रायपुर: देशभर में गणेश चतुर्थी का पर्व मनाया जा रहा है. बप्पा हर साल सुख, शांति और समृद्धि लेकर आते हैं, इसके लिए बप्पा के भक्त ज्यादातर पंडालों पर प्रतिमा स्थापित करते हैं, लेकिन इस बार कोरोना संक्रमण की वजह से गणेश पंडालों की संख्या में भारी कमी देखने को मिली है. कोरोना की वजह से अधिकांश लोग ने घरों में ही गणेश प्रतिमा की स्थापना की है. गणेश पंडालों की साज सज्जा और सजावट का काम शाम तक पूरा कर लिया गया है. साथ ही लोग कोरोना संक्रमण की वजह से सोशल डिस्टेंसिंग के साथ पर्व को मना रहे हैं.
कोरोना संक्रमण को देखते हुए जिला प्रशासन ने गणेश पंडालों के लिए 26 बिंदुओं की सरकारी एडवाइजरी भी जारी की है. इस सरकारी एडवाइजरी का पालन अधिकांश गणेश पंडाल के संयोजक नहीं कर पाएंगे, जिसके कारण गणेश पंडालों की संख्या भी दूसरे वर्षों की तुलना में कम रहेगी. राजधानी रायपुर में छोटे बड़े मिलाकर लगभग 2000 गणेश पंडाल हुआ करते थे, लेकिन इस बार यह संख्या घटकर लगभग 100 के आसपास पहुंच गई है.
पंडालों के लिए 5 हजार स्क्वायर फीट खाली जमीन चाहिए था
समिति के सदस्यों का कहना है कि कोरोना की वजह से शासन-प्रशासन ने जो नियम बनाए हैं, उनमें संशोधन होना चाहिए, क्योंकि सरकार ने कोरोना संक्रमण को देखते हुए 26 नियम तो बना दिए, लेकिन इसमें कई नियमों का पालन गणेश उत्सव समिति के लिए कठिन और असंभव है. गणेश पंडालों के लिए शासन-प्रशासन ने जो सरकारी एडवाइजरी जारी की है, उसमें गणेश उत्सव समिति के पास लगभग 5 हजार स्क्वायर फीट खाली जमीन होनी चाहिए. इन पंडालों में 4 सीसीटीवी कैमरे भी लगे होने चाहिए. तभी बप्पा के दर्शन के लिए भक्त आ सकते हैं.
CCTV कैमरे से कोरोना संदिग्ध पर रखी जाएगी नजर
इसके अलावा सैनिटाइजर और सोशल डिस्टेंसिंग जैसे नियमों का भी पालन करना होगा. CCTV कैमरे के माध्यम से बप्पा के दर्शन के लिए आने वाले भक्तों पर भी कड़ी नजर रखी जाएगी. प्रशासन के मुताबिक पंडालों पर कोरोना संक्रमित मरीज मिलते हैं, तो मरीज के इलाज की सुविधा गणेश उत्सव समिति के लोगों को उठाना पड़ेगा.गणेश उत्सव समिति के लोगों का कहना है कि वे पिछले कई दशकों से गणेश और दुर्गा की स्थापना करते आ रहे हैं, लेकिन इस बार कोरोना संक्रमण की वजह से गणेश स्थापना नहीं कर रहे हैं.
कोरोना संक्रमण से बचने के लिए घरों पर मूर्तियों की स्थापना
नवभारत गणेश उत्सव समिति के सचिव महेंद्र पंसारी का कहना है कि गणेश पंडाल में CCTV कैमरे के माध्यम से कोरोना संक्रमित मरीज की निगरानी तो की जा सकती है, लेकिन इलाज के दौरान अगर मरीज की मौत होती है, तो परिजन क्षतिपूर्ति राशि मांगेंगे, तो समिति के लिए क्षतिपूर्ति राशि जुटा पाना असंभव है. ऐसे में ज्यादातर लोग अपने घरों पर ही गणेश प्रतिमा की स्थापना किए हैं, ताकि कोरोना संक्रमण से खुद का बचाव कर सकें.