सूरजपुर: जिले में पिछले कुछ महीने से बंदरों का उत्पाद बढ़ता जा रहा है. जंगलों से भटक कर बंदरों का झुंड शहरों में लगातार डेरा लगाए हुए हैं. साथ ही बंदर भोजन की तलाश में लोगों के घरों तक पहुंच रहे हैं और उत्पात मचा रहे हैं.
दरअसल, बदलते दौर और जंगलों में पानी-भोजन के अभाव ने बंदरों को नगरी क्षेत्र में आने को मजबूर कर दिया है. बंदर अब जंगलों का रुख नहीं कर रहे हैं. बंदरों के शहर में आने से लोग काफी परेशान नजर आ रहे हैं. बंदर लोगों के घरों में जाकर सामानों को नुकसान पहुंचा रहे हैं.
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वन विभाग के पास बंदरों को जंगलों तक पहुंचाने का कोई उपाय नहीं है. डीएफओ ने बताया कि बंदर प्राकृतिक पालतू जानवरों की तरह होते हैं, ये भी एक वजह है कि वे रिहायशी क्षेत्र नहीं छोड़ रहे हैं. हालांकि वन विभाग के अधिकारी वाइल्ड लाइफ से चर्चा कर बंदरों से निजात दिलाने के उपाय ढूंढने के दावे करते नजर आ रहे हैं. अब देखने वाली बात है कि इन बंदरों से कब तक नगर वासियों को निजात मिलती है.