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'बारिश बनी विलन, ठप हुआ पटाखा व्यापार'

राजनांदगांव में पटाखा व्यापारियों के लिए बारिश परेशानी का सबब बन कर आई. पटाखों की कम बिक्री से व्यापारी चिंतित हैं.

बारिश से पटाखा मार्केट ठप
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Published : Oct 26, 2019, 8:50 PM IST

Updated : Oct 26, 2019, 11:47 PM IST

राजनांदगांव : दीपावली की तैयारियां जोरों पर है. लेकिन, पटाखा व्यापारियों के लिए बारिश परेशानी का सबब बन कर आई है. GST, महंगाई के बाद पटाखा व्यापारियों को अब मौसम की मार भी झेलनी पड़ रही है.

पटाखों की कम बिक्री से व्यापारी चिंतित हैं

3 दिनों से रुक-रुक कर हो रही बारिश ने पटाखा व्यापार पर खासा असर डाला है. व्यापारियों के माथे पर चिंता की लकीरें खींच चुकी हैं, व्यापारियों को ये चिंता सताने लगी है कि उन्होंने इस साल जो स्टॉक मंगाया हो, वो कैसे खत्म होगा. इस साल पटाखा व्यापार में 30% कीमतों में वृद्धि की गई है. जिसके चलते पटाखे महंगे हो गए हैं. इसका असर पटाखों की खरीदारी पर तो पढ़ ही रहा है साथ ही GST 28 % लगने से पटाखों की कीमत और बढ़ गई है.

3 दिन के बारिश ने बिगाड़ा पूरा गणित

शहर में लगातार 3 दिन से बारिश हो रही है. शहर के पटाखा व्यापारियों ने निगम से 130 दुकानों का एलॉटमेंट कराया था.लेकिन केवल 70 दुकानें ही म्युनिसिपल ग्राउंड में लगाई गई हैं. 50 दुकानें खुली ही नहीं. बताया जा रहा है कि बारिश के चलते व्यापारियों ने अपने हाथ खींच लिए.

पढ़ें : जगमग दीपों ने लिया मंदिर का आकार, धूमधाम से मनाया जा रहा रोशनी का त्योहार

जागरूकता संदेश से भी हुआ नुकसान

पटाखा व्यापारियों का कहना है कि 'दिवाली के दिन जमकर पटाखे फोड़ते थे, लेकिन अब पर्यावरण को लेकर जागरूकता संदेश से लोग पटाखों से दूरी बना रहे हैं. इसके चलते भी पटाखा व्यापार को मंदी का सामना करना पड़ रहा है'.

पढ़ें :धनतेरस ने दी मंदी को मात, प्रदेश में हुआ करोड़ों का कारोबार

अवैध बिक्री पर लगाम नहीं

पटाखा व्यापारियों का कहना है कि 'शहर के रिहायशी इलाकों में अवैध रूप से पटाखों की बिक्री लगातार जारी है. इस पर पुलिस प्रशासन लगाम नहीं कस पा रही है. इसके चलते अवैध रूप से कारोबार करने वाले लोग पटाखा व्यापार को नुकसान पहुंचा रहे हैं'.

बिक्री में कमी के कई कारण

वरिष्ठ पत्रकार खेमराज वर्मा का कहना है कि 'पटाखों पर सबसे पहले महंगाई की मार पड़ी, फिर GST की जिसका सीधा असर जनता पर पड़ रहा है. कई तरह के जागरूकता अभियानों के चलते भी लोग पटाखों से दूर होने लगे हैं'.

राजनांदगांव : दीपावली की तैयारियां जोरों पर है. लेकिन, पटाखा व्यापारियों के लिए बारिश परेशानी का सबब बन कर आई है. GST, महंगाई के बाद पटाखा व्यापारियों को अब मौसम की मार भी झेलनी पड़ रही है.

पटाखों की कम बिक्री से व्यापारी चिंतित हैं

3 दिनों से रुक-रुक कर हो रही बारिश ने पटाखा व्यापार पर खासा असर डाला है. व्यापारियों के माथे पर चिंता की लकीरें खींच चुकी हैं, व्यापारियों को ये चिंता सताने लगी है कि उन्होंने इस साल जो स्टॉक मंगाया हो, वो कैसे खत्म होगा. इस साल पटाखा व्यापार में 30% कीमतों में वृद्धि की गई है. जिसके चलते पटाखे महंगे हो गए हैं. इसका असर पटाखों की खरीदारी पर तो पढ़ ही रहा है साथ ही GST 28 % लगने से पटाखों की कीमत और बढ़ गई है.

3 दिन के बारिश ने बिगाड़ा पूरा गणित

शहर में लगातार 3 दिन से बारिश हो रही है. शहर के पटाखा व्यापारियों ने निगम से 130 दुकानों का एलॉटमेंट कराया था.लेकिन केवल 70 दुकानें ही म्युनिसिपल ग्राउंड में लगाई गई हैं. 50 दुकानें खुली ही नहीं. बताया जा रहा है कि बारिश के चलते व्यापारियों ने अपने हाथ खींच लिए.

पढ़ें : जगमग दीपों ने लिया मंदिर का आकार, धूमधाम से मनाया जा रहा रोशनी का त्योहार

जागरूकता संदेश से भी हुआ नुकसान

पटाखा व्यापारियों का कहना है कि 'दिवाली के दिन जमकर पटाखे फोड़ते थे, लेकिन अब पर्यावरण को लेकर जागरूकता संदेश से लोग पटाखों से दूरी बना रहे हैं. इसके चलते भी पटाखा व्यापार को मंदी का सामना करना पड़ रहा है'.

