ETV Bharat / state

कृष्ण जन्माष्टमी पर छत्तीसगढ़ के कृष्ण मंदिरों के बारे में जानिए - Krishna temples in bilaspur

जन्माष्टमी को लेकर छत्तीसगढ़ के कृष्ण मंदिरों में भी तैयारी की जा रही है. ऐसे में ईटीवी भारत आपको छत्तीसगढ़ में कृष्ण भगवान के ऐसे मंदिरों से अवगत करा रहा है, जहां जन्माष्टमी के दिन बड़ी धूमधाम से कृष्ण भगवान की पूजा की जाती है.

largest Krishna temples of chhattisgarh
छत्तीसगढ़ में कृष्ण मंदिरों की संख्या
author img

By

Published : Aug 17, 2022, 11:30 PM IST

रायपुर: जन्माष्टमी का पर्व पूरे देश में बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है. जन्माष्टमी का पर्व भगवान श्री कृष्ण के जन्म के रूप में मनाया जाता है. जन्माष्टमी को भारत में ही नहीं बल्कि विदेशों में भी बसे भारतीय पूरे आस्था और उल्लास से मनाते हैं. इस बार जन्माष्टमी का पर्व 19 अगस्त को मनाया जा रहा है. जन्माष्टमी को लेकर छत्तीसगढ़ के कृष्ण मंदिरों में अभी से तैयारी शुरू हो चुकी है. रायपुर के इस्कॉन मंदिर और समता कॉलोनी के राधा कृष्ण मंदिर, भिलाई का अक्षयपात्र मंदिर, बिलासपुर का खाटूश्याम और वेंकटेश मंदिर छत्तीसगढ़ के कृष्ण भगवान के ऐसे मंदिर (largest Krishna temples of chhattisgarh) हैं, जहां जन्माष्टमी के दिन बड़ी धूमधाम से कृष्ण भगवान की पूजा की जाती है.

छत्तीसगढ़ के 5 सबसे बड़े कृष्ण मंदिर :

रायपुर इस्कॉन मंदिर: राजधानी रायपुर के टाटीबंध स्थित इस्कॉन मंदिर में जन्माष्टमी का पर्व 18 से 20 अगस्त तक बड़े ही धूमधाम से मनाया जाएगा. जन्माष्टमी के लिए इस्कॉन मंदिर में विशाल पंडाल बनाया जा रहा है. राधा कृष्ण के लिए पोशाक एवं आभूषण वृंदावन एवं मुंबई से मंगाए गए हैं. 18 अगस्त को बाल महोत्सव फैंसी ड्रेस प्रतियोगिता एवं भव्य नृत्य प्रतियोगिता का आयोजन किया गया है. 19 अगस्त को मंगल आरती, तुलसी आरती, श्रृंगार दर्शन, धूप अगरबत्ती, भजन संध्या, संध्या आरती का आयोजन किया जाएगा. हर साल रायपुर इस्कॉन मंदिर में जन्माष्टमी के दिन सिर्फ छत्तीसगढ़ी ही नहीं बल्कि विदेश से पर्यटक भी कृष्ण भगवान के दर्शन लिए यहां पहुंचते हैं.


यह भी पढ़ें: दुनिया का सबसे महंगा श्रृंगार, 100 करोड़ के हीरे मोतियों से इस मंदिर में सजेंगे राधा कृष्ण, देखें अद्भुत मूर्ति

रायपुर राधा कृष्ण मंदिर : रायपुर के समता कॉलोनी स्थित राधाकृष्ण मंदिर में हर साल जन्माष्टमी का पर्व बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है. समता कॉलोनी स्थित राधाकृष्ण मंदिर में साज सजावट के लिए विशेष तौर से कोलकाता के कारीगरों को बुलाया जाता है. रायपुर के कृष्ण मंदिरों में सबसे बड़े मंदिर में से एक है समता कॉलोनी का राधा कृष्ण मंदिर. कृष्ण जन्माष्टमी के दिन यहां सुबह से ही आम भक्तों का तांता रहता है.


