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जोगी कांग्रेस के छात्र नेताओं ने प्रिंसिपल के खिलाफ खोला मोर्चा, कलेक्टर को सौंपा ज्ञापन - Jogi Congress student leaders put serious allegations

सूरजपुर जोगी छात्र संगठन के नेताओं ने बिश्रामपुर शासकीय महाविद्यालय के प्रिंसिपल के खिलाफ कलेक्टर रणवीर शर्मा को ज्ञापन सौंपा है. साथ ही प्रिंसिपल के ऊपर कई गंभीर आरोप भी लगाए हैं.

Jogi Congress student leaders put serious allegations against principal of Bishrampur Government College
जोगी कांग्रेस के छात्र नेताओं ने प्रिंसिपल के खिलाफ खोला मोर्चा
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Published : Aug 27, 2020, 10:08 PM IST

सूरजपुर: जोगी छात्र संगठन के जिलाध्यक्ष कुंदन विश्वकर्मा के नेतृत्व में छात्र नेताओं ने बिश्रामपुर शासकीय महाविद्यालय के प्रिंसिपल के खिलाफ कलेक्टर रणवीर शर्मा को ज्ञापन सौंपा है. जिलाध्यक्ष कुंदन विश्वकर्मा ने बताया कि उन्होंने बिश्रामपुर शासकीय महाविद्यालय के प्रिंसिपल के खिलाफ ज्ञापन सौंपते हुए कलेक्टर के सामने प्रमाण के साथ कई संगीन मामले उजागर किए हैं. उन्होंने बताया कि शासकीय महाविद्यालय के प्राचार्य और वाणिज्य विषय के सहायक प्राध्यापक पर पहले से ही कई विभागीय और अन्य जांच चल रही है, जो कछुआ चाल की स्थिति में है.

जोगी कांग्रेस के छात्र नेताओं ने प्रिंसिपल के खिलाफ खोला मोर्चा

जिलाध्यक्ष विश्वकर्मा ने बताया कि महाविद्यालय में सत्र 2018-19 में अतिथि व्याख्याताओं के चयन में नियम कानून को ताक पर रखा गया था और तीन व्याख्याताओं के चयन में धांधली की गई थी. छात्रों के अध्ययन में भी भ्रष्टाचार करने वाले प्राचार्य को उपहार स्वरूप लखनपुर का प्राचार्य बना दिया जाना अव्यवहारिक निर्णय रहा है.

जोगी छात्र संगठन ने लगाया आरोप

जिलाध्यक्ष ने बताया कि महाविद्यालय में अर्थशास्त्र विषय के लिए अतिथि व्याख्याता का चयन मेरिट सूची में जानबूझकर गलत किया गया था. उच्च शिक्षा संचालनालय के नियमों पर प्राचार्य की मनमानी हावी होने की वजह से छात्रों का नुकसान हुआ है. प्राचार्य और चयन समिति ने मामले पर पर्दा डालने के लिए श्रेणी 4 में अपात्र प्रतिभागी को रखकर साल भर वेतन दिया है.

15 दिन के अंदर खुलासा करने की कही गई बात

आरोप है कि प्राचार्य डीडीओ के अधिकार का दुरुपयोग करने से भी पीछे नहीं हटे और कोषालय की राशि का दुरुपयोग किया. जिलाध्यक्ष ने कहा कि छात्र हितों का हनन करने वाले प्राचार्य से 2018-19 के छात्रों का शिक्षण शुल्क लौटाते हुए जिला कोषालय सूरजपुर के राशि की ब्याज सहित वसूली की जानी चाहिए.

पढ़ें: छत्तीसगढ़ स्वास्थ्य शिक्षा के पूर्व डायरेक्टर आदिले फरार, ठिकानों पर छापेमारी जारी

विश्वकर्मा ने बताया कि महाविद्यालय में तीन प्राध्यापकों ने 2017-18 में कार्यभार ग्रहण किया था, जिनमें से भूगोल और जीवविज्ञान के सहायक प्राध्यापक का निवास बिश्रामपुर शहर रहा है. वहीं वाणिज्य विषय के सहायक प्राध्यापक 28 किमी दूर अंबिकापुर में निवास करते रहे हैं. इनके द्वारा हाउस रेंट अलाउंस का लाभ तो लिया जाता है पर हाउस रेंट की पर्ची सार्वजनिक करने से डरते हैं.

