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ऑल्ट न्यूज के सह-संस्थापक जुबैर की जमानत याचिका पर सुप्रीम कोर्ट सुनवाई को राजी

जुबैर की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता कोलिन गोन्जाल्विस ने कहा कि इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने उनकी अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी और इसके बाद उन्हें गिरफ्तार किया गया.

ऑल्ट न्यूज के सह-संस्थापक जुबैर
ऑल्ट न्यूज के सह-संस्थापक जुबैर
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Published : Jul 7, 2022, 12:17 PM IST

Updated : Jul 8, 2022, 12:22 PM IST

नई दिल्ली: ऑल्ट न्यूज के सह-संस्थापक मोहम्मद जुबैर के खिलाफ कथित तौर पर धार्मिक भावनाएं भड़काने के मामले में सुप्रीम कोर्ट सुनवाई को राजी हो गया है. बता दें, जुबैर के खिलाफ उत्तर प्रदेश के सीतापुर में मामला दर्ज किया गया है. इससे पहले न्यायमूर्ति इंदिरा बनर्जी और न्यायमूर्ति जेके माहेश्वरी की अवकाशकालीन पीठ ने बृहस्पतिवार को कहा था कि मामले को भारत के प्रधान न्यायाधीश की मंजूरी के बाद शुक्रवार को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया जाए.

जुबैर की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता कोलिन गोन्जाल्विस ने कहा कि इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने उनकी अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी और इसके बाद उन्हें गिरफ्तार किया गया. उन्होंने मामले पर तत्काल सुनवाई करने का अनुरोध करते हुए कहा, उनकी जान को खतरा है क्योंकि वहां लोग उन्हें धमकी दे रहे हैं. हिंदू शेर सेना के सीतापुर के जिलाध्यक्ष भगवान शरण द्वारा एक जून को भारतीय दंड संहिता की धारा 295ए (धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के इरादे से जानबूझकर और दुर्भावनापूर्ण कार्रवाई) और सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम की धारा-67 के तहत जुबैर के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई गई थी.

दिल्ली पुलिस ने जुबैर को अपने एक ट्वीट के जरिए धार्मिक भावनाएं भड़काने के आरोप में 27 जून को गिरफ्तार किया था. दिल्ली पुलिस ने जुबैर के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धाराओं 120 बी (आपराधिक साजिश) और 201 (सबूत नष्ट करना) तथा विदेशी अंशदान (विनियमन) अधिनियम की धारा 35 के प्रावधान भी लगाए हैं.

नई दिल्ली: ऑल्ट न्यूज के सह-संस्थापक मोहम्मद जुबैर के खिलाफ कथित तौर पर धार्मिक भावनाएं भड़काने के मामले में सुप्रीम कोर्ट सुनवाई को राजी हो गया है. बता दें, जुबैर के खिलाफ उत्तर प्रदेश के सीतापुर में मामला दर्ज किया गया है. इससे पहले न्यायमूर्ति इंदिरा बनर्जी और न्यायमूर्ति जेके माहेश्वरी की अवकाशकालीन पीठ ने बृहस्पतिवार को कहा था कि मामले को भारत के प्रधान न्यायाधीश की मंजूरी के बाद शुक्रवार को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया जाए.

जुबैर की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता कोलिन गोन्जाल्विस ने कहा कि इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने उनकी अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी और इसके बाद उन्हें गिरफ्तार किया गया. उन्होंने मामले पर तत्काल सुनवाई करने का अनुरोध करते हुए कहा, उनकी जान को खतरा है क्योंकि वहां लोग उन्हें धमकी दे रहे हैं. हिंदू शेर सेना के सीतापुर के जिलाध्यक्ष भगवान शरण द्वारा एक जून को भारतीय दंड संहिता की धारा 295ए (धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के इरादे से जानबूझकर और दुर्भावनापूर्ण कार्रवाई) और सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम की धारा-67 के तहत जुबैर के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई गई थी.

दिल्ली पुलिस ने जुबैर को अपने एक ट्वीट के जरिए धार्मिक भावनाएं भड़काने के आरोप में 27 जून को गिरफ्तार किया था. दिल्ली पुलिस ने जुबैर के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धाराओं 120 बी (आपराधिक साजिश) और 201 (सबूत नष्ट करना) तथा विदेशी अंशदान (विनियमन) अधिनियम की धारा 35 के प्रावधान भी लगाए हैं.

पढ़ें: Alt News के संस्थापक जुबैर की गिरफ्तारी का एडिटर्स गिल्ड और एमनेस्टी ने किया विरोध

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पीटीआई-भाषा

Last Updated : Jul 8, 2022, 12:22 PM IST
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