भिलाई अक्षयपात्र मंदिर : कोरोना संक्रमण कम होने पर पूरे देश में इस बार कृष्ण जन्माष्टमी बड़े ही धूमधाम से मनाई जाएगी. छत्तीसगढ़ के भिलाई में स्थित अक्षयपात्र मंदिर छत्तीसगढ़ में कृष्ण भगवान के सबसे बड़े मंदिरों में से एक है. हर साल यहां कृष्ण जन्माष्टमी बड़े ही धूमधाम से मनाई जाती है. अक्षयपात्र मंदिर में कृष्ण जन्माष्टमी के दिन भगवान कृष्ण को 108 प्रकार के पकवान का भोग भी लगाया जाता है. हर साल अक्षयपात्र मंदिर में कृष्ण जन्माष्टमी के दिन सांस्कृतिक आयोजन भी किए जाते हैं.


बिलासपुर खाटूश्याम मंदिर : इस बार कृष्ण जन्माष्टमी को लेकर खाटूश्याम मंदिर में विशेष सजावट की जा रही है. कृष्ण जन्माष्टमी के दिन प्रदेश के सभी बड़े कृष्ण मंदिरों में मेले जैसा माहौल रहता है. कृष्ण जन्माष्टमी के दिन भगवान कृष्ण के दर्शन के लिए सुबह से ही लोगों का ताता रहता है. कृष्ण जन्माष्टमी के दिन मंदिरों में भजन कीर्तन शुरू रहता है. जिसके बाद शाम के समय मंदिर में विशेष पूजा अर्चना की जाती है.

बिलासपुर वेंकटेश मंदिर : हर साल बिलासपुर के वेंकटेश मंदिर में कृष्ण भगवान का जन्म उत्सव बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है. कृष्ण जन्माष्टमी के दिन यहां सुबह से ही भजन कीर्तन शुरू हो जाता है. यहां बड़े ही धूमधाम से शाम को संध्या आरती की जाती है. कृष्ण जन्माष्टमी के दिन भगवान कृष्ण के मनमोहक रूप के दर्शन करने पर्यटक यहां दूसरे राज्यों से भी आते हैं. पिछले साल बिलासपुर में कृष्ण जन्माष्टमी के दिन मलखंब प्रतियोगिता का भी आयोजन किया गया था.

रायपुर: जन्माष्टमी का पर्व पूरे देश में बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है. जन्माष्टमी का पर्व भगवान श्री कृष्ण के जन्म के रूप में मनाया जाता है. जन्माष्टमी को भारत में ही नहीं बल्कि विदेशों में भी बसे भारतीय पूरे आस्था और उल्लास से मनाते हैं. इस बार जन्माष्टमी का पर्व 19 अगस्त को मनाया जा रहा है. जन्माष्टमी को लेकर छत्तीसगढ़ के कृष्ण मंदिरों में अभी से तैयारी शुरू हो चुकी है. रायपुर के इस्कॉन मंदिर और समता कॉलोनी के राधा कृष्ण मंदिर, भिलाई का अक्षयपात्र मंदिर, बिलासपुर का खाटूश्याम और वेंकटेश मंदिर छत्तीसगढ़ के कृष्ण भगवान के ऐसे मंदिर (largest Krishna temples of chhattisgarh) हैं, जहां जन्माष्टमी के दिन बड़ी धूमधाम से कृष्ण भगवान की पूजा की जाती है.

