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अमरनाथ यात्रा-2022 का पहला जत्था जम्मू से रवाना, भक्तों में उत्साह

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Published : Jun 29, 2022, 6:31 PM IST

वार्षिक अमरनाथ यात्रा को उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने बुधवार को जम्मू से हरी झंडी दिखाकर रवाना किया. जम्मू कश्मीर प्रशासन ने 43 दिनों की यात्रा के लिए सुरक्षा के विशेष इंतजाम किए हैं.

अमरनाथ यात्रा-2022
अमरनाथ यात्रा-2022

पहलगाम : जम्मू-कश्मीर में अमरनाथ यात्रा के तीर्थयात्रियों का पहला जत्था बुधवार को रवाना हुआ. उपराज्यपाल (एलजी) मनोज सिन्हा ने जम्मू आधार शिविर से तीर्थयात्रियों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया. उत्तर कश्मीर बालटाल आधार शिविर के लिए रवाना हुए 717 तीर्थयात्रियों समेत जत्थे को उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने सुबह करीब साढ़े पांच बजे भगवती नगर आधार शिविर से रवाना किया. कोरोना के खतरे को देखते हुए जम्मू कश्मीर प्रशासन ने श्री अमरनाथ श्राइन बोर्ड से बातचीत करने के बाद 2020 और 2021 की यात्रा स्थगित कर दी थी. अमरनाथ के रास्ते में श्रद्धालुओं को किसी तरह की कोई दिक्कत न हो प्रशासन की तरफ से इसे सुनिश्चित किया गया है.

अमरनाथ यात्रा 30 जून से शुरू हो रही है और यह 11 अगस्त को रक्षा बंधन त्योहार के अवसर पर श्रावण पूर्णिमा पर समाप्त होगी. अमरनाथ यात्रा के लिए दो रास्तों पहलगाम और बालटाल रास्तों का इस्तेमाल होता है. इस साल करीब 800,000 श्रद्धालु अमरनाथ गुफा में शिवलिंग के दर्शन करेंगे, जिसके लिए कड़ी सुरक्षा समेत तमाम इंतजाम किए गए हैं. पहलगाम के नुनवान बेस कैंप में ईटीवी भारत के संवाददाता से बात करते हुए, तीर्थयात्रियों ने कहा कि वे पिछले दो वर्षों से बेसब्री से इस यात्रा के दोबारा शुरू होने का इंतजार कर रहे थे.

अमरनाथ यात्रा-2022 का पहला जत्था जम्मू से रवाना, भक्तों में उत्साह

तीर्थयात्रियों ने कहा कि उन्हें यहां आकर बहुत खुशी हो रही है. तीर्थयात्रियों की सभी सुविधाओं का अच्छी तरह से ध्यान रखा गया है, जिसके के लिए सरकार और श्राइन बोर्ड को धन्यवाद. तीर्थयात्री आगे कहते हैं कि दर्शन करने के बाद वे कश्मीर की सुंदरता का आनंद उठाएंगे. यहां आने के बाद कश्मीर वाकई में जन्नत लग रहा है.

उल्लेखनीय है कि तीर्थयात्री एक काफिले में सुरक्षा बलों के साथ घाटी के लिए रवाना हुए. यात्रा के उत्तरी कश्मीर बालटाल और दक्षिण कश्मीर पहलगाम दोनों रास्तों पर सेना, केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (सीएपीएफ) और स्थानीय पुलिस के सुरक्षा बल तैनात हैं. पहली बार, अधिकारियों ने प्रत्येक तीर्थयात्री को रेडियो फ्रीक्वेंसी आइडेंटिफिकेशन (आरएफआईडी) टैग जारी किया है, ताकि सुरक्षा में कोई कमी न रहे. मौसम विभाग ने बुधवार को दोनों यात्रा मार्गो पर शुष्क मौसम की भविष्यवाणी की है.

