हैदराबाद : केंद्र सरकार ने देशभर में सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को कहा कि वे अपने यहां कोविड-19 के टीका अभियान को प्रभावी तरीके से चलाने के लिए कमर कस लें. केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने 31 दिसंबर को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कोविड-19 टीकाकरण के लिए बनाए गए सत्र स्थलों की तैयारियों की समीक्षा एक उच्च स्तरीय बैठक की. बैठक में भूषण के साथ स्वास्थ्य मंत्रालय के प्रमुख सचिव, एनएचएम एमडी और राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों के अन्य स्वास्थ्य प्रशासनिक अधिकारी ऑनलाइन जुड़े थे.
कोविड-19 टीकाकरण का ड्राई रन 2 जनवरी 2021 (शनिवार) से सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों की सरकारों द्वारा किया जाएगा. इस गतिविधि को कम से कम 3 सत्र स्थलों में सभी राज्य की राजधानियों में आयोजित करने का प्रस्ताव है. कुछ राज्यों में ऐसे जिले भी शामिल होंगे जो कठिन भू-भाग में स्थित हैं या जिनके पास संसाधनों की कमी है. महाराष्ट्र और केरल राज्यों का अपनी राजधानी के अलावा अन्य प्रमुख शहरों में इस अभ्यास सत्र को चलाने का कार्यक्रम है.
वैक्सीन ड्राई रन क्या है?
ड्राई रन या अभ्यास एक परीक्षण प्रक्रिया है जहां संभावित विफलता के प्रभाव को मापा जाता है. इस प्रक्रिया में सभी घटकों को शामिल किया जाता है. यह वैक्सीन के वास्तविक वितरण से पहले किया जाता है, जिससे अभियान के दौरान आने वाली व्यवहारिक समस्याओं का सामाधान किया जा सके.
आइये इन केंद्रों की सूची पर नजर डालते है:-
राज्य | जिला | केंद्र |
असम | सोनितपुर और नलवारी | |
बिहार | पटना, जमूई और बेतिया |
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छत्तीसगढ़ | रायपुर, सरगुजा, दुर्ग, बिलासपुर, राजनांदगांव, बस्तर और गोरेला पेंड्रा मरावी |
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गुजरात | अणाद, भावनगर, दाहोद और वलसाड |
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हरियाणा | पंचकुला |
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हिमाचल प्रदेश | शिमला |
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झारखण्ड | रांची, चतरा, पूर्वी सिंहभूम, पलामू, पाकुड़ और सिमडेगा |
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कर्नाटक | बेंगलुरु शहर, काराबुरागी, शिवमोग्गा, बेलगावी और मैसूर |
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केरल | त्रिवेंद्रम, इडुक्की, पल्लकड़ और वायनाड |
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मध्य प्रदेश | भोपाल |
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महाराष्ट्र | पुणे, नागपुर, जालना और नंदुरबार |
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ओडिशा | भुवनेश्वर और 30 जिला मुख्यालय अस्पताल |
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पंजाब | लुधियाना |
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राजस्थान | जयपुर, भीलवाड़ा, करौली, अजमेर, बांसवाड़ा, जोधपुर और बीकानेर |
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तेलंगाना | हैदराबाद और महबूबनगर |
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उत्तर प्रदेश | लखनऊ |
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पश्चिम बंगाल | कोलकाता और उत्तर 24 परगना |
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महामारी से बचाव के इस टीकाकरण अभियान का मकसद उस क्षेत्र विशेष की परिस्थितियों में टीकाकरण करने संबधी चुनौतियों से अवगत होना है. साथ ही इसके लिए बनी रणनीति को अमली जामा पहनाने में आ रही दिक्कतों का भी निवारण करना है. टीकाकरण अभियान के दौरान आने वाली व्यवहारिक दिक्कतों के आधार पर आगे की रणनीति तय करने में ये ड्राई रन काफी मददगार साबित होगा और इसके संचालन में विभिन्न स्तरों पर जुटे लोगों का भी आत्मविश्वास बढ़ेगा.
केंद्र शासित प्रदेश | केंद्र |
चंडीगढ़ |
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जम्मू संभाग |
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ड्राई रन का उद्देश्य
इस टीकाकरण अभियान की पूरी योजना स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा 20 दिसंबर 2020 को जारी दिशा-निर्देशों के अनुसार होगी. प्रत्येक तीन सत्र स्थलों के लिए संबंधित चिकित्सा अधिकारी प्रभारी 25 परीक्षण लाभार्थियों (हेल्थकेयर वर्कर्स) की पहचान करेंगे. राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों को यह सुनिश्चित करने के लिए कहा गया है कि इन लाभार्थियों का डेटा को-विन (CO-WIN) में अपलोड किया जाए.
