नई दिल्ली : कोरोना का असर यूं तो दुनियाभर में लगभग हर अगली चीज पर पड़ा, लेकिन इस महामारी के चलते कुछ चीजों का भविष्य और वर्तमान हमेशा के लिए बदल गया. इसी में आती है दिल्ली और आसपास के इलाकों में चलने वाली वो अनरिजर्व्ड पैसेंजर रेलगाड़ियां. इन पर हजारों की संख्या में दैनिक यात्री आश्रित रहते थे. इन गाड़ियों को लेकर दिल्ली और आसपास के इलाकों में रहने वाले लोगों को अब भी आस है, लेकिन उत्तर रेलवे के जनरल मैनेजर ने साफ किया है कि मौजूदा समय में इन गाड़ियों को नहीं चलाया जाएगा. हालांकि, इसे लेकर रेलवे संबंधित विभागों से लगातार संपर्क में भी है.
ईटीवी भारत से खास बातचीत में उत्तर रेलवे के जनरल मैनेजर आशुतोष गंगाल ने कहा
ये पब्लिक हेल्थ इश्यू है. कोई भी फैसला संबंधित विभागों से चर्चा कर ही लिया जाता है. मौजूदा समय में रेलवे रिजर्व्ड गाड़ियां ही चला रही है और इनकी संख्या में बढ़ोतरी भी हो रही है. अन्य पैसेंजर गाड़ियों को लेकर संबंधित राज्य सरकारों और अन्य अथॉरिटी से लगातार बातचीत चल रही है. ये बात ठीक है कि अभी ये गाड़ियां नहीं चला पाएंगे.
दिल्ली से 200 रेलगाड़ियों का होता था परिचालन
एक अनुमान के मुताबिक, दिल्ली इलाके से आसपास के 100 किलोमीटर तक के दायरे के लिए लगभग 200 रेलगाड़ियों का परिचालन होता था. इसमें डेमू, मेमू और ईएमयू गाड़ियां चलतीं थीं. चूंकि ये यात्रा निश्चित, समयबद्ध और सस्ती होती थीं, इसलिए आसपास के इलाकों में रहने वाले लोग इन रेलगाड़ियों से आना-जाना पसंद करते थे. हालांकि, कोरोना ने सब बदल दिया.
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मौजूदा समय में जहां रेलवे मेल एक्सप्रेस गाड़ियों का परिचालन कर रही है, वहीं पैसेंजर गाड़ियों को लेकर अर्जी लगातार आ रही है. सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, उत्तर रेलवे के अधिकारियों ने इन गाड़ियों को चलाने के लिए खाका तैयार किया है लेकिन इन्हें चलाने को लेकर फैसला तय नहीं है.