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आईआईटी दिल्ली ने बनाया 'एंटी माइक्रोबियल' मास्क, कई बार कर सकते हैं उपयोग - nano safe solutions private limited

आईआईटी दिल्ली स्टार्टअप 'नैनोसेफ सॉल्यूशन' ने एंटी माइक्रोबियल मास्क लॉन्च किया है, जिसमें तीन माइक्रोन्स फिल्टरट्रेशन का इस्तेमाल किया गया है. इसकी खास बात ये है कि यह 50 बार की धुलाई के बाद भी इस्तेमाल किया जा सकेगा.

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आईआईटी दिल्ली ने बनाया मास्क
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Published : May 7, 2020, 7:36 PM IST

नई दिल्ली : कोरोना संक्रमण से बचने के लिए आम लोगों का मास्क पहनना तो जरूरी है ही, साथ ही इसकी सबसे ज्यादा जरूरत उन डॉक्टरों और मेडिकल स्टाफ को है जो कोरोना के मरीजों का इलाज कर रहे हैं. आम तौर पर इस्तेमाल होने वाले मास्क को एक बार से ज्यादा इस्तेमाल नहीं किया जा सकता है.

इसको देखते हुए आईआईटी दिल्ली की छात्राओं ने ऐसा मास्क बनाया है, जिसे बार-बार इस्तेमाल किया जा सकता है. आईआईटी दिल्ली स्टार्टअप 'नैनोसेफ सॉल्यूशन' ने एंटी माइक्रोबियल मास्क लॉन्च किया है, जिसमें 3 माइक्रोन्स फिल्टरट्रेशन का इस्तेमाल किया गया है. साथ ही यह 50 बार की धुलाई के बाद भी इस्तेमाल किया जा सकेगा.

ईटीवी भारत की रिपोर्ट...

थ्री लेयर का है मास्क

वहीं इस मास्क के बारे में बताते हुए आईआईटी दिल्ली की पूर्व छात्रा और नैनो सेफ सॉल्यूशंस प्राइवेट लिमिटेड की सीईओ डॉ. अनुसूया रॉय ने बताया कि एनसेफ मास्क तीन परतों वाला मास्क है, जिसमें आंतरिक हाइड्रोफिलिक परत है सुविधा के लिए, दूसरी परत एंटी माइक्रोबियल गतिविधियों के लिए और बाहरी परत वाटर ऑइल रिपेलेंट की पद्धति के अनुसार कार्य करता है.

यह पहला ऐसा फैब्रिक बेस्ट एंटीमाइक्रोबियल्स फेस मास्क है, जिसे कई धुलाई के बाद भी इस्तेमाल किया जा सकता है और जिसमें बैक्टीरियल फिल्ट्रेशन क्षमता एएसटीएम मानकों के आधार पर है.

साथ ही इसे इस तरह बनाया गया है कि इसे पहनने वाले को किसी तरह की असुविधा ना हो और वह आसानी से सांस ले सके.साथ ही उन्होंने बताया कि यह मास्क पहनने वाले के चेहरे पर पूरी तरह से फिट हो जाता है, जिससे किसी वायरस का सांस में प्रवेश होने का खतरा नहीं रहता. साथ ही यह ऐसे फैब्रिक से बनाया गया है जिससे सांस लेने में कोई तकलीफ न हो.

50 बार धोकर कर सकते इस्तेमाल

वहीं डॉ. अनुसूया ने कहा कि इस मास्क को लगभग 50 बार तक धोकर के इस्तेमाल किया जा सकता है. उन्होंने बताया कि सिंगल यूज मास्क बार-बार खरीदना पड़ता है जो कि महंगा पड़ता है और सबसे ज्यादा समस्या इसके डिस्पोजल की होती है. लेकिन इस एनसेफ मास्क से ये समस्या काफी हद तक हल हो जाएगी. उन्होंने बताया कि एनसेफ मास्क को पैकिंग से पहले ड्राई क्लीन किया जाता है और फिर पूरी सफाई के साथ पैक किया जाता है.

