पूर्व मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई जाएंगे राज्यसभा, राष्ट्रपति ने किया मनोनीत
21:56 March 16
न्यायपालिका की स्वतंत्रता के पक्षधर रहे पूर्व चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया रंजन गोगोई के कार्यकाल पर एक नजर
21:13 March 16
पूर्व मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई राज्यसभा के लिए नामित
नई दिल्ली : राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने भारत के पूर्व मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई को राज्यसभा के लिए नामित किया है. पूर्व सीजेआई रंजन गोगोई पिछले वर्ष 17 नवम्बर को सेवानिवृत्त हुए थे. अपने कार्यकाल के दौरान उन्होंने दशकों से चले आ रहे राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद विवाद पर ऐतिहासिक फैसला सुनाया था. जस्टिस गोगोई का सुप्रीम कोर्ट में मुख्य न्यायाधीश के रूप में 13 महीने का कार्यकाल रहा.
इसके अलावा उन्होंने मुख्य न्यायाधीश का कार्यालय आरटीआई के दायरे में लाने, सबरीमाला मंदिर और राफेल लड़ाकू विमान सौदा पर फैसला दिया था. अपने कार्यकाल के दौरान उन्होंने 47 फैसले दिए.
न्यायपालिका की स्वतंत्रता के पक्षधर रहे जस्टिस गोगोई ने सुप्रीम कोर्ट में करीब सात सालों तक अपनी सेवाएं दीं. इसमें बतौर मुख्य न्यायाधीश एक साल से अधिक समय का कार्यकाल भी शामिल है. बीते 17 नवम्बर को सेवानिवृत्त हुए भारत के मुख्य न्यायाधीश (CJI) रंजन गोगोई ने 15 नवम्बर को आखिरी बार सुप्रीम कोर्ट में बेंच की अध्यक्षता की. करीब 13 महीनों तक चीफ जस्टिस रहे गोगोई ने रिटायरमेंट से पहले कई अहम फैसले सुनाये.
बता दें कि राज्यसभा में 12 सदस्य राष्ट्रपति की ओर से मनोनीत किए जाते हैं. ये सदस्य अलग-अलग क्षेत्रों की जानी मानी हस्तियां होती हैं.
CBI पर सीजेआई रंजन गोगोई की गंभीर टिप्पणी, देखें वीडियो
इससे पहले सुप्रीम कोर्ट के पूर्व मुख्य न्यायाधीश रहे रंगनाथ मिश्रा भी राज्यसभा के सदस्य रह चुके हैं. जस्टिस रंगनाथ मिश्रा सितंबर 1990 से नवम्बर 1991 तक देश के मुख्य न्यायाधीश रह चुके थे. उन्हें कांग्रेस ने 1998 में ओडिशा से राज्यसभा के लिए चुना था.
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न्यायपालिका की स्वतंत्रता के पक्षधर रहे पूर्व चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया रंजन गोगोई के कार्यकाल पर एक नजर
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पूर्व मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई राज्यसभा के लिए नामित
नई दिल्ली : राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने भारत के पूर्व मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई को राज्यसभा के लिए नामित किया है. पूर्व सीजेआई रंजन गोगोई पिछले वर्ष 17 नवम्बर को सेवानिवृत्त हुए थे. अपने कार्यकाल के दौरान उन्होंने दशकों से चले आ रहे राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद विवाद पर ऐतिहासिक फैसला सुनाया था. जस्टिस गोगोई का सुप्रीम कोर्ट में मुख्य न्यायाधीश के रूप में 13 महीने का कार्यकाल रहा.
इसके अलावा उन्होंने मुख्य न्यायाधीश का कार्यालय आरटीआई के दायरे में लाने, सबरीमाला मंदिर और राफेल लड़ाकू विमान सौदा पर फैसला दिया था. अपने कार्यकाल के दौरान उन्होंने 47 फैसले दिए.
न्यायपालिका की स्वतंत्रता के पक्षधर रहे जस्टिस गोगोई ने सुप्रीम कोर्ट में करीब सात सालों तक अपनी सेवाएं दीं. इसमें बतौर मुख्य न्यायाधीश एक साल से अधिक समय का कार्यकाल भी शामिल है. बीते 17 नवम्बर को सेवानिवृत्त हुए भारत के मुख्य न्यायाधीश (CJI) रंजन गोगोई ने 15 नवम्बर को आखिरी बार सुप्रीम कोर्ट में बेंच की अध्यक्षता की. करीब 13 महीनों तक चीफ जस्टिस रहे गोगोई ने रिटायरमेंट से पहले कई अहम फैसले सुनाये.
बता दें कि राज्यसभा में 12 सदस्य राष्ट्रपति की ओर से मनोनीत किए जाते हैं. ये सदस्य अलग-अलग क्षेत्रों की जानी मानी हस्तियां होती हैं.
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इससे पहले सुप्रीम कोर्ट के पूर्व मुख्य न्यायाधीश रहे रंगनाथ मिश्रा भी राज्यसभा के सदस्य रह चुके हैं. जस्टिस रंगनाथ मिश्रा सितंबर 1990 से नवम्बर 1991 तक देश के मुख्य न्यायाधीश रह चुके थे. उन्हें कांग्रेस ने 1998 में ओडिशा से राज्यसभा के लिए चुना था.