बता दें कि इस साल अमरनाथ तीर्थयात्रियों के लिए एक ऑनलाइन हेलीकॉप्टर बुकिंग सेवा भी शुरू की गई है. पहली बार तीर्थयात्री श्रीनगर से पंजतारणी शिविर तक सीधे यात्रा कर एक दिन में तीर्थ यात्रा पूरी कर सकेंगे.

पहलगाम : जम्मू-कश्मीर में अमरनाथ यात्रा के तीर्थयात्रियों का पहला जत्था बुधवार को रवाना हुआ. उपराज्यपाल (एलजी) मनोज सिन्हा ने जम्मू आधार शिविर से तीर्थयात्रियों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया. उत्तर कश्मीर बालटाल आधार शिविर के लिए रवाना हुए 717 तीर्थयात्रियों समेत जत्थे को उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने सुबह करीब साढ़े पांच बजे भगवती नगर आधार शिविर से रवाना किया. कोरोना के खतरे को देखते हुए जम्मू कश्मीर प्रशासन ने श्री अमरनाथ श्राइन बोर्ड से बातचीत करने के बाद 2020 और 2021 की यात्रा स्थगित कर दी थी. अमरनाथ के रास्ते में श्रद्धालुओं को किसी तरह की कोई दिक्कत न हो प्रशासन की तरफ से इसे सुनिश्चित किया गया है.

अमरनाथ यात्रा 30 जून से शुरू हो रही है और यह 11 अगस्त को रक्षा बंधन त्योहार के अवसर पर श्रावण पूर्णिमा पर समाप्त होगी. अमरनाथ यात्रा के लिए दो रास्तों पहलगाम और बालटाल रास्तों का इस्तेमाल होता है. इस साल करीब 800,000 श्रद्धालु अमरनाथ गुफा में शिवलिंग के दर्शन करेंगे, जिसके लिए कड़ी सुरक्षा समेत तमाम इंतजाम किए गए हैं. पहलगाम के नुनवान बेस कैंप में ईटीवी भारत के संवाददाता से बात करते हुए, तीर्थयात्रियों ने कहा कि वे पिछले दो वर्षों से बेसब्री से इस यात्रा के दोबारा शुरू होने का इंतजार कर रहे थे.

अमरनाथ यात्रा-2022 का पहला जत्था जम्मू से रवाना, भक्तों में उत्साह

तीर्थयात्रियों ने कहा कि उन्हें यहां आकर बहुत खुशी हो रही है. तीर्थयात्रियों की सभी सुविधाओं का अच्छी तरह से ध्यान रखा गया है, जिसके के लिए सरकार और श्राइन बोर्ड को धन्यवाद. तीर्थयात्री आगे कहते हैं कि दर्शन करने के बाद वे कश्मीर की सुंदरता का आनंद उठाएंगे. यहां आने के बाद कश्मीर वाकई में जन्नत लग रहा है.

उल्लेखनीय है कि तीर्थयात्री एक काफिले में सुरक्षा बलों के साथ घाटी के लिए रवाना हुए. यात्रा के उत्तरी कश्मीर बालटाल और दक्षिण कश्मीर पहलगाम दोनों रास्तों पर सेना, केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (सीएपीएफ) और स्थानीय पुलिस के सुरक्षा बल तैनात हैं. पहली बार, अधिकारियों ने प्रत्येक तीर्थयात्री को रेडियो फ्रीक्वेंसी आइडेंटिफिकेशन (आरएफआईडी) टैग जारी किया है, ताकि सुरक्षा में कोई कमी न रहे. मौसम विभाग ने बुधवार को दोनों यात्रा मार्गो पर शुष्क मौसम की भविष्यवाणी की है.

बता दें कि इस साल अमरनाथ तीर्थयात्रियों के लिए एक ऑनलाइन हेलीकॉप्टर बुकिंग सेवा भी शुरू की गई है. पहली बार तीर्थयात्री श्रीनगर से पंजतारणी शिविर तक सीधे यात्रा कर एक दिन में तीर्थ यात्रा पूरी कर सकेंगे.

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