हैदराबाद : मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर राव (केसीआर) ने राज्य सड़क परिवहन निगम (टीएसआरटीसी) को कर्मचारियों को कहा कि वह हड़ताल छोड़कर पांच नवबंर तक ड्यूटी पर वापस आ जाएं. मुख्यमंत्री ने यह समय सीमा शनिवार, यानि दो नवबंर को तय की. साथ ही उन्होंने कहा कि यदि निर्धारित समय पर कर्मचारी काम पर वापस नहीं आते हैं तो अन्य मार्गों को भी निजी संचालकों को सौंप दिया जाएगा.
मुख्यमंत्री ने कहा कि कैबिनेट ने निर्णय लिया है कि 10,400 मार्गों पर 5,100 मार्ग पर निजी परिवहन चलेंगे. इसके साथ ही उन्होंने चेतावनी दी कि यदि कर्माचारी पांच नवंबर तक हड़ताल बंद वापस ड्यूटी पर नहीं आते हैं तो अन्य मार्गों को निजी संचालकों सौंप दिया जाएगा.
मुख्यमंत्री ने स्पष्ट करते हुए कहा कि उन्ही मार्गों को निजी संचालकों को दिया जाएगा, जिन मार्गों पर परिवहन विभाग घाटे में चल रहा है. केंद्र को राज्य सरकार ने उन मार्गों के आवंटन के बारे में सूचित कर दिया है. जो उनके नए दिशा निर्देशों में निर्धारित किए गए थे.
केसीआर ने कहा, 'मैं टीएसआरटीसी कर्माचारियों से अपने परिवार के कल्याण को ध्यान में रखते हुए इस मौके को लेने के लिए आग्रह करता हूं. हड़ताल पर बैठे कर्मचारियों को मैं एक और मौका देना चाहता हूं.'
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उन्होंने आगे कहा कि यदि कर्माचरी तीन दिन या पांच नवंबर की आधी रात तक वापस ड्यूटी पर नहीं आते हैं तो अन्य मार्गों को भी निजी हाथों में सौंप दिया जाएगा. निजी संचालकों को विनियमित करने के लिए एक परिवहन आयोग होगा ताकि यात्रियों को वापस न लौटाया जाए.
मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि कैबिनेट ने कर्मचारियों की एक प्रमुख मांग को मान लिया है कि सरकार के साथ आरटीसी का विलय नहीं नहीं किया जाएगा.
उन्होंने आरोप लगाया है कि राज्य परिवहन कर्मचारियों उकसाने में विपक्षी पार्टियों के नेताओं का हाथ है.
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तेलंगाना बस निगम के कर्मचारी और यूनियन ने पांच अक्टूबर से राज्य में अनिश्चितकाल के लिए हड़ताल पर हैं. हड़ताल पर बैठे कर्मचारियों की मांग है कि सरकार से आरटीसी का विलय न करे और विभिन्न पदों पर भर्ती कराने की मांग भी की गई.