाने को कहा.

तृणमूल कांग्रेस सदस्य डेरेक ओ ब्रायन ने कहा कि उन्होंने एक महत्वपूर्ण मुद्दे पर चर्चा करने के लिए नियम 267 के तहत नोटिस दिया है. ब्रायन ने कहा कि सीएए को लेकर पूरा देश आंदोलित है और यह एक अत्यंत महत्वपूर्ण मुद्दा है.

राज्यसभा में हंगामा

इसी बीच, कांग्रेस तथा वाम दलों के सदस्य भी अपने स्थान पर खड़े हो कर सीएए तथा एनआरसी पर चर्चा की अनुमति दिए जाने की मांग करने लगे.

सभापति नायडू ने कहा 'मैं कल ही व्यवस्था दे चुका हैं. राष्ट्रपति अभिभ्राषण के धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान सदस्य अपने अपने मुद्दे उठा सकते हैं. अभिभाषण और धन्यवाद प्रस्ताव दोनों ही महत्वपूर्ण हैं और सदस्यों को इस पर चर्चा के दौरान अपने अपने मुद्दे उठाने का पूरा मौका मिलेगा.'

इस बीच, तृणमूल कांग्रेस के सदस्य अपनी मांग के समर्थन में नारे लगाते हुए आसन के समक्ष आ गए. कांग्रेस और वाम दलों के सदस्य अपने स्थानों से ही तृणमूल सदस्यों की मांग का समर्थन करते रहे.

सभापति ने सदस्यों से शांत रहने की अपील करते हुए कहा 'अगर सदस्य नहीं चाहते कि सदन चले तो कार्यवाही स्थगित कर दी जाएगी. लेकिन शून्यकाल के तहत कोरोना वायरस जैसे महत्वपूर्ण एवं गंभीर मुद्दे सूचीबद्ध हैं जो सदस्यों को उठाने हैं. '

संसदीय कार्य मंत्री प्रहलाद जोशी ने कहा 'हम चाहते हैं कि सदन की कार्यवाही चले और राष्ट्रपति अभिभाषण के धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा हो.'

अब तक कांग्रेस सदस्य भी आसन के समक्ष आ गए. कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस के सदस्यों की नारेबाजी के बीच ही सभापति ने शून्यकाल के तहत सूचीबद्ध मुद्दे उठाने के लिए सदस्यों के नाम पुकारे.

जिन सदस्यों नाम नायडू ने पुकारे उनमें से सदन में मौजूद सदस्यों ने अपने अपने मुद्दे उठाए. माकपा के इलामारम करीम ने कहा कि हंगामे में वह अपनी बात नहीं कह सकते और अपने मुद्दे से संबंधित ब्यौरा वह सदन के पटल पर रखते हैं. सभापति ने उन्हें इसकी अनुमति दे दी.

पढ़ें-निर्भया के दोषियों को फांसी : राज्यसभा में भिड़े आप और भाजपा सांसद, देखें वीडियो

सपा के जावेद अली का नाम पुकारे जाने पर उन्होंने कहा कि पहले सदन में व्यवस्था कायम की जाए क्योंकि हंगामे के बीच वह अपनी बात कह नहीं पाएंगे.

इस दौरान कांग्रेस तथा तृणमूल कांग्रेस के सदस्यों का आसन के समक्ष हंगामा जारी रहा. जब विपक्षी सदस्य शून्यकाल के तहत मुद्दा उठाते थे तब नारेबाजी कर रहे सदस्य चुप हो जाते थे. लेकिन सत्ताधारी राजग के सदस्यों द्वारा मुद्दा उठाए जाने पर नारेबाजी पुन: शुरू कर दी जाती थी.

सदस्यों के इस आचरण पर कृषि राज्य मंत्री पुरुषोत्तम रूपाला ने नाराजगी भी जाहिर की.

सभापति ने जब वाईएसआर कांग्रेस पार्टी के विजयसाई रेड्डी का नाम पुकारा तब रेड्डी ने कहा 'कांग्रेस के सदस्य चयनित तरीके से नारेबाजी क्यों कर रहे हैं ? इसीलिए इन्हें जनता ने सबक सिखाया है.'

नारेबाजी कर रहे सदस्यों ने कुछ देर तक तालियां बजा कर भी विरोध जताया. इस पर सभापति नायडू ने आपत्ति जताते हुए कहा 'यह राज्यसभा है. यह उच्च सदन है, बाजार नहीं है.'

गौरतलब है कि सीएए और एनआरसी पर चर्चा की मांग पर अड़े विपक्षी सदस्यों के हंगामे के कारण कल उच्च सदन में शून्यकाल और प्रश्नकाल नहीं हो पाए थे तथा तीन बार के स्थगन के बाद अपराह्न तीन बजे बैठक दिन भर के लिए स्थगित कर दी गई थी.

(एक्सट्रा इनपुट- भाषा)

Intro:Body:

नागरिकता संशोधन कानून को लेकर राज्यसभा में विपक्षी दलों का हंगामा

नई दिल्ली : संसद के बजट सत्र में हंगामे का दौर जारी है. राज्यसभा में कार्यवाही शुरू होते ही आज विपक्षी दलों ने नारेबाजी शुरू कर दी.


Conclusion:
Last Updated : Feb 29, 2020, 3:29 AM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.