छत्तीसगढ़ के 5 सबसे बड़े कृष्ण मंदिर :

रायपुर इस्कॉन मंदिर: राजधानी रायपुर के टाटीबंध स्थित इस्कॉन मंदिर में जन्माष्टमी का पर्व 18 से 20 अगस्त तक बड़े ही धूमधाम से मनाया जाएगा. जन्माष्टमी के लिए इस्कॉन मंदिर में विशाल पंडाल बनाया जा रहा है. राधा कृष्ण के लिए पोशाक एवं आभूषण वृंदावन एवं मुंबई से मंगाए गए हैं. 18 अगस्त को बाल महोत्सव फैंसी ड्रेस प्रतियोगिता एवं भव्य नृत्य प्रतियोगिता का आयोजन किया गया है. 19 अगस्त को मंगल आरती, तुलसी आरती, श्रृंगार दर्शन, धूप अगरबत्ती, भजन संध्या, संध्या आरती का आयोजन किया जाएगा. हर साल रायपुर इस्कॉन मंदिर में जन्माष्टमी के दिन सिर्फ छत्तीसगढ़ी ही नहीं बल्कि विदेश से पर्यटक भी कृष्ण भगवान के दर्शन लिए यहां पहुंचते हैं.


यह भी पढ़ें: दुनिया का सबसे महंगा श्रृंगार, 100 करोड़ के हीरे मोतियों से इस मंदिर में सजेंगे राधा कृष्ण, देखें अद्भुत मूर्ति

रायपुर राधा कृष्ण मंदिर : रायपुर के समता कॉलोनी स्थित राधाकृष्ण मंदिर में हर साल जन्माष्टमी का पर्व बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है. समता कॉलोनी स्थित राधाकृष्ण मंदिर में साज सजावट के लिए विशेष तौर से कोलकाता के कारीगरों को बुलाया जाता है. रायपुर के कृष्ण मंदिरों में सबसे बड़े मंदिर में से एक है समता कॉलोनी का राधा कृष्ण मंदिर. कृष्ण जन्माष्टमी के दिन यहां सुबह से ही आम भक्तों का तांता रहता है.


भिलाई अक्षयपात्र मंदिर : कोरोना संक्रमण कम होने पर पूरे देश में इस बार कृष्ण जन्माष्टमी बड़े ही धूमधाम से मनाई जाएगी. छत्तीसगढ़ के भिलाई में स्थित अक्षयपात्र मंदिर छत्तीसगढ़ में कृष्ण भगवान के सबसे बड़े मंदिरों में से एक है. हर साल यहां कृष्ण जन्माष्टमी बड़े ही धूमधाम से मनाई जाती है. अक्षयपात्र मंदिर में कृष्ण जन्माष्टमी के दिन भगवान कृष्ण को 108 प्रकार के पकवान का भोग भी लगाया जाता है. हर साल अक्षयपात्र मंदिर में कृष्ण जन्माष्टमी के दिन सांस्कृतिक आयोजन भी किए जाते हैं.


बिलासपुर खाटूश्याम मंदिर : इस बार कृष्ण जन्माष्टमी को लेकर खाटूश्याम मंदिर में विशेष सजावट की जा रही है. कृष्ण जन्माष्टमी के दिन प्रदेश के सभी बड़े कृष्ण मंदिरों में मेले जैसा माहौल रहता है. कृष्ण जन्माष्टमी के दिन भगवान कृष्ण के दर्शन के लिए सुबह से ही लोगों का ताता रहता है. कृष्ण जन्माष्टमी के दिन मंदिरों में भजन कीर्तन शुरू रहता है. जिसके बाद शाम के समय मंदिर में विशेष पूजा अर्चना की जाती है.

बिलासपुर वेंकटेश मंदिर : हर साल बिलासपुर के वेंकटेश मंदिर में कृष्ण भगवान का जन्म उत्सव बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है. कृष्ण जन्माष्टमी के दिन यहां सुबह से ही भजन कीर्तन शुरू हो जाता है. यहां बड़े ही धूमधाम से शाम को संध्या आरती की जाती है. कृष्ण जन्माष्टमी के दिन भगवान कृष्ण के मनमोहक रूप के दर्शन करने पर्यटक यहां दूसरे राज्यों से भी आते हैं. पिछले साल बिलासपुर में कृष्ण जन्माष्टमी के दिन मलखंब प्रतियोगिता का भी आयोजन किया गया था.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.