उन्होंने बताया कि इस मास्क के इस्तेमाल के बाद इसे ठंडे पानी से धोकर धूप में सुखाना चाहिए और 50 बार इस्तेमाल के बाद इस मास्क को किसी पॉलिथीन बैग में रख कर फेंक देना चाहिए.एन सेफ मास्क की कीमत भी आम मास्क के मुकाबले ज्यादा नहीं रखी गई. डॉ. अनुसूया ने बताया कि 2 मास्क के पैकेट की कीमत मार्केट में 299 रुपए रखी गयी है जबकि 4 मास्क के पैकेट की कीमत 589 रुपए निर्धारित की गई है.

नई दिल्ली : कोरोना संक्रमण से बचने के लिए आम लोगों का मास्क पहनना तो जरूरी है ही, साथ ही इसकी सबसे ज्यादा जरूरत उन डॉक्टरों और मेडिकल स्टाफ को है जो कोरोना के मरीजों का इलाज कर रहे हैं. आम तौर पर इस्तेमाल होने वाले मास्क को एक बार से ज्यादा इस्तेमाल नहीं किया जा सकता है.

इसको देखते हुए आईआईटी दिल्ली की छात्राओं ने ऐसा मास्क बनाया है, जिसे बार-बार इस्तेमाल किया जा सकता है. आईआईटी दिल्ली स्टार्टअप 'नैनोसेफ सॉल्यूशन' ने एंटी माइक्रोबियल मास्क लॉन्च किया है, जिसमें 3 माइक्रोन्स फिल्टरट्रेशन का इस्तेमाल किया गया है. साथ ही यह 50 बार की धुलाई के बाद भी इस्तेमाल किया जा सकेगा.

ईटीवी भारत की रिपोर्ट...

थ्री लेयर का है मास्क

वहीं इस मास्क के बारे में बताते हुए आईआईटी दिल्ली की पूर्व छात्रा और नैनो सेफ सॉल्यूशंस प्राइवेट लिमिटेड की सीईओ डॉ. अनुसूया रॉय ने बताया कि एनसेफ मास्क तीन परतों वाला मास्क है, जिसमें आंतरिक हाइड्रोफिलिक परत है सुविधा के लिए, दूसरी परत एंटी माइक्रोबियल गतिविधियों के लिए और बाहरी परत वाटर ऑइल रिपेलेंट की पद्धति के अनुसार कार्य करता है.

यह पहला ऐसा फैब्रिक बेस्ट एंटीमाइक्रोबियल्स फेस मास्क है, जिसे कई धुलाई के बाद भी इस्तेमाल किया जा सकता है और जिसमें बैक्टीरियल फिल्ट्रेशन क्षमता एएसटीएम मानकों के आधार पर है.

साथ ही इसे इस तरह बनाया गया है कि इसे पहनने वाले को किसी तरह की असुविधा ना हो और वह आसानी से सांस ले सके.साथ ही उन्होंने बताया कि यह मास्क पहनने वाले के चेहरे पर पूरी तरह से फिट हो जाता है, जिससे किसी वायरस का सांस में प्रवेश होने का खतरा नहीं रहता. साथ ही यह ऐसे फैब्रिक से बनाया गया है जिससे सांस लेने में कोई तकलीफ न हो.

50 बार धोकर कर सकते इस्तेमाल

वहीं डॉ. अनुसूया ने कहा कि इस मास्क को लगभग 50 बार तक धोकर के इस्तेमाल किया जा सकता है. उन्होंने बताया कि सिंगल यूज मास्क बार-बार खरीदना पड़ता है जो कि महंगा पड़ता है और सबसे ज्यादा समस्या इसके डिस्पोजल की होती है. लेकिन इस एनसेफ मास्क से ये समस्या काफी हद तक हल हो जाएगी. उन्होंने बताया कि एनसेफ मास्क को पैकिंग से पहले ड्राई क्लीन किया जाता है और फिर पूरी सफाई के साथ पैक किया जाता है.

उन्होंने बताया कि इस मास्क के इस्तेमाल के बाद इसे ठंडे पानी से धोकर धूप में सुखाना चाहिए और 50 बार इस्तेमाल के बाद इस मास्क को किसी पॉलिथीन बैग में रख कर फेंक देना चाहिए.एन सेफ मास्क की कीमत भी आम मास्क के मुकाबले ज्यादा नहीं रखी गई. डॉ. अनुसूया ने बताया कि 2 मास्क के पैकेट की कीमत मार्केट में 299 रुपए रखी गयी है जबकि 4 मास्क के पैकेट की कीमत 589 रुपए निर्धारित की गई है.

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