नई दिल्ली : पूर्व कांग्रेस प्रमुख राहुल गांधी (Former Congress chief Rahul Gandhi) ने मंगलवार को तेलंगाना के नेताओं से मतभेद भुलाकर आगामी चुनाव एकजुट होकर लड़ने और राज्य सरकार के खिलाफ खड़े होने को कहा. राहुल ने पार्टी प्रमुख मल्लिकार्जुन खड़गे के साथ एआईसीसी और राज्य कांग्रेस टीमों की तैयारी की समीक्षा की.
तेलंगाना के एआईसीसी प्रभारी माणिकराव ठाकरे ने ईटीवी भारत को बताया, 'राहुल गांधी ने राज्य के सभी नेताओं को धैर्यपूर्वक सुना. उन्होंने उनसे अपने मतभेद दूर करने, एकजुट होकर चुनाव लड़ने और राज्य सरकार के खिलाफ खड़े होने को कहा. राज्य के नेताओं के बीच छोटे-मोटे मतभेद हो सकते हैं, लेकिन राहुल गांधी चाहते हैं कि सत्तारूढ़ बीआरएस को हराने के लिए सभी एक साथ आएं.'
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आज दिल्ली में कांग्रेस अध्यक्ष श्री @kharge, पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष श्री @RahulGandhi और कांग्रेस महासचिव (संगठन) श्री @kcvenugopalmp ने आगामी चुनाव को लेकर तेलंगाना के नेताओं के साथ चर्चा की है।
— Congress (@INCIndia) June 27, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
हम लोगों से सभी ने तेलंगाना की वास्तविक समस्याओं पर फोकस करने के लिए कहा है और इसे… pic.twitter.com/KUYX1xG5gI
">आज दिल्ली में कांग्रेस अध्यक्ष श्री @kharge, पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष श्री @RahulGandhi और कांग्रेस महासचिव (संगठन) श्री @kcvenugopalmp ने आगामी चुनाव को लेकर तेलंगाना के नेताओं के साथ चर्चा की है।
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हम लोगों से सभी ने तेलंगाना की वास्तविक समस्याओं पर फोकस करने के लिए कहा है और इसे… pic.twitter.com/KUYX1xG5gIआज दिल्ली में कांग्रेस अध्यक्ष श्री @kharge, पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष श्री @RahulGandhi और कांग्रेस महासचिव (संगठन) श्री @kcvenugopalmp ने आगामी चुनाव को लेकर तेलंगाना के नेताओं के साथ चर्चा की है।
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ये टिप्पणियां महत्वपूर्ण हैं क्योंकि राहुल ने इस साल जनवरी में राज्य के नेताओं के बीच अंदरूनी कलह के बाद पूर्व प्रभारी मनिकम टैगोर को हटाने के बाद ठाकरे को राज्य के प्रभारी के रूप में तैनात किया था.
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कांग्रेस सरकार ने जनता की आवाज सुनकर तेलंगाना को अलग राज्य का दर्जा दिया था।
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गरीबी से जूझ रहे SC, ST, OBC, अल्पसंख्यक वर्ग की मदद के लिए अलग प्रदेश बना था लेकिन 10 साल बाद भी प्रदेश की स्थिति में कोई परिवर्तन नहीं हुआ।
KCR सरकार में जिस तरह की लूट जारी है, उसे देखकर तेलंगाना की… pic.twitter.com/C5HyquaOW8
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गरीबी से जूझ रहे SC, ST, OBC, अल्पसंख्यक वर्ग की मदद के लिए अलग प्रदेश बना था लेकिन 10 साल बाद भी प्रदेश की स्थिति में कोई परिवर्तन नहीं हुआ।
KCR सरकार में जिस तरह की लूट जारी है, उसे देखकर तेलंगाना की… pic.twitter.com/C5HyquaOW8कांग्रेस सरकार ने जनता की आवाज सुनकर तेलंगाना को अलग राज्य का दर्जा दिया था।
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गरीबी से जूझ रहे SC, ST, OBC, अल्पसंख्यक वर्ग की मदद के लिए अलग प्रदेश बना था लेकिन 10 साल बाद भी प्रदेश की स्थिति में कोई परिवर्तन नहीं हुआ।
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यही वजह है कि ठाकरे अब तक राज्य इकाई के प्रमुख रेवंत रेड्डी और सीएलपी नेता भट्टी विक्रमार्क दोनों को समर्थन जुटाने और ताकत दिखाने के लिए तेलंगाना भर में अलग-अलग पदयात्रा करने की अनुमति देकर सभी को एकजुट रखने में सक्षम रहे हैं.