पढ़ें: राजनांदगांव: ग्रामीणों का आरोप, उपसरपंच ने किया 6 लाख का फर्जीवाड़ा

धरना प्रदर्शन करने की अनुमति

छात्र संगठन ने यह भी आरोप लगाया है कि पिछले पांच सालों से वाणिज्य विषय के छात्रों के उत्तीर्ण होने का औसत प्रतिशत निकालने पर ही यह स्पष्ट हो जाएगा कि 2017 के बाद वाणिज्य के परिणाम में गिरावट किसकी लापरवाही से है. छात्र हितों के लिए संगठन ने 10 दिनों का समय देते हुए निलंबन या अन्यत्र स्थापित कर जांच करने की मांग की है. संगठन ने ऐसा न होने की स्थिति में 7 सितंबर को सूरजपुर कलेक्ट्रेट में धरना प्रदर्शन करने के लिए अनुमति का आवेदन भी दे दिया है.

सूरजपुर: जोगी छात्र संगठन के जिलाध्यक्ष कुंदन विश्वकर्मा के नेतृत्व में छात्र नेताओं ने बिश्रामपुर शासकीय महाविद्यालय के प्रिंसिपल के खिलाफ कलेक्टर रणवीर शर्मा को ज्ञापन सौंपा है. जिलाध्यक्ष कुंदन विश्वकर्मा ने बताया कि उन्होंने बिश्रामपुर शासकीय महाविद्यालय के प्रिंसिपल के खिलाफ ज्ञापन सौंपते हुए कलेक्टर के सामने प्रमाण के साथ कई संगीन मामले उजागर किए हैं. उन्होंने बताया कि शासकीय महाविद्यालय के प्राचार्य और वाणिज्य विषय के सहायक प्राध्यापक पर पहले से ही कई विभागीय और अन्य जांच चल रही है, जो कछुआ चाल की स्थिति में है.

जोगी कांग्रेस के छात्र नेताओं ने प्रिंसिपल के खिलाफ खोला मोर्चा

जिलाध्यक्ष विश्वकर्मा ने बताया कि महाविद्यालय में सत्र 2018-19 में अतिथि व्याख्याताओं के चयन में नियम कानून को ताक पर रखा गया था और तीन व्याख्याताओं के चयन में धांधली की गई थी. छात्रों के अध्ययन में भी भ्रष्टाचार करने वाले प्राचार्य को उपहार स्वरूप लखनपुर का प्राचार्य बना दिया जाना अव्यवहारिक निर्णय रहा है.

जोगी छात्र संगठन ने लगाया आरोप

जिलाध्यक्ष ने बताया कि महाविद्यालय में अर्थशास्त्र विषय के लिए अतिथि व्याख्याता का चयन मेरिट सूची में जानबूझकर गलत किया गया था. उच्च शिक्षा संचालनालय के नियमों पर प्राचार्य की मनमानी हावी होने की वजह से छात्रों का नुकसान हुआ है. प्राचार्य और चयन समिति ने मामले पर पर्दा डालने के लिए श्रेणी 4 में अपात्र प्रतिभागी को रखकर साल भर वेतन दिया है.

15 दिन के अंदर खुलासा करने की कही गई बात

आरोप है कि प्राचार्य डीडीओ के अधिकार का दुरुपयोग करने से भी पीछे नहीं हटे और कोषालय की राशि का दुरुपयोग किया. जिलाध्यक्ष ने कहा कि छात्र हितों का हनन करने वाले प्राचार्य से 2018-19 के छात्रों का शिक्षण शुल्क लौटाते हुए जिला कोषालय सूरजपुर के राशि की ब्याज सहित वसूली की जानी चाहिए.

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विश्वकर्मा ने बताया कि महाविद्यालय में तीन प्राध्यापकों ने 2017-18 में कार्यभार ग्रहण किया था, जिनमें से भूगोल और जीवविज्ञान के सहायक प्राध्यापक का निवास बिश्रामपुर शहर रहा है. वहीं वाणिज्य विषय के सहायक प्राध्यापक 28 किमी दूर अंबिकापुर में निवास करते रहे हैं. इनके द्वारा हाउस रेंट अलाउंस का लाभ तो लिया जाता है पर हाउस रेंट की पर्ची सार्वजनिक करने से डरते हैं.

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धरना प्रदर्शन करने की अनुमति

छात्र संगठन ने यह भी आरोप लगाया है कि पिछले पांच सालों से वाणिज्य विषय के छात्रों के उत्तीर्ण होने का औसत प्रतिशत निकालने पर ही यह स्पष्ट हो जाएगा कि 2017 के बाद वाणिज्य के परिणाम में गिरावट किसकी लापरवाही से है. छात्र हितों के लिए संगठन ने 10 दिनों का समय देते हुए निलंबन या अन्यत्र स्थापित कर जांच करने की मांग की है. संगठन ने ऐसा न होने की स्थिति में 7 सितंबर को सूरजपुर कलेक्ट्रेट में धरना प्रदर्शन करने के लिए अनुमति का आवेदन भी दे दिया है.

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