रायपुर: छत्तीसगढ़ के 54 विभागों में लगभग 45 हजार संविदा कर्मचारी कार्यरत हैं. प्रदेश स्तर पर शुक्रवार 23 जून को नया रायपुर के तूता प्रदर्शन स्थल पर अपनी 1 सूत्रीय मांग नियमितीकरण को लेकर आक्रोश रैली निकालेंगे. छत्तीसगढ़ सर्वविभागीय संविदा कर्मचारी महासंघ के बैनर तले प्रदेशभर के विभिन्न विभागों में काम करने वाले संविदा कर्मचारी नया रायपुर प्रदर्शन स्थल पर आक्रोश रैली निकालेंगे. प्रदेश स्तर पर आक्रोश रैली निकाले जाने के बाद संविदा कर्मचारियों की मांग पूरी नहीं होती है, तो पूरे प्रदेश के संविदा कर्मचारी अनिश्चितकालीन आंदोलन के लिए बाध्य होंगे. आक्रोश रैली निकालकर प्रदेश के संविदा कर्मचारी कलेक्टर के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन सौंपेंगे.
राज्यभर में प्रदर्शन: छत्तीसगढ़ सर्वविभागीय संविदा कर्मचारी महासंघ के प्रदेश अध्यक्ष कौशलेश तिवारी ने बताया कि "छत्तीसगढ़ सर्वविभागीय संविदा कर्मचारी महासंघ के बैनर तले प्रदेश भर के संविदा कर्मचारी संविदा नियमितीकरण रथ यात्रा 16 मई से पूरे प्रदेश के 32 जिलों में निकालकर कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा गया. शुक्रवार 23 जून को 33 वां जिला के रूप में रायपुर में प्रदेश स्तर पर आक्रोश रैली निकालकर विरोध प्रदर्शन करेंगे. संविदा कर्मचारियों के द्वारा 16 मई को सबसे पहले जांजगीर के शिवरी नारायण से इसकी शुरुआत की गई और 22 जून को 32 वें जिले के रूप में बलोदाबाजार में रथ यात्रा भ्रमण करने के बाद 33 वा जिला के रूप में रायपुर में प्रदर्शन करेंगे. छत्तीसगढ़ सर्वविभागीय संविदा कर्मचारी महासंघ अपनी 1 सूत्रीय मांग नियमितीकरण को लेकर पिछले 4 सालों से लगातार धरना और प्रदर्शन कर रही है."
"पूरे प्रदेश के 54 विभागों में पंचायत विभाग स्वास्थ्य विभाग शिक्षा विभाग महिला बाल विकास विभाग जैसे तमाम विभाग के संविदा कर्मचारी इस आक्रोश रैली में शामिल होंगे. पूरे प्रदेश में संविदा कर्मचारियों की संख्या सबसे ज्यादा महिला बाल विकास विभाग पंचायत विभाग और स्वास्थ्य विभाग में है. संविदा कर्मचारियों के द्वारा नवंबर 2022 में रायपुर से कौशल्या माता मंदिर चंदखुरी तक 2 दिनों की पदयात्रा भी की गई थी. संविदा कर्मचारियों ने जनवरी 2023 में 5 दिनों का पूरे प्रदेश में अनिश्चितकालीन हड़ताल भी किया था." - कौशलेश तिवारी, संविदा कर्मचारी महासंघ
अनिश्चितकालीन हड़ताल की चेतावनी: संविदा कर्मचारी अपनी 1 सूत्रीय मांग नियमितीकरण को लेकर प्रदेश के विधायक संसदीय सचिव और कैबिनेट मंत्रियों को भी अपना ज्ञापन दे चुके हैं. बावजूद इसके सरकार की तरफ से अब तक इसको लेकर कोई ठोस पहल नहीं की गई है, जिससे संविदा कर्मचारियों में नाराजगी देखी जा रही है. आक्रोश रैली के बाद भी अगर सरकार संविदा कर्मियों की मांगों पर कोई ठोस कार्रवाई नहीं होती, तो संविदा कर्मचारियों ने अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जाने की बात कह रहे हैं.