ये लाभार्थी ड्राई रन के लिए सत्र स्थल पर भी उपलब्ध होंगे. राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों के हेल्थ केयर वर्कर (एचसीडब्ल्यू) लाभार्थियों के डेटा को अपलोड करने सहित को-विन एप्लीकेशन पर दी जाने वाली सुविधाओं और यूजर्स आईडी तैयार करेंगे. साथ ही राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों को प्रस्तावित सत्र स्थलों में जगह की पर्याप्तता, संसाधनों की व्यवस्था, इंटरनेट कनेक्टिविटी, बिजली, सुरक्षा आदि सुनिश्चित करने के लिए कहा गया है. हर राज्य में कम से कम तीन सत्र स्थल तैयार करने के निर्देश दिए गए हैं.
यहां यह सुनिश्चित करें कि मॉडल साइट्स में जागरूकता सृजन गतिविधियों के लिए पर्याप्त स्थान के साथ 'तीन-कमरे के सेट-अप' में अलग से प्रवेश और निकास है, इन साइटों पर सभी आईईसी सामग्री प्रदर्शित करें, यह सुनिश्चित करें कि सभी जरूरी निर्देश और प्रोटोकॉल का पालन यहां हो रहा है, साथ ही टीकाकरण टीमों को सभी पहलुओं में पहचाना और प्रशिक्षित किया जाना है. ड्राई रन को कोल्ड चेन प्रबंधन सहित वैक्सीन सप्लाई, स्टोरेज और लॉजिस्टिक्स के प्रबंधन में राज्य और केन्द्र शासित प्रदेश के प्रशासन से भी लैस किया जाएगा.
करीब एक लाख लोगों को किया गया प्रशिक्षित
जैसा कि ये विदित है कि टीकाकरण अभियान चलाने वाले लोग इस प्रक्रिया में एक अहम भूमिका अदा करेंगे क्योंकि उन्हें प्रशिक्षण देना है और आगे लोगों को टीका लगाने के लिए तैयार करना है. इनकी विभिन्न राज्यों में महत्वपूर्ण भूमिका होगी. इस उद्देश्य के लिए लगभग 96,000 टीका लगाने वालों को प्रशिक्षित किया गया है. प्रशिक्षकों के राष्ट्रीय प्रशिक्षण में 2,360 प्रतिभागियों को प्रशिक्षित किया गया है और 719 जिलों में जिला स्तर के प्रशिक्षण में 57,000 से अधिक प्रतिभागियों को प्रशिक्षित किया गया है.
राज्य किसी भी वैक्सीन/सॉफ्टवेयर से संबंधित प्रश्न के लिए राज्य हेल्पलाइन 104 का उपयोग (जिसका उपयोग 1075 के अतिरिक्त किया जाएगा) कर रहे हैं. कॉल सेंटर के अधिकारियों को इसके बारे में प्रशिक्षित करने और क्षमता निर्माण सभी राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों में हुआ है. राज्यों को स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा जारी किए गए अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्नों का उपयोग करने के लिए प्रोत्साहित किया गया ताकि ऐसे सभी प्रश्नों के जवाब दिए जा सके.
टीकाकरण के बाद किसी भी संभावित प्रतिकूल घटनाओं के प्रबंधन के लिए ड्राई रन पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा. इसके अलावा, बीमारी को फैलने से रोकने के लिए सत्र स्थल पर संक्रमण नियंत्रण निर्देशों का पालन और प्रबंधन भी किया जा रहा है. मॉक ड्रिल में ब्लॉक और जिला स्तरों पर समवर्ती निगरानी, समीक्षा और प्रतिक्रिया तैयार करना भी शामिल होगा. स्टेट टास्क फोर्स केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के साथ प्रतिक्रियाओं की समीक्षा करेगी.
चार राज्यों में हो चुका है ड्राई रन
ड्राई रन का पहला दौर आंध्र प्रदेश, असम, गुजरात, पंजाब में 28-29 दिसंबर 2020 को दो जिलों में आयोजित किया गया था, जहां प्रत्येक 25 लाभार्थियों वाले पांच सत्र स्थलों की पहचान की गई थी. इस ड्राई रन के क्रियान्वयन में कोई बड़ी समस्या सामने नहीं आई थी. सभी राज्यों ने बड़े पैमाने पर कार्यक्रम कार्यान्वयन के लिए परिचालन संबंधी दिशा-निर्देशों और आईटी प्लेटफॉर्म पर विश्वास व्यक्त किया है.