रायपुर: छत्तीसगढ़ की दो पंचायतों को राष्ट्रीय पंचायत पुरस्कार मिला है. नई दिल्ली में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की अध्यक्षता में कार्यक्रम आयोजित किया गया कार्यक्रम में केंद्रीय पंचायत मंत्री गिरिराज सिंह ने जिला पंचायत सीईओ और ग्राम पंचायत के सरपंच सहित अन्य को प्रमाण पत्र और पुरस्कार देकर सम्मानित किया है. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री रविंद्र चौबे ने प्रदेश के पंचायतों को पुरस्कार मिलने पर खुशी जाहिर की और प्रदेशवासियों को शुभकामनाएं दी.
9 थीम पर आधारित थी प्रतियोगिता: इस प्रतियोगिता में ग्राम पंचायतों के लिए कुल 9 थीम निर्धारित किए गए है. जिसमें केंद्र सरकार ने धमतरी के ग्राम पंचायत सांकरा और सरगुजा के ग्राम पंचायत नागम को गरीबी उन्मूलन और आजीविका संवर्धन श्रेणी के थीम पर पुरस्कृत किया है. धमतरी के सांकरा गांव को स्वस्थ पंचायत थीम पर सम्मानित किया है. दोनों पंचायतों को 50-50 लाख का पुरस्कार दिया गया है.
छत्तीसगढ़ को मिले 2 पुरस्कार: पूरे देश में 43 ग्राम पंचायतों को पुरस्कार दिये गये. छत्तीसगढ़ उन चुनिंदा राज्यों में शामिल है, जिन्हें एक से ज्यादा पुरस्कार मिले हैं. ग्राम पंचायत नागम के सरपंच भंडारी राम पैकरा और ग्राम पंचायत सांकरा की सरपंच शशि ध्रुव ने केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह के हाथों पुरस्कार लिया.
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राष्ट्रीय पंचायत पुरस्कारों में छत्तीसगढ़ को 2 पुरस्कारों से सम्मनित होना हर प्रदेशवासी के लिए बहुत गर्व की बात है।
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सरगुजा के ग्राम पंचायत नागम को गरीबी उन्मूलन और आजीविका संवर्धन के लिए पुरस्कार मिला वहीं धमतरी के ग्राम पंचायत सांकरा को स्वस्थ पंचायत थीम के लिए पुरस्कृत किया…
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— T S Singhdeo (@TS_SinghDeo) April 24, 2023
सरगुजा के ग्राम पंचायत नागम को गरीबी उन्मूलन और आजीविका संवर्धन के लिए पुरस्कार मिला वहीं धमतरी के ग्राम पंचायत सांकरा को स्वस्थ पंचायत थीम के लिए पुरस्कृत किया…राष्ट्रीय पंचायत पुरस्कारों में छत्तीसगढ़ को 2 पुरस्कारों से सम्मनित होना हर प्रदेशवासी के लिए बहुत गर्व की बात है।
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सरगुजा के ग्राम पंचायत नागम को गरीबी उन्मूलन और आजीविका संवर्धन के लिए पुरस्कार मिला वहीं धमतरी के ग्राम पंचायत सांकरा को स्वस्थ पंचायत थीम के लिए पुरस्कृत किया…
मंत्री सिंहदेव ने दी बधाई: प्रदेश की दो पंचायतों को राष्ट्रीय पंचायत पुरस्कार मिलने पर छत्तीसगढ़ के स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव ने प्रदेशवासियों को बधाई दी है. उन्होंने ट्वीट कर लिखा "राष्ट्रीय पंचायत पुरस्कारों में छत्तीसगढ़ को 2 पुरस्कारों से सम्मनित होना हर प्रदेशवासी के लिए बहुत गर्व की बात है. ग्रामीण उत्थान के लिए उठाए गए अनेक कदमों का परिणाम हैं ये सम्मान. सभी अधिकारियों, कर्मचारियों और ग्रामवासियों को इसके लिए बहुत बधाई."
आंकलन के बाद हुआ चयन: केंद्र सरकार और राज्य सरकार की योजनाओं के क्रियान्वयन और गांव की स्थिति के आधार पर पंचायतों का चुनाव किया जाता है. जनपद और जिला स्तर पर आंकलन के बाद प्रदेश स्तर से कुछ मॉडल को केंद्र में भेजा जाता है, फिर केंद्र से बेहतर कार्य करने वाले पंचायत को चुना जाता है. इस बार प्रदेश से लुंड्रा जनपद के ग्राम पंचायत नागम को राष्ट्रीय दीन दयाल उपाध्याय पंचायत सतत विकास प्रतियोगिता में चयनित किया गया. गरीबीमुक्त और उन्नत आजीविका पंचायत के लिए तीसरा स्थान दिया गया है.
इसी तरह ग्राम पंचायत सांकरा में गर्भवती महिलाओं का शत प्रतिशत संस्थागत प्रसव, बच्चों को पौष्टिक आहार प्रदान करने, महिलाओं एवं बच्चों के टीकाकरण, बीमारियों के रोकथाम पर अच्छा कार्य किया गया. इसलिए ग्राम पंचायत सांकरा को स्वस्थ पंचायत थीम पर पुरस्कृत किया गया है.
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सरपंच और सीईओ ने लिया पुरस्कार: अधिकारियों के अनुसार ग्राम पंचायत नागम में स्वयं समूह की महिलाएं आत्मनिर्भर बन रही है. उन्हें रोजगार के साधन उपलब्ध कराए गए हैं, जिससे ग्रामीणों की आय में वृद्धि हुई है. इस मॉडल को दिल्ली में पसंद किया गया और तीसरा स्थान दिया गया है. दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में जिला पंचायत सीईओ विश्वदीप और नागम सरपंच के साथ अन्य अधिकारियों ने केंद्रीय पंचायत मंत्री गिरिराज सिंह के हाथों यह पुरस्कार लिया.
ढाई लाख से ज्यादा ग्राम पंचायतों ने भरा था नामांकन: यह पुरस्कार इसलिए भी काफी मायने रखता है, क्योंकि देशभर की ढाई लाख से ज्यादा ग्राम पंचायतों ने इस पुरस्कार के लिए नामांकन भरा था. इसमें छत्तीसगढ़ की 11658 ग्राम पंचायतें शामिल थीं. इनमें से 43 ग्राम पंचायतों को पुरस्कार के लिए देशभर से चुना गया. इस पुरस्कार के लिए 9 श्रेणियों में थीम रखी गई थी.