तेलंगाना में इस साल के अंत में 119 विधानसभा सीटों के लिए चुनाव होंगे. केंद्र में कांग्रेस के नेतृत्व वाली यूपीए सरकार ने 2013 में आंध्र प्रदेश से अलग होकर नया राज्य बनाया था, लेकिन मुख्यमंत्री के.चंद्रशेखर राव के नेतृत्व वाली बीआरएस, (पूर्व टीआरएस) तब से सत्ता में है.
कांग्रेस को राज्य सरकार के लिए भारी सत्ता विरोधी लहर का एहसास हो रहा है और वह बीआरएस से सत्ता छीनने की पुरजोर कोशिश कर रही है. इसके मुताबिक राहुल ने प्रदेश टीम को 80 सीटें जीतने का लक्ष्य दिया है.
राहुल की चुनावी तैयारियों की समीक्षा उनकी उपस्थिति में 35 वरिष्ठ बीआरएस नेताओं के कांग्रेस में शामिल होने के एक दिन बाद आई. ठाकरे ने दावा किया कि और भी नेता पाइपलाइन में हैं और कांग्रेस वापसी की राह पर है.
ठाकरे ने कहा कि 'ज़मीनी हालात बदल गए हैं. बीआरएस ने लोगों से किए गए वादे पूरे नहीं किए हैं.' ठाकरे ने कहा कि राहुल गांधी ने हमें राज्य सरकार के खिलाफ जाने और मतदाताओं के सामने उसकी विफलताओं को उजागर करने के लिए कहा.'
उन्होंने कहा कि 'राहुल गांधी ने कहा कि बीआरएस द्वारा चुनावी वादों को पूरा न करने के कारण मतदाताओं में भारी गुस्सा है और कांग्रेस को इस भावना को अपने पक्ष में करने की कोशिश करनी चाहिए.'
ठाकरे के मुताबिक, पूर्व कांग्रेस प्रमुख सोनिया गांधी ने लोगों की आवाज सुनकर राज्य का निर्माण किया था, लेकिन 10 साल बाद भी लोगों की स्थिति में कोई बदलाव नहीं आया है.
ठाकरे ने कहा कि 'सारा लाभ केवल बीआरएस शासक परिवार को मिला है. मतदाताओं को परेशानी हो रही है. वे बदलाव चाहते हैं. राहुल गांधी ने पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं से कहा है कि वे एक साथ रहें और हर घर में जाएं और उन्हें उन वादों के बारे में बताएं जो हम कर रहे हैं. मतदाता कांग्रेस की ओर देख रहे हैं.'
उन्होंने कहा कि 'हमें महिलाओं, अल्पसंख्यकों, किसानों, युवाओं और ओबीसी के लिए कार्यक्रमों को अंतिम रूप देने के लिए कहा गया है.'
दिलचस्प बात यह है कि राहुल ने तेलंगाना की समीक्षा उस दिन की जब मुख्यमंत्री के.चंद्रशेखर राव वरिष्ठ बीआरएस नेताओं के साथ पश्चिमी राज्य में पैठ बनाने के लिए महाराष्ट्र में एक धार्मिक कार्यक्रम में शामिल हुए.
ठाकरे ने कहा कि 'मुख्यमंत्री केसीआर कांग्रेस को कमजोर करने और जहां भी संभव हो सके भाजपा की मदद करने के लिए देश भर में ऐसे कार्यक्रम चला रहे हैं. महाराष्ट्र में भी जहां-जहां कांग्रेस मजबूत है, वहां-वहां वह बीजेपी की मदद करने की कोशिश कर रहे हैं.'