पढ़ें :धनतेरस ने दी मंदी को मात, प्रदेश में हुआ करोड़ों का कारोबार

अवैध बिक्री पर लगाम नहीं

पटाखा व्यापारियों का कहना है कि 'शहर के रिहायशी इलाकों में अवैध रूप से पटाखों की बिक्री लगातार जारी है. इस पर पुलिस प्रशासन लगाम नहीं कस पा रही है. इसके चलते अवैध रूप से कारोबार करने वाले लोग पटाखा व्यापार को नुकसान पहुंचा रहे हैं'.

बिक्री में कमी के कई कारण

वरिष्ठ पत्रकार खेमराज वर्मा का कहना है कि 'पटाखों पर सबसे पहले महंगाई की मार पड़ी, फिर GST की जिसका सीधा असर जनता पर पड़ रहा है. कई तरह के जागरूकता अभियानों के चलते भी लोग पटाखों से दूर होने लगे हैं'.

Intro:राजनांदगांव जीएसटी महंगाई के बाद अब पटाखा व्यापारियों को मौसम का भी नुकसान झेलना पड़ रहा है 3 दिनों से रुक-रुक कर हो रही बारिश ने पटाखा के व्यापार पर काफी असर डाला है व्यापारियों के माथे पर चिंता की लकीरें खींच चुकी है वहीं इस साल मंगाए गए स्टाफ को क्लियर करने के लिए भी व्यापारी काफी चिंता में दिखाई दे रहे हैं.


Body:दिवाली पर पटाखा व्यापार पर महंगाई जीएसटी सहित मौसम का काफी बुरा असर पड़ा है इस साल पटाखा के व्यापार में 30% कीमतों में वृद्धि की गई है शिवाकाशी से पटाखों के रेट में इस बार 30 पर्सेंट का इजाफा किया गया है इसके चलते पटाखे महंगे हो गए हैं इसका असर पटाखों की खरीदारी पर तो पढ़ ही रहा है लेकिन इसके बाद जीएसटी 28 परसेंट लगने से पटाखा की कीमतों में काफी इजाफा हुआ है कीमत में 30% की वृद्धि और 28 परसेंट का जीएसटी लगने के बाद पटाखों के कीमत आसमान को छू रहे हैं इसके चलते अब खरीददार पटाखों से दूर रहना ही पसंद कर रहे हैं.
3 दिन के बारिश ने बिगाड़ा पूरा गणित
शहर में लगातार तीन दिन से बारिश हो रही है शहर के पटाखा व्यापारियों ने निगम से 130 दुकानों का एलॉटमेंट कराया था लेकिन केवल 70 दुकानें ही म्युनिसिपल ग्राउंड में लगाई गई है 50 दुकानें खुली ही नहीं है बताया जा रहा है कि बारिश के चलते व्यापारियों ने अपने हाथ खींच लिए.
जागरूकता संदेश से भी हुआ नुकसान
पटाखा व्यापारियों का कहना है कि दिवाली में साल में 1 दिन लोग जमकर पटाखे फोड़ते थे लेकिन अब तरह-तरह के जागरूकता संदेश से लोग अपनी ही परंपराओं से दूर हो रहे हैं दिवाली के पर्व पर पटाखों से कई वर्ग के लोगों ने दूरी भी बनाई है इसके चलते पटाखा व्यापार में मंदी का सामना करना पड़ रहा है.
अवैध बिक्री पर लगाम नहीं
दूसरी और पटाखा व्यापारियों का कहना है कि शहर के रिहायशी इलाकों में अवैध रूप से पटाखों की बिक्री लगातार जारी है इस पर पुलिस प्रशासन लगाम नहीं कस पा रहा है इसके चलते अवैध रूप से इस कारोबार को करने वाले लोग पटाखा व्यापार को नुकसान पहुंचा रहे हैं लाइसेंस धारी पटाखा व्यापारी सभी तरीके के खर्च कर एक नियत स्थान पर व्यापार करते हैं लेकिन शहर के अवैध व्यापारी कहीं भी दुकान खोल कर बैठ जाते हैं इससे उन्हें काफी नुकसान होता है



Conclusion:बिक्री में कमी के कई कारण
वरिष्ठ पत्रकार खेमराज वर्मा का कहना है कि पटाखों पर सबसे पहले महंगाई की मार पड़ी तकरीबन 30 परसेंट से 35 परसेंट तक रेट में इजाफा हुआ और फिर इस साल 2 दिन के इस त्यौहार में 28 पर्सेंट जीएसटी पटाखों पर लगाई गई इससे महंगाई बढ़ गई जिसका सीधा वार जनता पर पड़ रहा है इसके चलते पटाखा व्यापार पर असर पड़ा है वही कई तरह के के जागरूकता अभियानों के चलते भी लोग पटाखों से दूर रहने लगे हैं कुछ इसे पैसों की बर्बादी समझते हैं तो कुछ प्रदूषण का कारण इसके चलते पटाखों के व्यापार पर अच्छा खासा असर पड़ा है.

बाइट वरिष्ठ पत्रकार खेमराज वर्मा
बाइट अब्दुल कदीर मनिहार अध्यक्ष जिला पटाखा संघ
Last Updated : Oct 26, 2019, 11:47 PM IST
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